भोपाल। राजधानी भोपाल राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के छात्रों ने गांधी जयंती के अवसर पर लोगों को खादी का महत्व बताने के लिए फैशन शो का आयोजन किया. इस फैशन शो के दौरान 62 डिजाइनर्स ने 82 डिजाइंस के माध्यम से खादी का जुदा अंदाज लोगों को दिखाने का प्रयास किया गया.
फैशन शो का मुख्य उद्देश्य यही था कि लोग खादी को न सिर्फ समझे बल्कि यह भी समझे खादी सिर्फ एक परिधान नहीं है. बल्कि हमारी संस्कृति की पहचान है. भोपाल की पुरानी विधानसभा मिंटो हॉल में आयोजित इस आयोजन का कार्यक्रम 'अभिकल्पन ट्रांसफॉर्मिंग खादी' के तहत किया गया
महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर आयोजित हुए इस फैशन शो में प्रदेश भर के बॉन्डिंग डिजाइनर्स ने खादी के अलग-अलग रूप प्रदर्शित किए. शो के लिए 250 प्रविष्टियां प्राप्त हुई थी . जिसमें से 62 डिजाइनर्स का चयन किया गया. इनके द्वारा 82 डिजाइंस का प्रेजेंटेशन इस फैशन शो के माध्यम से दिया गया. चार राउंड में आयोजित फैशन शो के साथ ही डॉक्यूमेंट्री गांधी के महात्मा बनने की कहानी भी यहां पर दिखाई गई. इस फैशन शो में इंडो वेस्टर्न फॉर्म में कंटेंम्प्रेरी फॉर्म भी देखने को मिला . ड्रेपिंग के अलग अंदाज को दर्शाता राउंड "अलंकृता " के प्रेजेंटेशन को दर्शकों ने काफी सराहा. वहीं 'खादी संहिता' राउंड में साफ तौर से गांधी के खादी अवतार को दिखाने की कोशिश की गई.
पेशे से वकील लेकिन कला संस्कृति से जुड़े रहने वाले फैशन डिज़ाइनर अनुराग श्रीवास्तव का कहना है कि खादी को लोगों से जोड़ने के लिए यह एक अभिनव प्रयास विश्वविद्यालय के द्वारा किया गया है. इसमें छात्रों को जिस तरह से फैशन शो के माध्यम से खादी की विशेषता बताई गई है. यह प्रशंसनीय है.
फैशन शो में भाग लेने आए छात्राओं का ने भी यही कहा कि इतिहास गवाह है कि हमारे देश के लिए खादी की महत्वता क्या है, क्योंकि खादी स्वदेशी है. यह हमारे देश की पहचान है. हम चाहते हैं कि विदेशी चीजों को छोड़कर खादी को वस्त्र के रूप में इस्तेमाल किया जाना चाहिए . लेकिन लोगों की सोच बनी हुई है कि खादी काफी महंगी होती है , उसे पहनने के बाद लोगों को काफी बोरिंग सा महसूस होता है, लेकिन इसी चीज को बदलने के लिए हमने एक नए परिदृश्य के तहत खादी को प्रस्तुत किया है. यह खादी के अनेक रूपों को दर्शाने का एक सरल माध्यम है. बस जरूरत है उसे एक नए सांचे में ढालने की. हमने यह दिखाने की कोशिश इस फैशन शो के माध्यम से की है.