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डूब प्रभावित मछुआरों ने किया मछली बिक्री टेंडर का विरोध, मेधा पाटकर हुईं शामिल - fishermen proteste

सरदार सरोवर बांध के डूब प्रभावित सैकड़ों मछुआरों ने जिला मुख्यालय पर मत्स्य विभाग के सामने प्रदर्शन किया है. समाज सेवी मेधा पाटकर ने आरोप लगाया है कि सरकार बड़े ठेकेदारों को फायदा पहुंचाने के लिए टेंडर प्रक्रिया ला रही है.

fishermen protested against the fish sale tender in barwani
मछुआरों ने किया मछली बिक्री टेंडर का विरोध
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Published : Dec 26, 2019, 9:28 PM IST

बड़वानी। जिला मुख्यालय पर नर्मदा बचाओ आंदोलन की नेत्री मेधा पाटकर के नेतृत्व में धार और बड़वानी जिले के सरदार सरोवर बांध से प्रभावित सैकड़ों मछुआरों ने प्रदर्शन किया. मछुआरों ने सरदार सरोवर जलाशय की मछली बिक्री प्रक्रिया में ठेकेदारी प्रथा का विरोध किया है.

डूब प्रभावित मछुआरों ने किया मछली बिक्री टेंडर का विरोध

समाज सेवी मेधा पाटकर का कहना है कि प्रदेश सरकार के फैसले से सरदार सरोवर बांध के डूब प्रभावित मछुआरों में आक्रोश है. अचानक टेंडर सूचना निकालकर मछली बिक्री का ठेका दिया जा रहा है. जिसमें 15 जनवरी तक 10 लाख रुपए जमा करने की बात कही जा रही है. टेंडर होने से ठेकेदार, मछुआरों को मछली पकड़ने से रोकते हैं, गुंडागर्दी करते हैं. साथ ही कम कीमत में मछली खरीदकर ऊंचे दामों पर बेचते हैं.

वहीं मत्स्य विभाग के अधिकारी का कहना है कि मत्स्य संघ ने ज्ञापन दिया है. टेंडर की शर्तों के अनुसार सहकारी संस्था को प्राथमिकता है.लेकिन टेंडर का पालन निर्धारित प्रक्रिया के मुताबिक करना पड़ेगा.

बड़वानी। जिला मुख्यालय पर नर्मदा बचाओ आंदोलन की नेत्री मेधा पाटकर के नेतृत्व में धार और बड़वानी जिले के सरदार सरोवर बांध से प्रभावित सैकड़ों मछुआरों ने प्रदर्शन किया. मछुआरों ने सरदार सरोवर जलाशय की मछली बिक्री प्रक्रिया में ठेकेदारी प्रथा का विरोध किया है.

डूब प्रभावित मछुआरों ने किया मछली बिक्री टेंडर का विरोध

समाज सेवी मेधा पाटकर का कहना है कि प्रदेश सरकार के फैसले से सरदार सरोवर बांध के डूब प्रभावित मछुआरों में आक्रोश है. अचानक टेंडर सूचना निकालकर मछली बिक्री का ठेका दिया जा रहा है. जिसमें 15 जनवरी तक 10 लाख रुपए जमा करने की बात कही जा रही है. टेंडर होने से ठेकेदार, मछुआरों को मछली पकड़ने से रोकते हैं, गुंडागर्दी करते हैं. साथ ही कम कीमत में मछली खरीदकर ऊंचे दामों पर बेचते हैं.

वहीं मत्स्य विभाग के अधिकारी का कहना है कि मत्स्य संघ ने ज्ञापन दिया है. टेंडर की शर्तों के अनुसार सहकारी संस्था को प्राथमिकता है.लेकिन टेंडर का पालन निर्धारित प्रक्रिया के मुताबिक करना पड़ेगा.

Intro:बड़वानी। जिला मुख्यालय पर नर्मदा बचाओ आंदोलन की नेत्री मेधा पाटकर के नेतृत्व में धार एवं बड़वानी जिले के सरदार सरोवर बांध से प्रभावित सैकड़ों मछुआरों ने मछुआ कल्याण व मत्स्य विभाग कार्यालय पहुंचकर प्रदर्शन किया।


Body:एनबीएन नेत्री मेधा पाटकर का कहना है कि प्रदेश सरकार के फैसले से सरदार सरोवर बांध के डूब प्रभावित मछुआरों में आक्रोश है, क्योंकि अचानक निविदा सूचना निकालकर मछली बिक्री का ठेका दिया जा रहा है। निविदा में 15 जनवरी तक दस लाख रुपए जमा करने की तिथि बताई गई है इसका विरोध किया जा रहा है । ठेका प्रथा होने से ठेकेदार मछुआरों को मछली मारने से रोकता है ,गुंडागर्दी करते हैं साथ ही कम कीमत में मछली खरीद कर ऊंचे दामों पर बेचते हैं। इधर मत्स्य विभाग के अधिकारी का कहना है कि एनबीए के नेतृत्व में मत्स्य संघ ने ज्ञापन दिया है किंतु टेंडर के अनुसार सहकारी संस्था को प्राथमिकता है किंतु टेंडर का पालन निर्धारित प्रक्रिया के अनुसार करना पड़ेगा।
बाइट01-मेधा पाटकर, एनबीए नेत्री
बाइट02-महेंद्र पानखेड़े-सहायक संचालक


Conclusion:सरदार सरोवर बांध के डूब प्रभावित सैकड़ों मछुआरों ने जिला मुख्यालय पर मत्स्य विभाग के सामने प्रदर्शन किया । एनबीए नेत्री ने कहा कि सरकार बड़े मछली बड़े ठेकेदारों को फायदा पहुंचाने के लिए टेंडर प्रक्रिया कर रही है साथ ही कम समय में बड़ी राशि जमा करने की मांग की गई है जिसको लेकर विरोध प्रदर्शन किया गया है।
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