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Teachers Protest In Bhopal: चयनित शिक्षकों ने लोक शिक्षण संचालनालय के बाहर बैठकर कराया मुंडन, महिला शिक्षिकाओं ने दान किया केश

एमपी में चयनित शिक्षकों ने सरकार द्वारा जॉइनिंग नहीं दिए जाने से नाराज होकर लोक शिक्षण संचालनालय के बाहर बैठकर मुंडन कराया और महिला शिक्षिकाओं ने अपने केश दान किये.

Teachers Protest In Bhopal
भोपाल में चयनित टीचर ने करवाया मुंडन और हेयर कट
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Published : Aug 8, 2023, 7:46 PM IST

भोपाल में शिक्षकों का प्रदर्शन

भोपाल: मध्य प्रदेश के चयनित शिक्षकों ने जॉइनिंग नहीं दिए जाने से नाराज होकर मुंडन करवाया. इसमें महिला शिक्षिकाएं भी शामिल रहीं. इनका आरोप है कि सरकार ने इन्हें नियुक्ति देने की बात कही थी, लेकिन अभी तक वर्ग 2 और 3 के चयनित शिक्षकों की नियुक्ति नहीं हुई है. मुंडन करवा रहे यह मध्यप्रदेश के चयनित शिक्षक हैं जो अपनी 1 सूत्री मांग को लेकर पिछले डेढ़ साल से सरकार के खिलाफ आवाज बुलंद कर रहे हैं. इन सभी चयनित शिक्षकों का चयन शिक्षा विभाग में हो गया, लेकिन बावजूद इसके इनको जॉइनिंग नहीं मिल पा रही है. दरअसल, स्कूल शिक्षा विभाग में पढ़ाने के लिए इन शिक्षकों ने 2018 के पहले एग्जाम दिया था. तब से लेकर अब तक यह चयनित होने के बाद भी जॉइनिंग के लिए तरस रहे हैं. इसी के चलते शिक्षकों ने यहां मुंडन करवा लिया, तो महिला शिक्षिकाओं ने अपने केश कटवाए.

शिक्षकों की नियुक्ति पर विवाद: इन शिक्षकों का नेतृत्व कर रहे मंगल सिंह का कहना था कि "पिछले कई सालों से यह सभी शिक्षक पात्रता परीक्षा वर्ग 2 और तीन में उत्तीर्ण हो चुके हैं और इनका चयन स्कूल शिक्षा विभाग में शिक्षक के रूप में किया गया है. लेकिन अभी तक इनको जॉइनिंग नहीं दी जा रही. प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने 2018 के चुनाव के पहले मध्य प्रदेश के 62,000 पदों पर इन्हें नियुक्त करने की बात कही थी. जिसका ट्वीट भी यह शिक्षक दिखाते हुए कहते हैं कि इनमें से 30,000 पदों पर तो भर्ती कर दी गई. लेकिन बाकी 32,000 शिक्षक आज भी अपनी जॉइनिंग के लिए तरस रहे हैं.

शिक्षकों में कितना आक्रोश: वहीं गुना की रहने वाली रक्षा जैन का कहना है कि "सरकार एक ओर वादा करती है. वहीं दूसरी ओर वादाखिलाफी करने से भी पीछे नहीं हट रही है. ऐसे में यहां पुरुष शिक्षकों ने मुंडन करवाया तो महिला शिक्षिकाओं ने अपने केशों का दान किया है. क्योंकि यह किसी महिला के श्रृंगार का सबसे महत्वपूर्ण पहलू होते हैं और सबसे प्रिय महिलाओं को यह होते हैं. इसलिए हम सरकार को यह दर्शाने चाहते हैं कि जब हम अपने सबसे प्रिय चीज को भी त्यागने को तैयार है. ऐसे में सरकार सोच सकती है कि हम सभी शिक्षकों में कितना आक्रोश करते हैं."

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महिला शिक्षिका भी करेंगी मुंडन: वैसे तो इस विरोध के पहले महिला शिक्षिकाएं भी मुंडन कराने की बात कह रही थीं. लेकिन यहां पर उन्होंने सिर्फ कटिंग ही करवाई, जबकि मुंडन नहीं कराया. इसके पीछे कुछ महिलाओं का तर्क था कि जब महिला सुहागन होती हैं तो वह मुंडन नहीं करा सकतीं, लेकिन विरोध स्वरूप यह अपने बालों की कटिंग करवा रही हैं. इन्होंने चेतावनी दी है कि अगर उनकी मांग का निराकरण नहीं होता तो यह लोग शिक्षण संचालनालय के बाहर ही धरना प्रदर्शन करते हुए बैठे रहेंगे और आने वाले दिनों में इसका खामियाजा प्रदेश की वर्तमान सरकार को भुगतना पड़ेगा.

