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वो दिन भी दूर नहीं है, जब मोदी सरकार CAA का क़ानून भी वापस लेगी: AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी

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Published : Nov 19, 2021, 6:53 AM IST

Updated : Nov 19, 2021, 2:14 PM IST

14:10 November 19

वो दिन भी दूर नहीं है, जब मोदी सरकार CAA का क़ानून भी वापस लेगी: AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी

  • सरकार ने कृषि क़ानूनों को रद्द करने का फ़ैसला देरी से लिया है। यह किसान आंदोलन और किसानों की सफलता है। चुनाव में जाना था इसलिए केंद्र सरकार ने यह फ़ैसला लिया है। वह दिन भी दूर नहीं है, जब मोदी सरकार CAA का क़ानून भी वापस लेगी: AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी, दिल्ली pic.twitter.com/hCc8EI91FA

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • सरकार ने कृषि क़ानूनों को रद्द करने का फ़ैसला देरी से लिया है. यह किसान आंदोलन और किसानों की सफलता है. चुनाव में जाना था इसलिए केंद्र सरकार ने यह फ़ैसला लिया है.वह दिन भी दूर नहीं है, जब मोदी सरकार CAA का क़ानून भी वापस लेगी: AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी

12:06 November 19

पूर्व राष्ट्रपति ज्ञानी जैल सिंह के प्रेस सचिव तरलोचन सिंह बयान- 'यह गुरु नानक जी को श्रद्धांजलि है'

  • It's tribute to Guru Nanak ji. Thankful to PM Modi for repealing 3 farm laws. He himself said that they couldn't convince farmers & had to consider people's aspirations. Farmers should also return home: Tarlochan Singh, Ex-President Giani Zail Singh's Press Secy pic.twitter.com/WcXphA2WEI

    — ANI (@ANI) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

पूर्व राष्ट्रपति ज्ञानी जैल सिंह के प्रेस सचिव तरलोचन सिंह ने कहा है कि - "यह गुरु नानक जी को श्रद्धांजलि है. 3 कृषि कानूनों को निरस्त करने के लिए पीएम मोदी का धन्यवाद. उन्होंने खुद कहा कि वे किसानों को मना नहीं सकते और लोगों की आकांक्षाओं पर विचार करना चाहिए, किसान भी घर लौटें". 

11:13 November 19

केंद्र सरकार ने कृषि क़ानूनों को देर से रद्द करने की घोषणा की है, फ़ैसला बहुत पहले ले लिया जाना चाहिए था: BSP प्रमुख मायावती

  • केंद्र सरकार ने कृषि क़ानूनों को देर से रद्द करने की घोषणा की है। यह फ़ैसला बहुत पहले ले लिया जाना चाहिए था। इसके लिए सभी किसानों को हार्दिक बधाई। यदि केंद्र सरकार यह फ़ैसला काफी पहले ले लेती तो देश अनेक प्रकार के झगड़ों से बच जाता: BSP प्रमुख मायावती, लखनऊ pic.twitter.com/p5aQngbc6f

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • BSP प्रमुख मायावती  ने कहा है कि केंद्र सरकार ने कृषि क़ानूनों को देर से रद्द करने की घोषणा की है. यह फ़ैसला बहुत पहले ले लिया जाना चाहिए था. इसके लिए सभी किसानों को हार्दिक बधाई. यदि केंद्र सरकार यह फ़ैसला काफी पहले ले लेती तो देश अनेक प्रकार के झगड़ों से बच जाता.

