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हिमालय के बाद यहां से निकलती हैं 3 पवित्र नदियां, नर्मदा जयंती पर पढ़िए अद्भुत रहस्य - NARMADA JAYANTI 2025

हिंदू धर्म में नर्मदा नदी का बहुत महत्व है. 4 फरवरी को नर्मदा जयंती मनाई जाती है. इस उपलक्ष्य में पढ़िए तीन नदियों का रहस्य.

NARMADA JAYANTI 2025
हिमालय के बाद यहां से निकलती हैं 3 पवित्र नदियां (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Feb 3, 2025, 10:54 PM IST

Updated : Feb 3, 2025, 11:00 PM IST

शहडोल: प्रकृति का अद्भुत नजारा देखना हो तो शहडोल आ जाइये. शहडोल संभाग प्रकृति के गोद में बसा हुआ संभाग है. शहडोल संभाग का उमरिया जिला बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के लिए पूरे देश में अपनी एक अलग पहचान रखता है, तो वहीं संभाग का अनूपपुर जिला धार्मिक नगरी अमरकंटक के लिए जाना जाता है. इसी अमरकंटक में आज भी कई रहस्य हैं, जो अनसुलझे, अद्भुत और अविस्मरणीय हैं. ऐसे रहस्य जो किसी को भी आश्चर्य में डाल देंगे.

हिमालय के बाद अमरकंटक में ऐसा

हिमालय से कई नदियां निकली हैं, लेकिन अमरकंटक अनूपपुर जिले का एक ऐसा क्षेत्र है. जिसे यूं ही धार्मिक नगरी नहीं कहा जाता है. हिमालय के बाद अमरकंटक ही ऐसा इलाका है. जहां से एक साथ तीन पवित्र नदियां निकलती हैं और तीनों ही अद्भुत हैं. जिनकी भौगोलिक संरचनाएं भी अलग हैं. अमरकंटक से नर्मदा, सोन और जोहिला नदी निकली हुई है. तीनों ही नदियों की अपनी अलग-अलग कहानी है. इनके बहाव की दिशा इन्हें अद्भुत बनाती और लोगों को हैरान भी करती हैं.

अद्भुत हैं तीनों नदियां

इतिहासकार रामनाथ परमार बताते हैं कि "अमरकंटक मैकल की पहाड़ियों में स्थित पवित्र धार्मिक स्थल है. ये विंध्याचल पर्वत और सतपुड़ा पर्वत के मिलन क्षेत्र पर स्थित है. मैकल पर्वत का मुहाना अमरकंटक से है. यहां से तीन नदियों का उद्गम हुआ है. तीनों ही नदियां काफी पवित्र नदी मानी गई हैं. मैकल पर्वत से नर्मदा नदी का उद्गम हुआ है. मैकल पर्वत से ही सोनभद्र का भी उद्गम हुआ है. तीसरी नदी वहीं से मैकल पर्वत से ही निकलती है, जो जोहिला नाम से जानी जाती है.

Narmada Jayanti 2025
नर्मदा नदी (ETV Bharat)

नर्मदा नदी पश्चिम दिशा की ओर प्रवाहमान हुई है, तो सोन नदी पूर्व की ओर प्रवाहमान हैं और जोहिला पहले नर्मदा की ओर और फिर मैकल पर्वत से होकर उत्तरायण होकर सोन नदी में मिल जाती है.

ये तीनों ही नदियां मैकल पर्वत से एक ही स्थान से प्रवाहित हुई हैं. उनकी भौगोलिक संरचना अद्भुत और रहस्यमय है. जो हिमालय के बाद इन्हें विशेष बनाती है. पूरे भारतवर्ष में ऐसे भौगोलिक क्षेत्र विरले ही देखने को मिलते हैं. एक स्थान से तीन नदियों का प्रादुर्भाव होना तीनों की दिशाएं भी अलग-अलग है. एक पूर्व की ओर प्रवाहित है, जो गंगा जी से मिलकर बंगाल की खाड़ी में मिलती है. दूसरी नर्मदा जी जो पश्चिम की ओर प्रवाहित है, वो सीधे अमरकंटक से निकलकर खंभात की खाड़ी जो वर्तमान में अरब सागर वहां पर जाकर मिलती है.