30 हजार शिक्षक की नियुक्ति, 32 हजार की नहीं: बता दें कि शिक्षक पात्रता परीक्षा में लगभग 62,000 शिक्षक पास हुए थे और यह सभी पढ़ाने के लिए थे. सरकार ने अभी कुछ दिन पहले ही इनमें से लगभग 30,000 चयनित शिक्षकों की जॉइनिंग भी करवा दी है और उन्हें नौकरी भी मिल गई. लेकिन बचे हुए लगभग 32,000 चयनित शिक्षक वर्ग 2 और 3 के जो हैं, वह अभी भी जॉइनिंग के लिए तरस रहे हैं जबकि स्कूल शिक्षा विभाग का कहना है कि इतने ही पद अभी विभाग के पास थे. आगे कोई गुंजाइश बनती है तब इन्हें जॉइनिंग दी जाएगी.

भोपाल में शिक्षकों का प्रदर्शन

भोपाल: मध्य प्रदेश के चयनित शिक्षकों ने जॉइनिंग नहीं दिए जाने से नाराज होकर मुंडन करवाया. इसमें महिला शिक्षिकाएं भी शामिल रहीं. इनका आरोप है कि सरकार ने इन्हें नियुक्ति देने की बात कही थी, लेकिन अभी तक वर्ग 2 और 3 के चयनित शिक्षकों की नियुक्ति नहीं हुई है. मुंडन करवा रहे यह मध्यप्रदेश के चयनित शिक्षक हैं जो अपनी 1 सूत्री मांग को लेकर पिछले डेढ़ साल से सरकार के खिलाफ आवाज बुलंद कर रहे हैं. इन सभी चयनित शिक्षकों का चयन शिक्षा विभाग में हो गया, लेकिन बावजूद इसके इनको जॉइनिंग नहीं मिल पा रही है. दरअसल, स्कूल शिक्षा विभाग में पढ़ाने के लिए इन शिक्षकों ने 2018 के पहले एग्जाम दिया था. तब से लेकर अब तक यह चयनित होने के बाद भी जॉइनिंग के लिए तरस रहे हैं. इसी के चलते शिक्षकों ने यहां मुंडन करवा लिया, तो महिला शिक्षिकाओं ने अपने केश कटवाए.

शिक्षकों की नियुक्ति पर विवाद: इन शिक्षकों का नेतृत्व कर रहे मंगल सिंह का कहना था कि "पिछले कई सालों से यह सभी शिक्षक पात्रता परीक्षा वर्ग 2 और तीन में उत्तीर्ण हो चुके हैं और इनका चयन स्कूल शिक्षा विभाग में शिक्षक के रूप में किया गया है. लेकिन अभी तक इनको जॉइनिंग नहीं दी जा रही. प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने 2018 के चुनाव के पहले मध्य प्रदेश के 62,000 पदों पर इन्हें नियुक्त करने की बात कही थी. जिसका ट्वीट भी यह शिक्षक दिखाते हुए कहते हैं कि इनमें से 30,000 पदों पर तो भर्ती कर दी गई. लेकिन बाकी 32,000 शिक्षक आज भी अपनी जॉइनिंग के लिए तरस रहे हैं.

शिक्षकों में कितना आक्रोश: वहीं गुना की रहने वाली रक्षा जैन का कहना है कि "सरकार एक ओर वादा करती है. वहीं दूसरी ओर वादाखिलाफी करने से भी पीछे नहीं हट रही है. ऐसे में यहां पुरुष शिक्षकों ने मुंडन करवाया तो महिला शिक्षिकाओं ने अपने केशों का दान किया है. क्योंकि यह किसी महिला के श्रृंगार का सबसे महत्वपूर्ण पहलू होते हैं और सबसे प्रिय महिलाओं को यह होते हैं. इसलिए हम सरकार को यह दर्शाने चाहते हैं कि जब हम अपने सबसे प्रिय चीज को भी त्यागने को तैयार है. ऐसे में सरकार सोच सकती है कि हम सभी शिक्षकों में कितना आक्रोश करते हैं."

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30 हजार शिक्षक की नियुक्ति, 32 हजार की नहीं: बता दें कि शिक्षक पात्रता परीक्षा में लगभग 62,000 शिक्षक पास हुए थे और यह सभी पढ़ाने के लिए थे. सरकार ने अभी कुछ दिन पहले ही इनमें से लगभग 30,000 चयनित शिक्षकों की जॉइनिंग भी करवा दी है और उन्हें नौकरी भी मिल गई. लेकिन बचे हुए लगभग 32,000 चयनित शिक्षक वर्ग 2 और 3 के जो हैं, वह अभी भी जॉइनिंग के लिए तरस रहे हैं जबकि स्कूल शिक्षा विभाग का कहना है कि इतने ही पद अभी विभाग के पास थे. आगे कोई गुंजाइश बनती है तब इन्हें जॉइनिंग दी जाएगी.

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