बड़वानी। सरकार ने प्रदेश की सभी मंडियों में मॉडल एक्ट लागू कर दिया है, जिसका मंडी कर्मचारियों ने अलग ही अंदाज में विरोध किया है. मंडी कर्मचारियों ने बड़ी तादात में काले कपडे़ और बुर्का पहनकर नए मंडी एक्ट का विरोध किया है. कर्मचारियों की मांग है कि उन्हें सरकारी कर्मचारी घोषित किया जाए.
कर्मचारियों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए इस एक्ट पर दोबारा विचार करने की मांग की है. मंडी कर्मचारी सतीश पालीवाल का कहना है कि वे प्रदेश सरकार के मॉडल एक्ट के खिलाफ हैं. सरकार मंडियों का निजीकरण करना चाहती है, जो कर्मचारियों को मंजूर नहीं है.
सरकार के फैसले का विरोध कर रहे मंडी कर्मचारियों का मानना है कि प्रदेश की मंडियों में लागू किए गए इस नए एक्ट के तहत बड़ी कंपनियां लाइसेंस लेंगी और निजी स्तर पर मंडियां चलाएंगी. खुले में माल की नीलामी प्रक्रिया बंद हो जाएगी, जिससे किसानों और कर्मचारियों को परेशानी होगी. इन सभी परेशानियों को देखते हुए अब मंडी कर्मचारियों ने सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है.