बड़वानी। लॉकडाउन के दौरान महाराष्ट्र से मजदूर वापस अपने गांव लौट रहे हैं. सेंधवा के समीप बिजासन स्थित महाराष्ट्र बॉर्डर पर लगातार प्रवासी मजदूरों की भीड़ उमड़ रही है, जिससे जिला प्रशासन की व्यवस्थाएं चरमरा रही हैं. मजदूरों की भीड़ के कारण हंगामे व चक्काजाम की स्थिति बन रही है. इसी बच इंदौर संभाग के कमिश्नर आकाश त्रिपाठी और आईजी जिले की बॉर्डर पर पहुंचे. जहां कमिश्नर ने कहा की प्रदेश सरकार हर सम्भव मदद कर महाराष्ट्र से आ रहे मजदूरों को उनके नियत स्थान तक पहुंचा रही हैं, लेकिन महाराष्ट्र सरकार यूपी बिहार के मजदूरों को ट्रेन से भेजने की बजाए मध्यप्रदेश की सीमा पर छोड़ रही है, जो की अनुचित है.
कमिश्नर आकाश त्रिपाठी ने कहा कि मानवीयता के आधार पर मध्यप्रदेश सरकार मजदूरों को उनके गंतव्य तक छोड़ रही है. इसके लिए पहले 100 बसें लगाई गईं थीं. लेकिन अब जरूरत के हिसाब से 200 बसों को इस काम में लगाया गया है.
कमिश्नर आकाश त्रिपाठी ने बताया कि प्रदेश सरकार की मंशा है की कोई मजदूर पैदल सफर न करे. महाराष्ट्र सरकार को ट्रेन शुरू कर प्रवासी लोगों को उनके गंतव्य तक छोड़ना चाहिए या नहीं इस बारे में बात की जा रही है. महाराष्ट्र सरकार के द्वारा बसों से लोगो को सीमित संख्या में भेजना चाहिए, जिससे यह उन लोगों को असुविधा न हो. वहीं मध्यप्रदेश की अपनी लिमिटेशन होने के बावजूद लगातार बसों की व्यवस्था के साथ महाराष्ट्र को मैसेज किया जा रहा है की सीमित मात्रा में लाकर मज़दूरों को छोड़े ताकि व्यवस्थाएं दुरुस्त रहें.