मध्यप्रदेश में सियासी ड्रामा चरम पर है. मध्यप्रदेश की कमलनाथ सरकार की विदाई होने के आसार नजर आ रहे हैं. दो दिन तक सुप्रीम कोर्ट में चली सुनवाई के बाद गुरुवार शाम साढ़े 6 बजे कोर्ट ने अपना फैसला सुना दिया. सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए कहा कि मध्यप्रदेश सरकार को शुक्रवार को फ्लोर टेस्ट कराना पड़ेगा. अब कमलनाथ सरकार के पास कोई विकल्प नहीं बचा है. अगर अब कमलनाथ सरकार फ्लोर टेस्ट करवाने में आनाकानी करती है, तो विधानसभा भंग हो सकती है.
बीते तीन मार्च से चल रहा सियासी घमासान अब अंतिम चरण पर है. गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद कमलनाथ सरकार की स्थिति 'करो या मरो जैसी' हो गई है. हालांकि, हालातों के मद्देनजर ये मुश्किल लग रहा है कि कमलनाथ सरकार बहुमत साबित कर पाएगी. कमलनाथ सरकार के पास बागी विधायकों के बाद सब मिलाकर 99 विधायक बचे हैं, जो पर्याप्त नहीं हैं. इनमें कांग्रेस समर्थित अन्य दलों के भी विधायक शामिल हैं. सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद कांग्रेस के नेता भारी मन से सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत करने की बात कर रहे हैं, तो वहीं बीजेपी के नेता खुशी जाहिर करते हुए फैसले की सराहना करते हुए सम्मान कर रहे हैं.
जानिए सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद क्या रही नेताओं की प्रतिक्रियाएं
इधर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद एक बार फिर सियासी बयानबाजी शुरू हो गई है. हर नेता अपनी-अपनी प्रतिक्रियाएं दे रहा है. वैसे तो प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान तो पहले से ही लगातार कमलनाथ सरकार को अल्पमत की सरकार कह रहे थे, लेकिन फैसले के बाद शिवराज ने ट्वीट करते हुए कहा कि आखिरकार सत्य और न्याय की जीत हुई. बहुमत परीक्षण के बाद प्रदेश में नई सरकार होगी.
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प्रदेश की करोड़ों करोड़ जनता की दुआएं और आशीर्वाद आज हमारे साथ है।
— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) March 19, 2020 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
कल फ्लोर टेस्ट में इस कांग्रेस की सरकार की पराजय होगी और नई सरकार बनने का रास्ता साफ होगा।
हम माननीय सर्वोच्च न्यायालय के इस निर्णय का शीश झुकाकर स्वागत करते हैं।
कल दूध का दूध और पानी का पानी साफ हो जाएगा।
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— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) March 19, 2020
कल फ्लोर टेस्ट में इस कांग्रेस की सरकार की पराजय होगी और नई सरकार बनने का रास्ता साफ होगा।
हम माननीय सर्वोच्च न्यायालय के इस निर्णय का शीश झुकाकर स्वागत करते हैं।
कल दूध का दूध और पानी का पानी साफ हो जाएगा।प्रदेश की करोड़ों करोड़ जनता की दुआएं और आशीर्वाद आज हमारे साथ है।
— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) March 19, 2020
कल फ्लोर टेस्ट में इस कांग्रेस की सरकार की पराजय होगी और नई सरकार बनने का रास्ता साफ होगा।
हम माननीय सर्वोच्च न्यायालय के इस निर्णय का शीश झुकाकर स्वागत करते हैं।
कल दूध का दूध और पानी का पानी साफ हो जाएगा।
वहीं नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने भी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला स्वागत योग्य तो है ही, सत्य की जीत हुई है.
प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री जीतू पटवारी ने कहा कि फ्लोर टेस्ट के लिए हमेशा तैयार थे, ये मुख्यमंत्री ने इसे स्वयं कहा था. ये भी जरूरी था कि जिन विधायकों का अपहरण किया गया था, वे यहां मौजूद हों. अब विधानसभा सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन करने के लिए बाध्य हैं, हम सुनिश्चित और तैयार हैं.
इसी बीच प्रदेश के जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा ने बेंगलुरु के 16 विधायकों को लाने की मांग करते हुए कहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन होगा.
वहीं बेंगलुरू में ठहरे कांग्रेस के विधायकों को लेकर भी सुप्रीम कोर्ट ने मध्यप्रदेश और कर्नाटक के डीजीपी को आदेशि दिया है कि अगर विधायक फ्लोर टेस्ट में जाना चाहे तो पुलिस उनकी उपस्थिति को सुनिश्चित कराएं, उनके लिए पर्याप्त व्यवस्था कराएं.