आगर। एक तरफ सरकार शिक्षा के विकास के दावे करती है. वहीं जिले के सुसनेर में हायर सेकंडरी स्कूल की खस्ता हालत सरकार के तमाम दावों को कमजोर कर देती है. शिक्षा विभाग ने 2005 में हायर सेकंडरी स्कूल सुसनेर को उत्कृष्ट विद्यालय का दर्जा दिया था. लेकिन स्कूल को भले ही उत्कृष्ट दर्जा मिला हो पर सुविधाओं के नाम पर यहां कुछ भी नहीं है. स्कूल की बिल्डिंग जर्जर हो चुकी है, जिसके चलते बड़ा हादसा होने का डर हमेशा बना रहता है.
स्कूल की खस्ता हालत का आलम ये है कि छात्रों को बैठने क्लास रूम तक नहीं है. छात्रों की कक्षाएं बाहर बरामदे में लगती हैं. स्कूल में पर्याप्त टीचर स्टाफ नहीं है, जिससे छात्रों का सिलेबस समय पर पूरा नहीं हो पाता है.
हैरानी की बात है कि इस स्कूल की स्थापना 1966 में की गई थी. फिर भी स्कूल में न पढ़ने के लिए क्लासरुम हैं न पढ़ाने के लिए टीचर. स्कूल में बुनियादी सुविधाओं की भी कमी है.
स्कूल प्राचार्य जीपी कारपेंटर का कहना है कि स्कूल बिल्डिंग पुरानी है. जैसे-तैसे काम चला रहे हैं. स्कूल का नया भवन डग रोड पर निर्माणाधीन है, जैसे ही नई बिल्डिंग हमें मिलेगी स्कूल वहां शिफ्ट कर दिया जाएगा.