10:39 November 19

तीनों कृषि क़ानूनों को वापस लेने की घोषणा के बाद किसानों में खुशी, गाज़ीपुर बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे किसानों ने जलेबियां बांटी

  • #WATCH प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा तीनों कृषि क़ानूनों को वापस लेने की घोषणा करने के बाद गाज़ीपुर बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे किसानों ने जलेबियां बांटी। pic.twitter.com/05VwiTEQV1

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा तीनों कृषि क़ानूनों को वापस लेने की घोषणा करने के बाद गाज़ीपुर बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे किसानों ने जलेबियां बांटी

10:22 November 19

कांग्रेस : टूट गया अभिमान, जीत गया

  • टूट गया अभिमान,
    जीत गया हिन्दुस्तान।

    — MP Congress (@INCMP) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • कांग्रेस : टूट गया अभिमान, जीत गया

10:13 November 19

आंदोलन तत्काल वापस नहीं होगा, हम उस दिन का इंतज़ार करेंगे जब कृषि कानूनों को संसद में रद्द किया जाएगा: किसान नेता राकेश टिकैत

  • Bharatiya Kisan Union (BKU) leader Rakesh Tikait tweets, "The agitation will not be taken back. We will wait for the day when the farm laws will be scrapped in the Parliament. Government should talk on other issues of farmers too, besides MSP."#FarmLaws pic.twitter.com/a5KmDhoaPP

    — ANI (@ANI) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • आंदोलन तत्काल वापस नहीं होगा, हम उस दिन का इंतज़ार करेंगे जब कृषि कानूनों को संसद में रद्द किया जाएगा: किसान नेता राकेश टिकैत

10:03 November 19

कृषि कानून को लेकर जब तक सदन से इस घोषणा पर कार्यवाही नहीं होती है तब तक यह कोशिश संपूर्ण नहीं: हन्नान मौला

  • मैं इस घोषणा का स्वागत करता हूं। जब तक सदन से इस घोषणा पर कार्यवाही नहीं होती है तब तक यह कोशिश संपूर्ण नहीं होगी। इससे हमारे किसानों की समस्या हल नहीं होगी। MSP के लिए हमारा आंदोलन जारी है और जारी रहेगा: कृषि क़ानून रद्द होने पर ऑल इंडिया किसान सभा महासचिव हन्नान मौला, दिल्ली pic.twitter.com/Wz2D5OJuRA

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • कृषि कानून को लेकर जब तक सदन से इस घोषणा पर कार्यवाही नहीं होती है तब तक यह कोशिश संपूर्ण नहीं: हन्नान मौला

09:35 November 19

देश एकजुट हो तो कोई भी फैसला बदला जा सकता है, महाराष्ट्र सरकार में मंत्री नवाब मलिक का बयान

  • आज से तीनों कृषि क़ानून इस देश में नहीं रहेंगे। एक बड़ा संदेश देश में गया है कि देश एकजुट हो तो कोई भी फैसला बदला जा सकता है। चुनाव में हार के डर से प्रधानमंत्री ने तीनों कृषि क़ानूनों का वापस लिया है। किसानों की जीत देशवासीयों की जीत है: महाराष्ट्र सरकार में मंत्री नवाब मलिक pic.twitter.com/woJepkMFgJ

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • देश एकजुट हो तो कोई भी फैसला बदला जा सकता है: महाराष्ट्र सरकार में मंत्री नवाब मलिक का बयान

09:29 November 19

क्या हैं वो तीनों कृषि कानून ?

  • 17 सितंबर 2020. ये वो तारीख थी जब संसद में खेती से जुड़े तीनों कानून पास हो गए थे. ये वही कानून हैं जिनके विरोध में पिछले साल नवंबर से शुरू हुआ किसानों का आंदोलन (Farmers Protest) अब तक जारी है. इस बीते एक साल में क्या-क्या हुआ? आइए जानते हैं...

क्या हैं वो तीन कानून ?

