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MP में दालों और खाद्य तेलों की बढ़ती कीमतों पर लगेगी लगाम, सरकार ने तय की स्टॉक लिमिट - governmnet imposes stock limit on oil and pulses

प्रदेश में पिछले एक हफ्ते में ही खाद्य तेलों की कीमतों में लगभग 15 फीसदी तक का उछाल आया है. लगातार बढ़ रही कीमतों को ब्लैकमार्केटिंग से जोड़ कर देख कर देखा जा रहा है. ऐसे में प्रदेश सरकार ने आवश्यक वस्तु अधिनियम के तहत अधिसूचना जारी कर दी है.

essential commodity act
सरकार ने तय की स्टॉक लिमिट
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Published : Jul 30, 2021, 1:22 PM IST

भोपाल। प्रदेश में दालों और खाद्य तेलों की बढ़ती कीमतों और कालाबाजारी पर अंकुश लगाने के लिए राज्य सरकार ने भंडारण की लिमिट तय कर दी है. प्रदेश में अब थोक विक्रेता खाद्य तेल और दालों की 500 मेट्रिक टन से ज्यादा स्टॉक करके नहीं रख पाएंगे. वहीं फुटकर विक्रेताओं के लिए 5 मेट्रिक टन लिमिट तय कर दी गई है. राज्य सरकार ने इसके लिए आवश्यक वस्तु अधिनियम के तहत अधिसूचना जारी कर दी है.


कलेक्टर को देनी होगी स्टॉक की जानकारी
आवश्यक वस्तु अधिनियम के तहत 31 अक्टूबर तक के लिए अधिकतम स्टॉक की सीमा निर्धारित कर दी गई है. थोक विक्रेता खाद्य तेलों और दालों का 500 मेट्रिक टन का ही स्टॉक रख सकेंगे. बशर्ते किसी एक किस्म की मात्रा 200 मेट्रिक टन से ज्यादा नहीं होनी चाहिए. इसी तरह खुदरा विक्रेता 5 मीट्रिक टन और मिलर के लिए स्टॉक लिमिट विगत 6 माह की उत्पादन क्षमता का 50 फ़ीसदी से ज्यादा नहीं होना चाहिए. व्यापारियों एजेंट आयातक को 5 तारीख तक कलेक्टरों को स्टॉक की जानकारी लिखित में भेजना होगी. जिला प्रशासन के अधिकारियों को स्टॉक की जांच के अधिकार दिए गए हैं वे जरूरी होने पर भंडार गृहों की जांच कर सकेंगे.

प्रदेश में दालों की कीमतें स्थिर, खाद्य तेलों में उछाल
प्रदेश में बीते 15 दिनों से तेलों की कीमतों में लगातार उछाल देखने को मिल रहा है. तेल के थोक विक्रेताओं के मुताबिक पिछले 15 दिनों में खाद्य तेलों की कीमतों में करीब 15 फ़ीसदी तक का उछाल आया है. 15 दिन पहले तक सोयाबीन का तेल ₹130 लीटर था जो बढ़कर ₹150 लीटर पहुंच गया है. इसी तरह सरसों का तेल ₹160 लीटर मूंगफली का तेल ₹160 लीटर पहुंच गया है हालांकि दालों की कीमतें पिछले एक पखवाड़े से स्थिर बनी हुई है.

भोपाल। प्रदेश में दालों और खाद्य तेलों की बढ़ती कीमतों और कालाबाजारी पर अंकुश लगाने के लिए राज्य सरकार ने भंडारण की लिमिट तय कर दी है. प्रदेश में अब थोक विक्रेता खाद्य तेल और दालों की 500 मेट्रिक टन से ज्यादा स्टॉक करके नहीं रख पाएंगे. वहीं फुटकर विक्रेताओं के लिए 5 मेट्रिक टन लिमिट तय कर दी गई है. राज्य सरकार ने इसके लिए आवश्यक वस्तु अधिनियम के तहत अधिसूचना जारी कर दी है.


कलेक्टर को देनी होगी स्टॉक की जानकारी
आवश्यक वस्तु अधिनियम के तहत 31 अक्टूबर तक के लिए अधिकतम स्टॉक की सीमा निर्धारित कर दी गई है. थोक विक्रेता खाद्य तेलों और दालों का 500 मेट्रिक टन का ही स्टॉक रख सकेंगे. बशर्ते किसी एक किस्म की मात्रा 200 मेट्रिक टन से ज्यादा नहीं होनी चाहिए. इसी तरह खुदरा विक्रेता 5 मीट्रिक टन और मिलर के लिए स्टॉक लिमिट विगत 6 माह की उत्पादन क्षमता का 50 फ़ीसदी से ज्यादा नहीं होना चाहिए. व्यापारियों एजेंट आयातक को 5 तारीख तक कलेक्टरों को स्टॉक की जानकारी लिखित में भेजना होगी. जिला प्रशासन के अधिकारियों को स्टॉक की जांच के अधिकार दिए गए हैं वे जरूरी होने पर भंडार गृहों की जांच कर सकेंगे.

प्रदेश में दालों की कीमतें स्थिर, खाद्य तेलों में उछाल
प्रदेश में बीते 15 दिनों से तेलों की कीमतों में लगातार उछाल देखने को मिल रहा है. तेल के थोक विक्रेताओं के मुताबिक पिछले 15 दिनों में खाद्य तेलों की कीमतों में करीब 15 फ़ीसदी तक का उछाल आया है. 15 दिन पहले तक सोयाबीन का तेल ₹130 लीटर था जो बढ़कर ₹150 लीटर पहुंच गया है. इसी तरह सरसों का तेल ₹160 लीटर मूंगफली का तेल ₹160 लीटर पहुंच गया है हालांकि दालों की कीमतें पिछले एक पखवाड़े से स्थिर बनी हुई है.

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