शहडोल। एक ओर मध्य प्रदेश सरकार लगातार विकास के दावों की बात कह रही है और विकास पर्व मना रही है, तो वहीं दूसरी ओर लगातार विकास के दावों की पोल भी खुलती नजर आ रही है. एक ऐसा ही मामला मध्य प्रदेश के शहडोल जिले से आया है. जहां इस भारी बारिश के बीच स्कूल में क्लास में बैठने के बाद भी छात्र छतरी लेकर पढ़ाई करने को मजबूर हैं. आखिर ऐसा क्या हुआ कि उन्हें क्लास रूम के अंदर भी छतरी लगानी पड़ी. यह वीडियो अब जमकर वायरल हो रहा है और इस पर सवाल भी खड़े हो रहे हैं.
क्लास में छतरी, वायरल हुआ वीडियो: दरअसल इन दिनों शहडोल जिले के सोशल मीडिया में एक वीडियो जमकर वायरल हो रहा है. जिसमें कुछ छात्र क्लास में बैठे हुए हैं. वे ड्रेस में हैं और छतरी लगाकर पढ़ाई कर रहे हैं. क्लास रूम के बाहर होते तो बात अलग थी, लेकिन क्लास रूम के अंदर छात्र छतरी लगाने को मजबूर हैं, तो सवाल तो खड़े होते ही हैं कि आखिर ऐसी क्या वजह है कि क्लास रूम में छतरी लगाकर बच्चे बैठने को मजबूर हैं. अब यह वीडियो जमकर वायरल हो रहा है, क्योंकि क्लास रूम में इस भारी बारिश के बीच पानी टपक रहा है. जिसकी वजह से बच्चे छतरी लगाकर पढ़ाई कर रहे हैं.
जानिए कहां का है ये वीडियो: दरअसल मध्यप्रदेश में शिक्षा व्यवस्था की पोल खोलती ये तस्वीर शहडोल जिले के गोहपारू ब्लाक अंतर्गत शासकीय माध्यमिक विद्यालय भुरसी का है. जहां क्लास रूम में भी बच्चे छतरी के नीचे पढ़ाई करने को मजबूर हैं, क्योंकि स्कूल की छत जर्जर हो चुकी है और बारिश के दिनों में छत से लगातार पानी टपकता है. इसलिए बच्चे खुद ही घर से छतरी लाते हैं और बरसाती लेकर आते हैं, तब पढ़ाई करते हैं.
जिम्मेदारों ने कही ये बात: इस वीडियो को लेकर जिले के ट्राइबल एसी आनंद राय सिन्हा का कहना है कि "बहुत सारे स्कूल ऐसे हैं, जहां पर भवन लीक कर रहे हैं. मैंने इंजीनियर को भी अपने भेजा है और सीओ गोहपारू को भी कहा है. इसके अलावा प्रिंसिपल को भी वीडियो भेजा है. मैंने 2 दिन पहले ही स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि बच्चों को जर्जर भवन पर न बैठाएं, उनकी सुरक्षा सबसे ज्यादा जरूरी है, जिले में बहुत भारी बरसात हो रही है. आज तो कलेक्टर ने दो दिन की छुट्टी भी कर दी है.
करोड़ों के बन रहे सीएम राइस स्कूल, बने हुए स्कूलों से टपक रहा पानी: गौरतलब है कि एक ओर प्रदेश सरकार प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था को सुधारने के लिए बड़े-बड़े दावे करती है. करोड़ों के बिल्डिंग बनाने की बात कहती है. इसके अलावा करोड़ों खर्च करके सीएम राइज स्कूल खोले जा रहे हैं. लेकिन जो स्कूल पहले से मौजूद हैं, जहां पढ़ाई हो रही है. उन स्कूलों की हालत बहुत ही जर्जर और दयनीय है. यही वजह है कि अब इन स्कूलों से ऐसी तस्वीरें आ रही है कि बच्चों को इस भारी बरसात में छतरी लगाकर पढ़ाई करना पड़ रहा है.