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इंदौर से कांग्रेस ने पंकज संघवी को बनाया उम्मीदवार, भेद पायेंगे बीजेपी का किला? - जीतू पटवारी

इंदौर लोकसभा सीट से कांग्रेस ने पंकज संघवी को टिकट दिया है, पंकज के सामने बीजेपी के 30 साल पुराने किले को ध्वस्त करने की चुनौती है, गौरतलब है कि संघवी ने आज तक कोई भी बड़ा चुनाव नहीं जीता है.

पंकज संघवी, इंदौर से कांग्रेस के उम्मीदवार
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Published : Apr 17, 2019, 7:01 AM IST

इंदौर। कांग्रेस ने इंदौर सीट से आखिरकार पंकज संघवी को लोकसभा चुनाव के लिए अपना प्रत्‍याशी घोषित कर दिया है. इसके साथ ही मध्यप्रदेश की सभी 29 सीटों पर कांग्रेस ने अपने उम्मीदवार फाइनल कर दिये हैं. पंकज के सामने बीजेपी का 30 साल पुराना गढ़ भेदने की मुश्किल चुनौती है. वहीं अब तक पंकज ने एक भी बार कोई बड़ा चुनाव नहीं जीता है.

पंकज संघवी, इंदौर से कांग्रेस के उम्मीदवार

पंकज संघवी को लेकर रोचक तथ्य यह है कि वे अपने जीवन में महज पार्षद का चुनाव जीते हैं, वो भी भारतीय जनता पार्टी में रहते हुए. इसके अलावा कांग्रेस में आकर उन्होंने जितने भी चुनाव लड़े वे सभी भी हार गये थे.

अंत तक चलता रहा जीतू पटवारी के नाम की चर्चा
पार्टी सूत्रों के मुताबिक इंदौर सीट के लिए अंतिम समय तक कैबिनेट मंत्री जीतू पटवारी के नाम पर चर्चा चल रही थी. दिनभर पटवारी समर्थक कांग्रेस आलाकमान की स्वीकृति का इंतजार करते रहे. इधर जीतू पटवारी समर्थकों ने जलसे की तैयारी भी कर रखी थी.लेकिन अंत में संघवी के नाम पर आलाकमान ने मुहर लगा दी. इसके पीछे कुछ अनबन की खबरें भी सामने आ रही हैं.

लोकसभा, महापौर और विधानसभा चुनाव हारने वाले संघवी इंदौर सीट पर कितने मजबूत कैंडिडेट होंगे यह भाजपा प्रत्याशी के सामने आने के बाद ही तय होगा. गौरतलब है इंदौर सीट से वर्तमान में लोकसभा स्पीकर सुमित्रा महाजन (ताई) सांसद हैं. हालांकि इस बार ताई ने खुद चुनाव लड़ने से इंकार कर दिया है. जिसके बाद भी भाजपा अब तक अपना प्रत्याशी फाइनल नहीं कर पायी है. अब जब कांग्रेस ने उम्मीदवार की घोषणा कर दी है तो उम्मीद लगाई जा रह है कि जल्द ही बीजेपी भी अपने प्रत्याशी का एलान करेगी.

पंकज संघवी कांग्रेस प्रत्याशी

  • 1983 में पहली बार पार्षद का चुनाव जीते.
  • 1998 में पार्टी ने लोकसभा चुनाव का टिकट दिया, सुमित्रा महाजन से 49 हजार 852 वोट से चुनाव हारे.
  • सुमित्रा को 440047 वोट तो पंकज को 390195 वोट मिले थे.
  • दिसंबर 2009 में महापौर का चुनाव लड़े और भाजपा के कृष्णमुरारी मोघे से करीब 4 हजार वोट से हारे.
  • 2013 में इंदौर विधानसभा पांच नंबर सीट से करीब 12 हजार 500 वोट से विधानसभा चुनाव हारे.

इंदौर। कांग्रेस ने इंदौर सीट से आखिरकार पंकज संघवी को लोकसभा चुनाव के लिए अपना प्रत्‍याशी घोषित कर दिया है. इसके साथ ही मध्यप्रदेश की सभी 29 सीटों पर कांग्रेस ने अपने उम्मीदवार फाइनल कर दिये हैं. पंकज के सामने बीजेपी का 30 साल पुराना गढ़ भेदने की मुश्किल चुनौती है. वहीं अब तक पंकज ने एक भी बार कोई बड़ा चुनाव नहीं जीता है.

पंकज संघवी, इंदौर से कांग्रेस के उम्मीदवार

पंकज संघवी को लेकर रोचक तथ्य यह है कि वे अपने जीवन में महज पार्षद का चुनाव जीते हैं, वो भी भारतीय जनता पार्टी में रहते हुए. इसके अलावा कांग्रेस में आकर उन्होंने जितने भी चुनाव लड़े वे सभी भी हार गये थे.