तीसरी नदी जोहिला है, जो दोनों के मध्य बहाना शुरू करती है और दोनों के मध्य से होते हुए पश्चिम की ओर चलती है. पश्चिम से चलते-चलते मैकल पर्वत से उतरकर के सोनभद्र में जाकर मिल जाती है. जोहिला सोनभद्र में उमरिया जिले के दशरथ घाट के पास जाकर मिलती है."

Amarkantak Temple
अमरकंटक मंदिर (ETV Bharat)

कहां से गुजरती और कहां मिलती हैं ये नदिंया

अमरकंटक के मैकल पर्वत से निकलने वाली सोन नदी अद्भुत नदी है. यह भारत के मध्य भाग में बहने वाली नदी है. यमुना के बाद ये गंगा नदी की दक्षिणी उप नदियों में सबसे बड़ी नदी भी मानी जाती है. ये नदी मध्य प्रदेश के अलावा उत्तर प्रदेश और झारखंड राज्यों से गुजर कर बिहार के पटना जिले में गंगा नदी से मिल जाती है.

नर्मदा नदी को रेवा नदी भी कहा जाता है. यह भारत की पांचवी व पश्चिम दिशा में बहने वाली पहली सबसे लंबी नदियों में से एक है. यही इसका अद्भुत रहस्य भी है. ये मध्य प्रदेश की सबसे बड़ी नदियों में से एक है. ये मध्य प्रदेश के अलावा महाराष्ट्र और गुजरात में भी बहती है. इसे मध्य प्रदेश और गुजरात की जीवन रेखा भी कहा जाता है.

जोहिला नदी मध्य प्रदेश के अमरकंटक के मैकल की पहाड़ियों से ही निकली हुई है. ये अमरकंटक से 10 किलोमीटर दूर मैकल पहाड़ियों से जलेश्वर नामक स्थान से निकली हुई है. ये सोन नदी में आगे चलकर विलय हो जाती है. सोन नदी की उपनदी है. यह उमरिया जिले के मानपुर तहसील में दशरथ घाट में विलय हो जाती है.

शहडोल: प्रकृति का अद्भुत नजारा देखना हो तो शहडोल आ जाइये. शहडोल संभाग प्रकृति के गोद में बसा हुआ संभाग है. शहडोल संभाग का उमरिया जिला बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के लिए पूरे देश में अपनी एक अलग पहचान रखता है, तो वहीं संभाग का अनूपपुर जिला धार्मिक नगरी अमरकंटक के लिए जाना जाता है. इसी अमरकंटक में आज भी कई रहस्य हैं, जो अनसुलझे, अद्भुत और अविस्मरणीय हैं. ऐसे रहस्य जो किसी को भी आश्चर्य में डाल देंगे.

हिमालय के बाद अमरकंटक में ऐसा

हिमालय से कई नदियां निकली हैं, लेकिन अमरकंटक अनूपपुर जिले का एक ऐसा क्षेत्र है. जिसे यूं ही धार्मिक नगरी नहीं कहा जाता है. हिमालय के बाद अमरकंटक ही ऐसा इलाका है. जहां से एक साथ तीन पवित्र नदियां निकलती हैं और तीनों ही अद्भुत हैं. जिनकी भौगोलिक संरचनाएं भी अलग हैं. अमरकंटक से नर्मदा, सोन और जोहिला नदी निकली हुई है. तीनों ही नदियों की अपनी अलग-अलग कहानी है. इनके बहाव की दिशा इन्हें अद्भुत बनाती और लोगों को हैरान भी करती हैं.

