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इंदौर के एक प्रोफेसर ने बनाया सुसाइड प्रूफ पंखा, जानिए कैसे काम करता है और क्या है इसकी कीमत

इंदौर के एक प्रोफेस ने सुसाइड प्रूफ पंखा तैयार किया है. पंखे को इस तरह से डिजाइन किया गया है कि अगर कोई व्यक्ति फांसी लगाने की कोशिश करेगा तो पंखा अपनी लंबाई बढ़ा लेना और खुद-ब-खुद वजन बढ़ते ही नीचे आ जाएगा. व्यक्ति के हटने के बाद वापस ऊपर चला जाएगा. यह पंखा प्रोफेसर ने इन्क्यूबेशन सेंटर की मदद से तैयार किया है.(Indore Professor Designed Anti Suicide Ceiling Fan)

Indore Professor Designed Anti Suicide Ceiling Fan
इंदौर एसजीएसआईटीएस प्रोफेसर ने डिजाइन किया पंखा
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Published : May 18, 2022, 11:08 PM IST

इंदौर। भारत अपनी परंपराओं के साथ-साथ अपने अनोखे आविष्कारों को जुगाड़ को लेकर भी हमेशा से चर्चाओं में रहता है. हमारी संस्कृति बताती है कि आवश्यकता ही आविष्कार की जननी है. इसी को आगे बढ़ाते हुए इंदौर के एक शैक्षणिक संस्थान एसजीएसआईटीएस के पूर्व निर्देशक डॉ प्रदीप चांदे ने भी ऐसा ही कुछ कर दिखाया है. उन्होंने एक ऐसा पंखा तैयार किया है जो फांसी लगाने की कोशिश को विफल कर देगा. प्रोफेसर का यह एडजेस्टेबल सीलिंग फैन कारगर भी है. (Indore Professor Designed Anti Suicide Ceiling Fan)

इंदौर एसजीएसआईटीएस प्रोफेसर

इंदौरी प्रोफेसर का अनोखा आइडिया: देश के विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों में रह चुके डॉ पीके चांदे ने सीलिंग फैन में एक मॉडिफिकेशन किया है. यह मॉडिफाइड पंखा 3 साल की कड़ी मेहनत के बाद तैयार हुआ है. प्रोफेसर ने रिटायर होने के बाद सीएस माइंड नाम से स्टार्टअप शुरू किया है. इसी के तहत वे कई तरह का अविष्कार करते रहते हैं. खास बात यह है कि इस सीलिंग फैन की साफ-सफाई आसानी से की जा सकती है. प्रोफेसर चांदे ने बताया कि-

मुझे ये इनोवेशन करने की प्रेरणा अपने कुछ परिचितों से मिली है. 1892 में जर्मन इंजीनियर फिलिप एचडी ने सीलिंग फेन बनाया था, तब किसी ने भी नहीं सोचा होगा कि हवा देने वाला यह पंखा किसी इंसान की जान भी ले सकेगा. मैंने अपने रिश्तेदार और पड़ोसी का पंखा साफ करते वक्त गिरते देखा था. एक रिश्तेदार की ऐसे ही गिरने से रीढ़ की हड्डी टूट गई थी. इसके बाद से ही मैंने इस तरह का पंखा बनाने की तैयारी की और आज एक एडजेस्टेबल फैन तैयार किया है. आए दिन पंखे से लटककर लोग सुसाइड कर रहे हैं. मैंने सोचा कि ऐसा पंखा बनाते हैं, जो आसानी से नीचे आ जाए और दोबारा ऊपर चले जाए. मैंने कई महीनों की रिसर्च के बाद पंखे के दो मॉड्यूल तैयार किए. जब ये सफल हुए तो इसका फाइनल प्रोटोटाइप तैयार किया. पंखे का नाम सिम डिवाइस रखा है, क्योंकि यह बहुत सुरक्षित है और इस्तेमाल में आसान है. इसका सिस्टम बनाने में वैसे तो तीन साल में 7 से 8 लाख रुपए खर्च हुए, लेकिन इसके सिस्टम की कीमत 400 से 500 रुपए ही है. इसमें पंखे को पुश करने के बाद उसे नीचे लाया जा सकता है और सफाई के बाद उसे वापस ऊपर लगाया जा सकता है. यह पंखा केवल सफाई के उद्देश्य से तैयार किया था लेकिन मॉड्यूलर लॉक वाले टेलीस्कोपिक पाइप से ये सुसाइड प्रूफ फेन भी बन चुका है.

-डॉ प्रदीप चांदे, प्रोफेसर

3डी प्रिंटिंग मशीन से तैयार फैन: डॉक्टर चांदे द्वारा तैयार किए गए इस सीलिंग फैन की खासियत है कि ये फैन डेढ़ किलो से अधिक वजन पड़ने पर नीचे आ जाता है. कई बार लोग आत्महत्या करने के लिए पंखे का प्रयोग करते हैं, लेकिन इस पंखे पर जब व्यक्ति के वजन का प्रेशर पड़ेगा तो वे नीचे आ जाएगा. इससे व्यक्ति की मौत नहीं होगी. इसी को लेकर इस पंखे को सुसाइड प्रूफ पंखा भी कहा जा रहा है. इस पंखे का फाइनल प्रोटोटाइप इनक्यूबेशन सेंटर में लगी 3डी प्रिंटिंग मशीन की मदद से तैयार किया गया है. इसमें तीन मैकेनिकल सिस्टम इलेक्ट्रिक कप्लर सिस्टम, ट्राई मॉड्यूलर लॉक और टेलीस्कोपिक पाइप के जरिए तैयार किया गया है.