अंत तक चलता रहा जीतू पटवारी के नाम की चर्चा
पार्टी सूत्रों के मुताबिक इंदौर सीट के लिए अंतिम समय तक कैबिनेट मंत्री जीतू पटवारी के नाम पर चर्चा चल रही थी. दिनभर पटवारी समर्थक कांग्रेस आलाकमान की स्वीकृति का इंतजार करते रहे. इधर जीतू पटवारी समर्थकों ने जलसे की तैयारी भी कर रखी थी.लेकिन अंत में संघवी के नाम पर आलाकमान ने मुहर लगा दी. इसके पीछे कुछ अनबन की खबरें भी सामने आ रही हैं.

लोकसभा, महापौर और विधानसभा चुनाव हारने वाले संघवी इंदौर सीट पर कितने मजबूत कैंडिडेट होंगे यह भाजपा प्रत्याशी के सामने आने के बाद ही तय होगा. गौरतलब है इंदौर सीट से वर्तमान में लोकसभा स्पीकर सुमित्रा महाजन (ताई) सांसद हैं. हालांकि इस बार ताई ने खुद चुनाव लड़ने से इंकार कर दिया है. जिसके बाद भी भाजपा अब तक अपना प्रत्याशी फाइनल नहीं कर पायी है. अब जब कांग्रेस ने उम्मीदवार की घोषणा कर दी है तो उम्मीद लगाई जा रह है कि जल्द ही बीजेपी भी अपने प्रत्याशी का एलान करेगी.

पंकज संघवी कांग्रेस प्रत्याशी

  • 1983 में पहली बार पार्षद का चुनाव जीते.
  • 1998 में पार्टी ने लोकसभा चुनाव का टिकट दिया, सुमित्रा महाजन से 49 हजार 852 वोट से चुनाव हारे.
  • सुमित्रा को 440047 वोट तो पंकज को 390195 वोट मिले थे.
  • दिसंबर 2009 में महापौर का चुनाव लड़े और भाजपा के कृष्णमुरारी मोघे से करीब 4 हजार वोट से हारे.
  • 2013 में इंदौर विधानसभा पांच नंबर सीट से करीब 12 हजार 500 वोट से विधानसभा चुनाव हारे.
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इंदौर। कांग्रेस ने इंदौर सीट से आखिरकार पंकज संघवी को लोकसभा चुनाव के लिए अपना प्रत्‍याशी घोषित कर दिया है. इसके साथ ही मध्यप्रदेश की सभी 29 सीटों पर कांग्रेस ने अपने उम्मीदवार फाइनल कर दिये हैं. पंकज के सामने बीजेपी का 30 साल पुराना गढ़ भेदने की मुश्किल चुनौती है. वहीं अब तक पंकज ने एक भी बार कोई बड़ा चुनाव नहीं जीता है.



पंकज संघवी को लेकर रोचक तथ्य यह है कि वे अपने जीवन में महज पार्षद का चुनाव जीते हैं, वो भी भारतीय जनता पार्टी में रहते हुए. इसके अलावा कांग्रेस में आकर उन्होंने जितने भी चुनाव लड़े वे सभी भी हार गये थे. 

अंत तक चलता रहा जीतू पटवारी के नाम की चर्चा

पार्टी सूत्रों के मुताबिक इंदौर सीट के लिए अंतिम समय तक कैबिनेट मंत्री जीतू पटवारी के नाम पर चर्चा चल रही थी. दिनभर पटवारी समर्थक कांग्रेस आलाकमान की स्वीकृति का इंतजार करते रहे. इधर जीतू पटवारी समर्थकों ने जलसे की तैयारी भी कर रखी थी.लेकिन अंत में संघवी के नाम पर आलाकमान ने मुहर लगा दी. इसके पीछे कुछ अनबन की खबरें भी सामने आ रही हैं.



लोकसभा, महापौर और विधानसभा चुनाव हारने वाले संघवी इंदौर सीट पर कितने मजबूत कैंडिडेट होंगे यह भाजपा प्रत्याशी के सामने आने के बाद ही तय होगा. गौरतलब है इंदौर सीट से वर्तमान में लोकसभा स्पीकर सुमित्रा महाजन (ताई) सांसद हैं. हालांकि इस बार ताई ने खुद चुनाव लड़ने से इंकार कर दिया है. जिसके बाद भी भाजपा अब तक अपना प्रत्याशी फाइनल नहीं कर पायी है. अब जब कांग्रेस ने उम्मीदवार की घोषणा कर दी है तो उम्मीद लगाई जा रह है कि जल्द ही बीजेपी भी अपने प्रत्याशी का एलान करेगी.



पंकज संघवी कांग्रेस प्रत्याशी

1983 में पहली बार पार्षद का चुनाव जीते.

1998 में पार्टी ने लोकसभा चुनाव का टिकट दिया, सुमित्रा महाजन से 49 हजार 852 वोट से चुनाव हारे.

सुमित्रा को 440047 वोट तो पंकज को 390195 वोट मिले थे.

दिसंबर 2009 में महापौर का चुनाव लड़े और भाजपा के कृष्णमुरारी मोघे से करीब 4 हजार वोट से हारे.

2013 में इंदौर विधानसभा पांच नंबर सीट से करीब 12 हजार 500 वोट से विधानसभा चुनाव हारे.


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