बालाघाट। पुलिस प्रशासन का काम जनता की सुरक्षा और लॉ इन ऑर्डर को संभालना है, लेकिन बालाघाट में अबज एमपी पुलिस की गजब पुलिस का नजारा देखने मिला. यहां पुलिस जनता की सेवा और सुरक्षा नहीं बल्कि अलग ही कार्य करती नजर आई. हम आपको बता दें कि इन दिनों बालाघाट में बागेश्वर सरकार के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की कथा चल रही है. जहां कथा में शामिल होने लोगों का हुजूम पहुंच रहा है. इस कथा में पुलिसकर्मियों की भी ड्यूटी लगी है, जिससे किसी भी तरह की अव्यवस्था या असुरक्षा न हो, लेकिन पुलिसकर्मी सुरक्षा के बजाए बाबा की भभूति बांटते नजर आ रहे हैं.
भभूति बांटते नजर आए पुलिसकर्मी: बालाघाट जिले के परसवाड़ा तहसील अन्तर्गत ग्राम भादुकोटा का यह मामला है. जहां पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री का दो दिवसीय वनवासी रामकथा का दरबार लगा है. बीते दिन यानी कि 24 मई को लगे दिव्य दरबार में लाखों की संख्या में श्रद्धालु पहुंचे. जहां भीड़ की सुरक्षा मध्य प्रदेश पुलिस के कंधो पर थी, लेकिन सुरक्षा को छोड़ पुलिस बाबा की भभूति बांटने में लग गई. जानकारी के अनुसार पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री का दो दिवसीय वनवासी राम कथा का आयोजन था. जहां 23 मई को वनवासी रामकथा का वाचन किया और दूसरे दिन 24 मई को धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री द्वारा अलग से एक घंटे के लिए दोपहर के तीन बजे दरबार लगाया गया. जहां दूर दराज से पहुंचे श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी.
नक्सल प्रभावित क्षेत्र में बागेश्वर का कार्यक्रम: कार्यक्रम का आयोजन नक्सल प्रभावित क्षेत्र में होने के कारण एमपी पुलिस द्वारा कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई है. जहां 1500 पुलिस बल तैनात रहा, लेकिन ऐसे संवेदनशील क्षेत्र में पुलिस की लापरवाही देखने मिली. जहां सुरक्षा व्यवस्था को छोड़ पुलिसकर्मी बाबा की भभूति बांटते नजर आए. जिसका वीडियो काफी वायरल हो रहा है. ऐसे में सवाल उठता है कि नक्सली क्षेत्र में आयोजित कार्यक्रम की सुरक्षा के बीच सुरक्षा के बजाय पुलिस बाबा की भभूति बांटना कितना सही है. वीडियो में देख सकते हैं पुलिस के जवान मंच से ही बाबा की भभूति लोगों के हाथ में देते नजर आ रहे हैं. वहीं कुछ पुलिसकर्मी लोगों की भीड़ में भभूति की पुड़िया फेंकते भी नजर आए.