  • पहला कानूनः कृषि उत्पादन व्यापार और वाणिज्य (संवर्धन और सुविधा) विधेयक 2020 है. इसके मुताबिक किसान मनचाही जगह पर अपनी फसल बेच सकते हैं. बिना किसी रुकावट के दूसरे राज्यों में भी फसल बेच और खरीद सकते हैं.
  • दूसरा कानूनः मूल्य आश्वासन एवं कृषि सेवाओं पर कृषक सशक्तिकरण एवं संरक्षण अनुबंध विधेयक 2020 है. इसके जरिए देशभर में कॉन्ट्रैक्ट फार्मिंग को लेकर व्यवस्था बनाने का प्रस्ताव है. फसल खराब होने पर उसके नुकसान की भरपाई किसानों को नहीं बल्कि एग्रीमेंट करने वाले पक्ष या कंपनियों को करनी होगी.
  • तीसरा कानूनः आवश्यक वस्तु संशोधन बिल- 1955 में बने आवश्‍यक वस्‍तु अधिनियम से अब खाद्य तेल, तिलहन, दाल, प्याज और आलू जैसे कृषि उत्‍पादों पर से स्टॉक लिमिट हटा दी गई है.

09:16 November 19

पीएम नरेंद्र मोदी का तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने का ऐलान

  • पीएम नरेंद्र मोदी का तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने का ऐलान

06:47 November 19

पीएम स्वनिधि योजना में 101.60 प्रतिशत उपलब्धि अर्जित कर मध्य प्रदेश देश में अव्वल

  • भोपाल: प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना में 101.60 प्रतिशत उपलब्धि अर्जित कर मध्य प्रदेश देश में अव्वल है. केन्द्रीय आवास और शहरी मंत्रालय द्वारा इस योजना में मध्य प्रदेश को वर्ष 2021-22 के लिए 4 लाख 5 हजार पथ-विक्रेताओं को लाभान्वित करने का लक्ष्य दिया गया था. लक्ष्य के विरूद्ध मध्य प्रदेश में 4 लाख 11 हजार 481 पथ-विक्रेताओं को 10-10 हजार रूपये ब्याज रहित ऋण वितरित किया जा चुका है.
  • नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेन्द्र सिंह ने कहा है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना के प्रथम चरण के साथ ही द्वितीय चरण में भी मध्य प्रदेश नंबर एक है. उन्होंने कहा है कि समय पर 10 हजार रुपये का ऋण चुकाने वाले पथ-विक्रेताओं को 20 हजार और फिर 50 हजार रूपये का ऋण स्वीकृत करने का प्रावधान योजना में है.

14:10 November 19

वो दिन भी दूर नहीं है, जब मोदी सरकार CAA का क़ानून भी वापस लेगी: AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी

  • सरकार ने कृषि क़ानूनों को रद्द करने का फ़ैसला देरी से लिया है। यह किसान आंदोलन और किसानों की सफलता है। चुनाव में जाना था इसलिए केंद्र सरकार ने यह फ़ैसला लिया है। वह दिन भी दूर नहीं है, जब मोदी सरकार CAA का क़ानून भी वापस लेगी: AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी, दिल्ली pic.twitter.com/hCc8EI91FA

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • सरकार ने कृषि क़ानूनों को रद्द करने का फ़ैसला देरी से लिया है. यह किसान आंदोलन और किसानों की सफलता है. चुनाव में जाना था इसलिए केंद्र सरकार ने यह फ़ैसला लिया है.वह दिन भी दूर नहीं है, जब मोदी सरकार CAA का क़ानून भी वापस लेगी: AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी

12:06 November 19

पूर्व राष्ट्रपति ज्ञानी जैल सिंह के प्रेस सचिव तरलोचन सिंह बयान- 'यह गुरु नानक जी को श्रद्धांजलि है'

  • It's tribute to Guru Nanak ji. Thankful to PM Modi for repealing 3 farm laws. He himself said that they couldn't convince farmers & had to consider people's aspirations. Farmers should also return home: Tarlochan Singh, Ex-President Giani Zail Singh's Press Secy pic.twitter.com/WcXphA2WEI

    — ANI (@ANI) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

पूर्व राष्ट्रपति ज्ञानी जैल सिंह के प्रेस सचिव तरलोचन सिंह ने कहा है कि - "यह गुरु नानक जी को श्रद्धांजलि है. 3 कृषि कानूनों को निरस्त करने के लिए पीएम मोदी का धन्यवाद. उन्होंने खुद कहा कि वे किसानों को मना नहीं सकते और लोगों की आकांक्षाओं पर विचार करना चाहिए, किसान भी घर लौटें". 

