इंदौर। मध्यप्रदेश में महिला सुरक्षा को लेकर शिवराज सरकार भले ही लाख दावे करे लेकिन हकीकत ये है कि महिलाओं की शिकायतों को पुलिस गंभीरता से नहीं लेती. इंदौर में पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू हो गई है लेकिन पुलिस की कार्यप्रणाली में कोई बदलाव देखने को नहीं मिल रहा है. मध्यप्रदेश के सबसे बड़े शहर इंदौर में आए दिन महिलाओं से अपराध की खबरें आती हैं लेकिन बहुत कम मामलों में पुलिस कार्रवाई करती है.
दंपती ने की थी महिला से मारपीट
घटना 14 फरवरी यानी वेलेंटाइन डे की है. इंदौर के लसूड़िया थाना क्षेत्र की ओमेक्स सिटी में रहने वाली सीमा जयसवाल ने पुलिस को शिकायत कर बताया था कि क दंपती ने उसके साथ मारपीट की. उसके साथ अभद्रता भी की. सीमा की मानें तो 14 फरवरी के एक दिन पहले कृष्णपाल चौहान और उसकी पत्नी करिश्मा ओमेक्स सिटी छोड़कर दूसरी जगह रहने चले गए थे. 14 फरवरी की रात को पति कृष्णपाल और उसकी पत्नी करिश्मा उसकी बिल्डिंग में पहुंचे. इसके बाद दोनों ने उसके साथ मारपीट की. सीमा ने बताया कि कृष्णपाल ने उसे गलत तरीके से छुआ, जिसके चलते वो आहत है.
शिकायत पर पुलिस ने नहीं की कार्रवाई
घटना के बाद पीड़िता ने लसूड़िया पुलिस को शिकायत की थी लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की. इसके बाद मंगलवार को वह जनसुनवाई में अपनी शिकायत लेकर पहुंची. पीड़िता सीमा के अनुसार लसूड़िया पुलिस को उसने सीसीटीवी फुटेज भी मुहैया कराए, लेकिन पुलिस ने आरोपी पक्ष का ही साथ दिया. पीड़िता के मुताबिक वो सख्त कार्रवाई चाहती है.
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पुलिस ने कहा- धारा बढ़ाकर कर रहे हैं कार्रवाई
इस मामले की जांच अधिकारी कलेर डामोर ने बताया कि पीड़िता की शिकायत पर पुलिस ने मामले में धारा 65 बढ़ाकर कार्रवाई शुरू कर दी है. पुलिस पूरे मामले की जांच सारे तथ्यों को ध्यान में रखकर कर रही है. इंदोर में कमिश्नर प्रणाली लागू है. बावजूद इसके घटना के कई महीने बाद तक कोई कार्रवाई न होना, महिला अपराधों को लेकर सवाल उठा रहे हैं.
(mp police not serious about woman against crime)