भोपाल। एक तरफ कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष के नाम का चयन नहीं कर पा रही है. दूसरी तरफ इस पद के लिए रोजाना नए-नए दावेदार सामने आ रहे हैं. कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष पद पर अब वरिष्ठ कांग्रेस विधायक और पूर्व मंत्री बिसाहू लाल सिंह ने भी दावा ठोक दिया है. उनका कहना है कि कांग्रेस के 31 आदिवासी विधायकों ने उनके समर्थन में राहुल गांधी को चिट्टी लिखकर प्रदेश अध्यक्ष बनाए जाने की मांग की है. बिसाहू लाल का नाम सामने आने बाद कांग्रेस में एक बार फिर हलचल तेज हो गई है.
बिसाहू लाल की मंशा है कि सबसे वरिष्ठ आदिवासी विधायक होने के बावजूद भी उन्हें मंत्री नहीं बनाया गया. इसलिए अब उन्हें प्रदेश अध्यक्ष बनाया जाए. बिसाहू लाल सिंह का कहना है कि सभी आदिवासी विधायकों ने मांग की है कि वह पांच बार विधायक रहे हैं. दस साल तक प्रदेश सरकार में मंत्री रहने का अनुभव भी है, जबकि आदिवासियों ने कांग्रेस की जीत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. ऐसे में उन्हें ये पद मिलना चाहिए.
बिसाहूलाल का दावा उन्हें आदिवासियों का समर्थन
बिसाहूलाल का दावा है कि उन्हें कांग्रेस के सभी आदिवासी विधायकों के साथ-साथ पूर्व विधायकों का भी समर्थन प्राप्त है. वह किसी भी तरह की गुटबाजी में भी नहीं हैं, जबकि अन्य नेता गुटबाजी से परेशान हैं. इसके अलावा प्रदेश भर के आदिवासियों का भी उन्हें समर्थन प्राप्त है. इसलिए कांग्रेस को उन्हें प्रदेश अध्यक्ष बनाना चाहिए.
सबको है अपनी बात रखने का हक
इस मामले में मध्यप्रदेश आदिवासी कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय शाह का कहना है कि बिसाहू लाल हमारे वरिष्ठ विधायक हैं. मंत्री भी रह चुके हैं. अगर उन्होंने चाहा और हमारे 31 विधायकों ने लिख कर दिया है तो मांग करना हमारा जन्मसिद्ध अधिकार है. हाई कमान किसे प्रदेश अध्यक्ष बनाता है, ये अलग बात है. लेकिन अपनी बात शिद्दत से रखना हमारा अधिकार है.
बिसाहू लाल को अध्यक्ष की कमान मिले तो अच्छा
अजय शाह ने कहा कि आदिवासी एक वर्ग नहीं है, बल्कि गौड़, भील, भिलाला और कोरकू जैसे अलग-अलग समुदाय से हमारे 31 विधायक आते हैं. लेकिन हम सभी एक छत के नीचे आदिवासी कहलाते हैं. अगर सबने बिसाहूलाल सिंह को अध्यक्ष बनाने की मांग की है और अगर उन्हें यह पद मिलता है तो यह अच्छी बात है.