11:13 November 19

केंद्र सरकार ने कृषि क़ानूनों को देर से रद्द करने की घोषणा की है, फ़ैसला बहुत पहले ले लिया जाना चाहिए था: BSP प्रमुख मायावती

  • केंद्र सरकार ने कृषि क़ानूनों को देर से रद्द करने की घोषणा की है। यह फ़ैसला बहुत पहले ले लिया जाना चाहिए था। इसके लिए सभी किसानों को हार्दिक बधाई। यदि केंद्र सरकार यह फ़ैसला काफी पहले ले लेती तो देश अनेक प्रकार के झगड़ों से बच जाता: BSP प्रमुख मायावती, लखनऊ pic.twitter.com/p5aQngbc6f

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • BSP प्रमुख मायावती  ने कहा है कि केंद्र सरकार ने कृषि क़ानूनों को देर से रद्द करने की घोषणा की है. यह फ़ैसला बहुत पहले ले लिया जाना चाहिए था. इसके लिए सभी किसानों को हार्दिक बधाई. यदि केंद्र सरकार यह फ़ैसला काफी पहले ले लेती तो देश अनेक प्रकार के झगड़ों से बच जाता.

10:39 November 19

तीनों कृषि क़ानूनों को वापस लेने की घोषणा के बाद किसानों में खुशी, गाज़ीपुर बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे किसानों ने जलेबियां बांटी

  • #WATCH प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा तीनों कृषि क़ानूनों को वापस लेने की घोषणा करने के बाद गाज़ीपुर बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे किसानों ने जलेबियां बांटी। pic.twitter.com/05VwiTEQV1

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा तीनों कृषि क़ानूनों को वापस लेने की घोषणा करने के बाद गाज़ीपुर बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे किसानों ने जलेबियां बांटी

10:22 November 19

कांग्रेस : टूट गया अभिमान, जीत गया

  • टूट गया अभिमान,
    जीत गया हिन्दुस्तान।

    — MP Congress (@INCMP) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • कांग्रेस : टूट गया अभिमान, जीत गया

10:13 November 19

आंदोलन तत्काल वापस नहीं होगा, हम उस दिन का इंतज़ार करेंगे जब कृषि कानूनों को संसद में रद्द किया जाएगा: किसान नेता राकेश टिकैत

  • Bharatiya Kisan Union (BKU) leader Rakesh Tikait tweets, "The agitation will not be taken back. We will wait for the day when the farm laws will be scrapped in the Parliament. Government should talk on other issues of farmers too, besides MSP."#FarmLaws pic.twitter.com/a5KmDhoaPP

    — ANI (@ANI) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • आंदोलन तत्काल वापस नहीं होगा, हम उस दिन का इंतज़ार करेंगे जब कृषि कानूनों को संसद में रद्द किया जाएगा: किसान नेता राकेश टिकैत

10:03 November 19

कृषि कानून को लेकर जब तक सदन से इस घोषणा पर कार्यवाही नहीं होती है तब तक यह कोशिश संपूर्ण नहीं: हन्नान मौला

  • मैं इस घोषणा का स्वागत करता हूं। जब तक सदन से इस घोषणा पर कार्यवाही नहीं होती है तब तक यह कोशिश संपूर्ण नहीं होगी। इससे हमारे किसानों की समस्या हल नहीं होगी। MSP के लिए हमारा आंदोलन जारी है और जारी रहेगा: कृषि क़ानून रद्द होने पर ऑल इंडिया किसान सभा महासचिव हन्नान मौला, दिल्ली pic.twitter.com/Wz2D5OJuRA

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • कृषि कानून को लेकर जब तक सदन से इस घोषणा पर कार्यवाही नहीं होती है तब तक यह कोशिश संपूर्ण नहीं: हन्नान मौला

09:35 November 19

देश एकजुट हो तो कोई भी फैसला बदला जा सकता है, महाराष्ट्र सरकार में मंत्री नवाब मलिक का बयान

