भिंड। बीते 3 अगस्त को भिंड में नंदिनी तोमर की दो महीने पहले हुए आत्महत्या मामले में फाँसी की सजा दिलाने की माँग के लिए जिले के युवाओं ने राजपूत करणी सेना के आह्वान पर बड़ा आंदोलन किया था, जिसमें जाँच के आश्वासन को 10 दिन बीतने के बाद भी कार्रवाई आगे नहीं बढ़ी. राजपूत करणी सेना के प्रदेश उपाध्यक्ष संतोष भदौरिया का कहना है कि इस मामले में उनकी माँग है कि प्रशासन एसआईटी का गठन कर उच्च स्तरीय जाँच कराए.
लव जिहाद और हत्या का मामला दर्ज करने की मांग : संतोष भदौरिया के मुताबिक इस मामले में तौफिक खान द्वारा नंदिनी का धर्म परिवर्तन कराने और लव जिहाद कराने को लेकर धारा 420 और हत्या का मामला दर्ज किया जाना चाहिए. आरोपी का मकान भी अवैध रूप से नाले के ऊपर बना हुआ है, जिसे प्रशासन तत्काल तुड़वाए. साथ ही आरोपी ने जिम के नाम पर नंदिनी से पैसा लिए थे, वह राशि जिम का सामान बेचकर नंदिनी की बेटी को दिए जाएं.
आंदोलनकारियों पर झूठी FIR रद्द करें : पुलिस प्रशासन द्वारा बीते 3 अगस्त को हुए आंदोलन के बाद शांति व्यवस्था और सोशल मीडिया पर गलत पोस्ट करने के नाम पर आरोपी बनाकर आंदोलन का हिस्सा रहे करीब एक दर्जन युवाओं पर मामला दर्ज कर दिया. जिनके कुछ नाबालिग भी शामिल हैं. इस सम्बंध में इन युवकों ने पुलिस पर अपनी नाकामी छिपाने के लिए मामला दर्ज करने का आरोप लगाया है. इन झूठी FIR को भी तत्काल निरस्त करने की माँग की गयी है. ऐसा ना होने पर प्रदेश स्तरीय आंदोलन की चेतावनी भी दी गई है.
आंदोलन से डरा हुआ है प्रशासन : गौरतलब है की पिछले आंदोलन के बाद से ही डरे जिला प्रशासन ने सभी शासकीय कार्यालयों, अस्पतालों समेत कई जगह धरना प्रदर्शन रैली और सोशल मीडिया पर भी धारा 144 के तहत प्रतिबंध लगा रखा है. बावजूद इसके नंदिनी तोमर को इंसाफ दिलाने के लिए शहर के लोग आंदोलन जारी रखने की बात कह रहे हैं. Nandini Tomar suicide case, Protest in Bhind MP, demand SIT investigation