अद्भुत हैं तीनों नदियां

इतिहासकार रामनाथ परमार बताते हैं कि "अमरकंटक मैकल की पहाड़ियों में स्थित पवित्र धार्मिक स्थल है. ये विंध्याचल पर्वत और सतपुड़ा पर्वत के मिलन क्षेत्र पर स्थित है. मैकल पर्वत का मुहाना अमरकंटक से है. यहां से तीन नदियों का उद्गम हुआ है. तीनों ही नदियां काफी पवित्र नदी मानी गई हैं. मैकल पर्वत से नर्मदा नदी का उद्गम हुआ है. मैकल पर्वत से ही सोनभद्र का भी उद्गम हुआ है. तीसरी नदी वहीं से मैकल पर्वत से ही निकलती है, जो जोहिला नाम से जानी जाती है.

Narmada Jayanti 2025
नर्मदा नदी (ETV Bharat)

नर्मदा नदी पश्चिम दिशा की ओर प्रवाहमान हुई है, तो सोन नदी पूर्व की ओर प्रवाहमान हैं और जोहिला पहले नर्मदा की ओर और फिर मैकल पर्वत से होकर उत्तरायण होकर सोन नदी में मिल जाती है.

ये तीनों ही नदियां मैकल पर्वत से एक ही स्थान से प्रवाहित हुई हैं. उनकी भौगोलिक संरचना अद्भुत और रहस्यमय है. जो हिमालय के बाद इन्हें विशेष बनाती है. पूरे भारतवर्ष में ऐसे भौगोलिक क्षेत्र विरले ही देखने को मिलते हैं. एक स्थान से तीन नदियों का प्रादुर्भाव होना तीनों की दिशाएं भी अलग-अलग है. एक पूर्व की ओर प्रवाहित है, जो गंगा जी से मिलकर बंगाल की खाड़ी में मिलती है. दूसरी नर्मदा जी जो पश्चिम की ओर प्रवाहित है, वो सीधे अमरकंटक से निकलकर खंभात की खाड़ी जो वर्तमान में अरब सागर वहां पर जाकर मिलती है.

तीसरी नदी जोहिला है, जो दोनों के मध्य बहाना शुरू करती है और दोनों के मध्य से होते हुए पश्चिम की ओर चलती है. पश्चिम से चलते-चलते मैकल पर्वत से उतरकर के सोनभद्र में जाकर मिल जाती है. जोहिला सोनभद्र में उमरिया जिले के दशरथ घाट के पास जाकर मिलती है."

Amarkantak Temple
अमरकंटक मंदिर (ETV Bharat)

कहां से गुजरती और कहां मिलती हैं ये नदिंया

अमरकंटक के मैकल पर्वत से निकलने वाली सोन नदी अद्भुत नदी है. यह भारत के मध्य भाग में बहने वाली नदी है. यमुना के बाद ये गंगा नदी की दक्षिणी उप नदियों में सबसे बड़ी नदी भी मानी जाती है. ये नदी मध्य प्रदेश के अलावा उत्तर प्रदेश और झारखंड राज्यों से गुजर कर बिहार के पटना जिले में गंगा नदी से मिल जाती है.

नर्मदा नदी को रेवा नदी भी कहा जाता है. यह भारत की पांचवी व पश्चिम दिशा में बहने वाली पहली सबसे लंबी नदियों में से एक है. यही इसका अद्भुत रहस्य भी है. ये मध्य प्रदेश की सबसे बड़ी नदियों में से एक है. ये मध्य प्रदेश के अलावा महाराष्ट्र और गुजरात में भी बहती है. इसे मध्य प्रदेश और गुजरात की जीवन रेखा भी कहा जाता है.

जोहिला नदी मध्य प्रदेश के अमरकंटक के मैकल की पहाड़ियों से ही निकली हुई है. ये अमरकंटक से 10 किलोमीटर दूर मैकल पहाड़ियों से जलेश्वर नामक स्थान से निकली हुई है. ये सोन नदी में आगे चलकर विलय हो जाती है. सोन नदी की उपनदी है. यह उमरिया जिले के मानपुर तहसील में दशरथ घाट में विलय हो जाती है.

Last Updated : Feb 3, 2025, 11:00 PM IST
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