  • आज से तीनों कृषि क़ानून इस देश में नहीं रहेंगे। एक बड़ा संदेश देश में गया है कि देश एकजुट हो तो कोई भी फैसला बदला जा सकता है। चुनाव में हार के डर से प्रधानमंत्री ने तीनों कृषि क़ानूनों का वापस लिया है। किसानों की जीत देशवासीयों की जीत है: महाराष्ट्र सरकार में मंत्री नवाब मलिक pic.twitter.com/woJepkMFgJ

    — ANI_HindiNews (@AHindinews) November 19, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">
  • देश एकजुट हो तो कोई भी फैसला बदला जा सकता है: महाराष्ट्र सरकार में मंत्री नवाब मलिक का बयान

09:29 November 19

क्या हैं वो तीनों कृषि कानून ?

  • 17 सितंबर 2020. ये वो तारीख थी जब संसद में खेती से जुड़े तीनों कानून पास हो गए थे. ये वही कानून हैं जिनके विरोध में पिछले साल नवंबर से शुरू हुआ किसानों का आंदोलन (Farmers Protest) अब तक जारी है. इस बीते एक साल में क्या-क्या हुआ? आइए जानते हैं...

क्या हैं वो तीन कानून ?

  • पहला कानूनः कृषि उत्पादन व्यापार और वाणिज्य (संवर्धन और सुविधा) विधेयक 2020 है. इसके मुताबिक किसान मनचाही जगह पर अपनी फसल बेच सकते हैं. बिना किसी रुकावट के दूसरे राज्यों में भी फसल बेच और खरीद सकते हैं.
  • दूसरा कानूनः मूल्य आश्वासन एवं कृषि सेवाओं पर कृषक सशक्तिकरण एवं संरक्षण अनुबंध विधेयक 2020 है. इसके जरिए देशभर में कॉन्ट्रैक्ट फार्मिंग को लेकर व्यवस्था बनाने का प्रस्ताव है. फसल खराब होने पर उसके नुकसान की भरपाई किसानों को नहीं बल्कि एग्रीमेंट करने वाले पक्ष या कंपनियों को करनी होगी.
  • तीसरा कानूनः आवश्यक वस्तु संशोधन बिल- 1955 में बने आवश्‍यक वस्‍तु अधिनियम से अब खाद्य तेल, तिलहन, दाल, प्याज और आलू जैसे कृषि उत्‍पादों पर से स्टॉक लिमिट हटा दी गई है.

09:16 November 19

पीएम नरेंद्र मोदी का तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने का ऐलान

  • पीएम नरेंद्र मोदी का तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने का ऐलान

06:47 November 19

पीएम स्वनिधि योजना में 101.60 प्रतिशत उपलब्धि अर्जित कर मध्य प्रदेश देश में अव्वल

  • भोपाल: प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना में 101.60 प्रतिशत उपलब्धि अर्जित कर मध्य प्रदेश देश में अव्वल है. केन्द्रीय आवास और शहरी मंत्रालय द्वारा इस योजना में मध्य प्रदेश को वर्ष 2021-22 के लिए 4 लाख 5 हजार पथ-विक्रेताओं को लाभान्वित करने का लक्ष्य दिया गया था. लक्ष्य के विरूद्ध मध्य प्रदेश में 4 लाख 11 हजार 481 पथ-विक्रेताओं को 10-10 हजार रूपये ब्याज रहित ऋण वितरित किया जा चुका है.
  • नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेन्द्र सिंह ने कहा है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना के प्रथम चरण के साथ ही द्वितीय चरण में भी मध्य प्रदेश नंबर एक है. उन्होंने कहा है कि समय पर 10 हजार रुपये का ऋण चुकाने वाले पथ-विक्रेताओं को 20 हजार और फिर 50 हजार रूपये का ऋण स्वीकृत करने का प्रावधान योजना में है.
Last Updated : Nov 19, 2021, 2:14 PM IST
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