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प्रोफेसर ने किए है कई इनोवेटिव अविष्कार: चांदे द्वारा लगातार कई इनोवेशन कार्य किए जा रहे हैं, वहीं ये काम स्टार्टअप के रूप में भी किया जा रहा है. वर्तमान में भी डिजास्टर मैनेजमेंट को लेकर भी एक खास तकनीक पर काम कर रहे हैं, जिससे आने वाले समय में डिजास्टर के समय लोगों की सहायता करने में प्रशासनिक अमले को काफी हद तक मदद मिलेगी. ये काम अंतिम दौर में है. इसे लेकर वे इंदौर शहर के कलेक्टर और सांसद से मुलाकात भी कर चुके हैं. अपने प्रोजेक्ट को लेकर उन्हें आने वाले दिनों में अवार्ड मिलने की बात भी सामने आई है. हालांकि ,अब तक यह प्रोजेक्ट फाइनल तौर पर रिलीज नहीं किया गया है. इस तकनीक को नगर निगम की ऐप के माध्यम से लोगों तक पहुंचाया जा रहा है.

इंदौर। भारत अपनी परंपराओं के साथ-साथ अपने अनोखे आविष्कारों को जुगाड़ को लेकर भी हमेशा से चर्चाओं में रहता है. हमारी संस्कृति बताती है कि आवश्यकता ही आविष्कार की जननी है. इसी को आगे बढ़ाते हुए इंदौर के एक शैक्षणिक संस्थान एसजीएसआईटीएस के पूर्व निर्देशक डॉ प्रदीप चांदे ने भी ऐसा ही कुछ कर दिखाया है. उन्होंने एक ऐसा पंखा तैयार किया है जो फांसी लगाने की कोशिश को विफल कर देगा. प्रोफेसर का यह एडजेस्टेबल सीलिंग फैन कारगर भी है. (Indore Professor Designed Anti Suicide Ceiling Fan)

इंदौर एसजीएसआईटीएस प्रोफेसर

इंदौरी प्रोफेसर का अनोखा आइडिया: देश के विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों में रह चुके डॉ पीके चांदे ने सीलिंग फैन में एक मॉडिफिकेशन किया है. यह मॉडिफाइड पंखा 3 साल की कड़ी मेहनत के बाद तैयार हुआ है. प्रोफेसर ने रिटायर होने के बाद सीएस माइंड नाम से स्टार्टअप शुरू किया है. इसी के तहत वे कई तरह का अविष्कार करते रहते हैं. खास बात यह है कि इस सीलिंग फैन की साफ-सफाई आसानी से की जा सकती है. प्रोफेसर चांदे ने बताया कि-

मुझे ये इनोवेशन करने की प्रेरणा अपने कुछ परिचितों से मिली है. 1892 में जर्मन इंजीनियर फिलिप एचडी ने सीलिंग फेन बनाया था, तब किसी ने भी नहीं सोचा होगा कि हवा देने वाला यह पंखा किसी इंसान की जान भी ले सकेगा. मैंने अपने रिश्तेदार और पड़ोसी का पंखा साफ करते वक्त गिरते देखा था. एक रिश्तेदार की ऐसे ही गिरने से रीढ़ की हड्डी टूट गई थी. इसके बाद से ही मैंने इस तरह का पंखा बनाने की तैयारी की और आज एक एडजेस्टेबल फैन तैयार किया है. आए दिन पंखे से लटककर लोग सुसाइड कर रहे हैं. मैंने सोचा कि ऐसा पंखा बनाते हैं, जो आसानी से नीचे आ जाए और दोबारा ऊपर चले जाए. मैंने कई महीनों की रिसर्च के बाद पंखे के दो मॉड्यूल तैयार किए. जब ये सफल हुए तो इसका फाइनल प्रोटोटाइप तैयार किया. पंखे का नाम सिम डिवाइस रखा है, क्योंकि यह बहुत सुरक्षित है और इस्तेमाल में आसान है. इसका सिस्टम बनाने में वैसे तो तीन साल में 7 से 8 लाख रुपए खर्च हुए, लेकिन इसके सिस्टम की कीमत 400 से 500 रुपए ही है. इसमें पंखे को पुश करने के बाद उसे नीचे लाया जा सकता है और सफाई के बाद उसे वापस ऊपर लगाया जा सकता है. यह पंखा केवल सफाई के उद्देश्य से तैयार किया था लेकिन मॉड्यूलर लॉक वाले टेलीस्कोपिक पाइप से ये सुसाइड प्रूफ फेन भी बन चुका है.

-डॉ प्रदीप चांदे, प्रोफेसर

3डी प्रिंटिंग मशीन से तैयार फैन: डॉक्टर चांदे द्वारा तैयार किए गए इस सीलिंग फैन की खासियत है कि ये फैन डेढ़ किलो से अधिक वजन पड़ने पर नीचे आ जाता है. कई बार लोग आत्महत्या करने के लिए पंखे का प्रयोग करते हैं, लेकिन इस पंखे पर जब व्यक्ति के वजन का प्रेशर पड़ेगा तो वे नीचे आ जाएगा. इससे व्यक्ति की मौत नहीं होगी. इसी को लेकर इस पंखे को सुसाइड प्रूफ पंखा भी कहा जा रहा है. इस पंखे का फाइनल प्रोटोटाइप इनक्यूबेशन सेंटर में लगी 3डी प्रिंटिंग मशीन की मदद से तैयार किया गया है. इसमें तीन मैकेनिकल सिस्टम इलेक्ट्रिक कप्लर सिस्टम, ट्राई मॉड्यूलर लॉक और टेलीस्कोपिक पाइप के जरिए तैयार किया गया है.

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