भोपाल। लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री प्रभुराम चौधरी ने कहा है कि मलेरिया, डेंगू, चिकुनगुनिया आदि की रोकथाम के लिये अपनाये जाने वाले ऐहतियाती उपायों को अमल में लाने के लिये पहल करें. उन्होंने कहा कि, बीमारी फैलने के पहले रोकथाम के उपाय किये जाने से बीमारी पर कारगर नियंत्रण पाया जा सकता है. स्वास्थ्य मंत्री डॉ. चौधरी ने मंत्रालय में राष्ट्रीय वेक्टर जनित रोग नियंत्रण कार्यक्रम की प्रदेश टॉस्क फोर्स कमेटी की बैठक को संबोधित किया.
जन-जागरूकता के लिये आवश्यक प्रचार सामग्री उपलब्ध: स्वास्थ्य मंत्री डॉ. चौधरी ने कहा कि, डेंगू मच्छर का लार्वा साफ पानी में पनपता है. उन्होंने कहा कि वर्षाकाल में घरों के आसपास जहाँ साफ पानी जमा हो जाता है, वहाँ डेंगू मच्छर पैदा होते हैं और डेंगू फैलते हैं. घरों के आसपास और अन्य स्थानों में पानी जमा नहीं होने दें. ऐसी स्थिति में डेंगू मच्छर के पैदा होने की संभावना नहीं होगी और डेंगू पर कारगर नियंत्रण प्राप्त किया जा सकता है. आम नागरिकों को डेंगू की रोकथाम के उपाय अपनाने के लिये कहा जाये. पानी एकत्र करने के बर्तनों को खुला नहीं रखें. उन्होंने विभागीय अधिकारियों से कहा कि जन-जागरूकता के लिये आवश्यक प्रचार सामग्री संबंधित विभागों के अधिकारियों तक पहुँचाए. जिसे वे अधीनस्थ अधिकारी-कर्मचारियों के माध्यम से क्षेत्र में आम नागरिकों तक पहुँचा सकेंगे.
अधिकारियों को इस दिशा में पहल करने की सलाह: स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि, 'पंचायत और ग्रामीण विकास, महिला-बाल विकास, वन, शिक्षा आदि विभागों का अमला नागरिकों से सीधे सम्पर्क में रहता है. इन विभागों के मैदानी अधिकारी-कर्मचारियों की बीमारियों की रोकथाम के लिये जन-जागरूकता बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका है'. उन्होंने बैठक में उपस्थित स्वास्थ्य विभाग सहित अन्य विभागों के अधिकारियों को इस दिशा में पहल करने के लिये कहा. एमडी एनएचएम की डायरेक्टर प्रियंका दास ने मलेरिया, फाइलेरिया, डेंगू/चिकुनगुनिया, जापानीज एन्सेफेलाइटिस बीमारियों की स्थिति पर प्रेजेंटेशन दिया. बैठक मे स्वास्थ्य आयुक्त डॉ. सुदाम खाड़े और टॉस्क फोर्स कमेटी के सदस्य उपस्थित थे.