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सरकारी कार्यालय बन गए कांग्रेसी दफ्तर, अधिकारी कर रहे नेताओं की चाटुकारिताः गोपाल भार्गव

नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने प्रदेश के मुख्य सचिव एसआर मोहंती पर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि मुख्य सचिव ने पूर्व सीएम शिवराज के खिलाफ जो बयान दिया है वह सर्विस मैनुअल के हिसाब से नहीं है. अधिकारी केवल नेताओं की चाटुकारिता में लगे हैं.

gopal bharagava
गोपाल भार्गव
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Published : Feb 19, 2020, 4:16 PM IST

भोपाल। मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मुख्य सचिव एसआर मोहंती पर पोषण आहार के मामले में सरकार के इशारे पर काम करने का आरोप लगाया था, जिस पर मुख्य सचिव ने भी शिवराज सिंह चौहान पर निशाना साधा है. अब नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने मुख्य सचिव पर निशाना साधते हुए कहा कि जो सीएम या कांग्रेस नेताओं को कहना चाहिए, वो बात अधिकारी कह रहे हैं, प्रदेश का प्रशासनिक ढांचा पूरी तरह से बिगड़ा हुआ है.

गोपाल भार्गव, नेता प्रतिपक्ष

भार्गव ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री के खिलाफ दिया गया बयान सर्विस मैनुअल के खिलाफ है. अधिकारी अपना आचरण सुधारें. मध्यप्रदेश में इस तरह की संस्कृति नहीं है कि अधिकारी नेताओं के खिलाफ बयान दें. अधिकारी केवल नेताओं की चाटुकारिता करने में लगे हुए हैं, ताकि इन्हें रिटायरमेंट के बाद अच्छे मलाईदार पद मिल सकें और इनका जीवन आसानी से कट सके.

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि कांग्रेस शासनकाल में मंत्रालय को भी घोषित रूप से कांग्रेस कार्यालय बना देना चाहिए क्योंकि अघोषित रूप से तो सरकारी दफ्तर और मंत्रालय कांग्रेस कार्यालय बन ही चुके हैं. प्रदेश के मुख्य सचिव एसआर मोहंती ने एक बयान देते हुए कहा था कि पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को पीपीपी मोड की समझ ही नहीं थी. उन्हें मालूम ही नहीं था कि पीपीपी मोड क्या होता है. मुख्य सचिव के इस बयान के बाद ही सियासत गरमा गई है.

भोपाल। मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मुख्य सचिव एसआर मोहंती पर पोषण आहार के मामले में सरकार के इशारे पर काम करने का आरोप लगाया था, जिस पर मुख्य सचिव ने भी शिवराज सिंह चौहान पर निशाना साधा है. अब नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने मुख्य सचिव पर निशाना साधते हुए कहा कि जो सीएम या कांग्रेस नेताओं को कहना चाहिए, वो बात अधिकारी कह रहे हैं, प्रदेश का प्रशासनिक ढांचा पूरी तरह से बिगड़ा हुआ है.

गोपाल भार्गव, नेता प्रतिपक्ष

भार्गव ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री के खिलाफ दिया गया बयान सर्विस मैनुअल के खिलाफ है. अधिकारी अपना आचरण सुधारें. मध्यप्रदेश में इस तरह की संस्कृति नहीं है कि अधिकारी नेताओं के खिलाफ बयान दें. अधिकारी केवल नेताओं की चाटुकारिता करने में लगे हुए हैं, ताकि इन्हें रिटायरमेंट के बाद अच्छे मलाईदार पद मिल सकें और इनका जीवन आसानी से कट सके.

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि कांग्रेस शासनकाल में मंत्रालय को भी घोषित रूप से कांग्रेस कार्यालय बना देना चाहिए क्योंकि अघोषित रूप से तो सरकारी दफ्तर और मंत्रालय कांग्रेस कार्यालय बन ही चुके हैं. प्रदेश के मुख्य सचिव एसआर मोहंती ने एक बयान देते हुए कहा था कि पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को पीपीपी मोड की समझ ही नहीं थी. उन्हें मालूम ही नहीं था कि पीपीपी मोड क्या होता है. मुख्य सचिव के इस बयान के बाद ही सियासत गरमा गई है.

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