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चहलकदमी करते नजर आए तेंदुआ-शावक, देखें वीडियो

बढ़ती गर्मी के प्रकोप के चलते अब वन्यप्राणीयों की दस्तक शुरू हो गई हैं. दो स्थानों पर एक तेंदुआ और एक शावक दिखाई दिए, जिसके बाद से ही लगातार क्षेत्र भर में हड़कंप की स्थिति निर्मित हो गई हैं.

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Published : May 6, 2021, 4:54 PM IST

Updated : May 6, 2021, 5:03 PM IST

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चहलकदमी करते नजर आए तेंदुआ-शावक

बड़वानी। जिले में दो स्थानों पर तेंदुए की उपस्थिति से रहवासियों में हड़कंप व्याप्त हैं. एक ओर भीलटदेव शिखरधाम से आरती कर वापस लौटते समय पुजारी को रास्ते में तेंदुआ बैठा मिला, जिसका उसने वीडियो बना लिया. वहीं दूसरी ओर खेतिया में भी एक खेत में 4 से 5 माह का शावक देखा गया, जिसे विभाग द्वारा पकड़ लिया गया. जानकारी के मुताबिक, बढ़ती गर्मी के चलते पानी और खाने-पीने की तलाश में जानवर जंगल से बाहर निकलकर आ रहे हैं.

रात को दिखा तेंदुआ, खेत में भी मिला शावक
नागलवाड़ी का भीलटदेव मंदिर पहाड़ पर स्थित हैं. चारों तरफ जंगल ही जंगल हैं. ऐसे में वन्य जीवों की इस क्षेत्र में हलचल देखी जाती रही हैं, लेकिन तेंदुए की उपस्थिति भयभीत करने वाली हैं, क्योंकि कई दर्शनार्थी प्रतिदिन भीलटदेव शिखरधाम में दर्शन के लिए यहां पहुंचते हैं. हालांकि कोरोना काल में कम लोग ही आते हैं.

चहलकदमी करते नजर आए तेंदुआ-शावक

हर साल दो से तीन तेंदुए रेस्क्यू कर पकड़े जाते हैं. खेतिया के पास एक खेत में 4 से 5 माह का शावक दिखाई दिया, जिसे वनकर्मियों द्वारा रेस्क्यू कर पकड़ लिया गया. इसे इंदौर वन्यप्राणी संग्रहालय शिफ्ट किया जाएगा.

इंदौर जू में शेरनी मेघा ने किया अपने ही शावक का शिकार

गर्मी के दिनों में खाने-पीने की तलाश में जंगल से बाहर निकलते हैं वन्यप्राणी
लगातार देखने में आया है कि तेंदुए जैसे वन्यप्राणी हर साल गर्मी के मौसम में पानी और शिकार की तलाश में रहवासी इलाकों का रुख करते हैं. पिछले वर्ष खेतिया, पानसेमल, सेंधवा के बिजासन घाट में लगातार तेंदुए ने आतंक मचा रखा था. हिंसक घटनाओं के बाद रेस्क्यू कर अलग-अलग स्थानों से 3 से 4 तेंदुए को पकड़ कर अन्य जंगलों में छोड़ा गया था.

बड़वानी। जिले में दो स्थानों पर तेंदुए की उपस्थिति से रहवासियों में हड़कंप व्याप्त हैं. एक ओर भीलटदेव शिखरधाम से आरती कर वापस लौटते समय पुजारी को रास्ते में तेंदुआ बैठा मिला, जिसका उसने वीडियो बना लिया. वहीं दूसरी ओर खेतिया में भी एक खेत में 4 से 5 माह का शावक देखा गया, जिसे विभाग द्वारा पकड़ लिया गया. जानकारी के मुताबिक, बढ़ती गर्मी के चलते पानी और खाने-पीने की तलाश में जानवर जंगल से बाहर निकलकर आ रहे हैं.

रात को दिखा तेंदुआ, खेत में भी मिला शावक
नागलवाड़ी का भीलटदेव मंदिर पहाड़ पर स्थित हैं. चारों तरफ जंगल ही जंगल हैं. ऐसे में वन्य जीवों की इस क्षेत्र में हलचल देखी जाती रही हैं, लेकिन तेंदुए की उपस्थिति भयभीत करने वाली हैं, क्योंकि कई दर्शनार्थी प्रतिदिन भीलटदेव शिखरधाम में दर्शन के लिए यहां पहुंचते हैं. हालांकि कोरोना काल में कम लोग ही आते हैं.

चहलकदमी करते नजर आए तेंदुआ-शावक

हर साल दो से तीन तेंदुए रेस्क्यू कर पकड़े जाते हैं. खेतिया के पास एक खेत में 4 से 5 माह का शावक दिखाई दिया, जिसे वनकर्मियों द्वारा रेस्क्यू कर पकड़ लिया गया. इसे इंदौर वन्यप्राणी संग्रहालय शिफ्ट किया जाएगा.

इंदौर जू में शेरनी मेघा ने किया अपने ही शावक का शिकार

गर्मी के दिनों में खाने-पीने की तलाश में जंगल से बाहर निकलते हैं वन्यप्राणी
लगातार देखने में आया है कि तेंदुए जैसे वन्यप्राणी हर साल गर्मी के मौसम में पानी और शिकार की तलाश में रहवासी इलाकों का रुख करते हैं. पिछले वर्ष खेतिया, पानसेमल, सेंधवा के बिजासन घाट में लगातार तेंदुए ने आतंक मचा रखा था. हिंसक घटनाओं के बाद रेस्क्यू कर अलग-अलग स्थानों से 3 से 4 तेंदुए को पकड़ कर अन्य जंगलों में छोड़ा गया था.

Last Updated : May 6, 2021, 5:03 PM IST
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