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MP: बागेश्वर सरकार को अब नेता प्रतिपक्ष की खुली चुनौती, बोले- प्रमाणित करें चमत्कारी शक्तियां - डॉ गोविंद सिंह ने धीरेंद्र शास्त्री को चुनौती दी

इन दिनों बागेश्वर सरकार पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री खूब चर्चा में हैं. नागपुर की एक संस्था की चुनौती के बाद अब एमपी नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह ने धीरेंद्र शास्त्री पर बयान देते हुए, उन्हें शक्तियां प्रमाणित करने की चुनौती दी है.

Bageshwar Dham Sarkar
बागेश्वर सरकार
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Published : Jan 20, 2023, 7:28 PM IST

भोपाल। कथावाचक व बागेश्वर सरकार के नाम से मशहूर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री का विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. पंडित धीरेंद्र शास्त्री नागपुर की अंध श्रद्धाउन्मूलन समिति के बाद अब विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद सिंह के निशाने पर भी आ गए हैं. डॉक्टर गोविंद सिंह ने कहा है कि जब बाबा को नागपुर की अंध श्रद्धा उन्मूलन समिति ने शक्तियां प्रमाणित करने की चुनौती दी तो वे वहां से क्यों भाग गए. गोविंद सिंह ने कहा कि यदि बाबा के पास चमत्कारी शक्तियां हैं तो वे उन्हें प्रमाणित करें.

डॉक्टर गोविंद सिंह ने उठाए सवाल: नेता प्रतिपक्ष डॉक्टर गोविंद सिंह से आज जब कथावाचक पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को लेकर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि वे सनातन धर्म में विश्वास करते हैं, लेकिन पाखंड और ढोंग में उनका बिल्कुल भी भरोसा नहीं है. देश में हिंदुओं की बड़ी तादाद है. वे भी पाखंड को ठीक नहीं मानते. यदि बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर को नागपुर की अंध श्रद्धा उन्मूलन समिति ने अपनी शक्तियां प्रमाणित करने की चुनौती दी थी, तो वे आखिर वहां से क्यों भाग गए. उन्हें अपनी शक्तियां प्रमाणित करनी थी. अगर उनमें सच्चाई है तो वे इसका जवाब दें. नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि धीरज कृष्ण शास्त्री ने तांत्रिक जैसी प्रथा को प्रसारित कर रखा है, उन्हें इसे प्रमाणित करना चाहिए.

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नागपुर की संस्था ने दी थी बाबा को चुनौती: दरअसल पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री पिछले दिनों नागपुर की अंध श्रद्धा उन्मूलन समिति की चुनौती के बाद से विवाद में हैं. पूरे विवाद की शुरुआत नागपुर में पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की 5 जनवरी से हुई कथा और उसमें लगाए गए दरबार से हुई. पूर्व में जानकारी दी गई थी कि ये कथा 5 से 13 जनवरी तक होनी है. इसी बीच नागपुर की अंध श्रद्धा उन्मूलन समिति के सह अध्यक्ष श्याम मानव द्वारा इसकी पुलिस में शिकायत की गई. जिसमें उन्होंने आरोप लगाया कि बाबा लोगों में भूत प्रेत को लेकर अंधविश्वास फैला रहे हैं. बाद में बाबा की कथा 13 जनवरी के 2 दिन पहले ही खत्म हो गई. इसको लेकर दावा किया गया कि कार्रवाई के डर से वे 2 दिन पहले ही चले गए. श्याम मानव ने धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को चुनौती दी थी की वह अपना यह चमत्कार साबित करके दिखाएं. यदि उन्होंने ऐसा कर दिया तो समिति उन्हें 30 लाख रुपए का इनाम देगी.

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बाबा ने स्वीकार था चैलेंज कहा था रायपुर आ जाओ: उधर समिति के चैलेंज को बाबा ने स्वीकार कर लिया है. समिति को 20 और 21 जनवरी को रायपुर में होने वाले दरबार में पहुंचने के लिए कहा है. उधर समिति के आरोपों को लेकर बाबा ने एक के बाद एक कई बयान दिए. इसमें बाबा के बिगड़े बोल भी सामने आए. बाबा ने समिति के पदाधिकारियों को तथाकथित रावण के खानदान का बताते हुए कहा कि वे बोले 'बागेश्वर सरकार कथा पंडाल छोड़कर भाग गए जैसे हमने उनके बाप के मोड़ा छुड़ा लिया हो' उन्होंने कहा की बागेश्वर सरकार को गिराने की बहुत साजिश चल रही है. धर्मांतरण के खिलाफ आवाज उठाने के कारण भी ईसाई मिशनरियों के निशाने पर हैं.

भोपाल। कथावाचक व बागेश्वर सरकार के नाम से मशहूर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री का विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. पंडित धीरेंद्र शास्त्री नागपुर की अंध श्रद्धाउन्मूलन समिति के बाद अब विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद सिंह के निशाने पर भी आ गए हैं. डॉक्टर गोविंद सिंह ने कहा है कि जब बाबा को नागपुर की अंध श्रद्धा उन्मूलन समिति ने शक्तियां प्रमाणित करने की चुनौती दी तो वे वहां से क्यों भाग गए. गोविंद सिंह ने कहा कि यदि बाबा के पास चमत्कारी शक्तियां हैं तो वे उन्हें प्रमाणित करें.

डॉक्टर गोविंद सिंह ने उठाए सवाल: नेता प्रतिपक्ष डॉक्टर गोविंद सिंह से आज जब कथावाचक पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को लेकर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि वे सनातन धर्म में विश्वास करते हैं, लेकिन पाखंड और ढोंग में उनका बिल्कुल भी भरोसा नहीं है. देश में हिंदुओं की बड़ी तादाद है. वे भी पाखंड को ठीक नहीं मानते. यदि बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर को नागपुर की अंध श्रद्धा उन्मूलन समिति ने अपनी शक्तियां प्रमाणित करने की चुनौती दी थी, तो वे आखिर वहां से क्यों भाग गए. उन्हें अपनी शक्तियां प्रमाणित करनी थी. अगर उनमें सच्चाई है तो वे इसका जवाब दें. नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि धीरज कृष्ण शास्त्री ने तांत्रिक जैसी प्रथा को प्रसारित कर रखा है, उन्हें इसे प्रमाणित करना चाहिए.

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नागपुर की संस्था ने दी थी बाबा को चुनौती: दरअसल पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री पिछले दिनों नागपुर की अंध श्रद्धा उन्मूलन समिति की चुनौती के बाद से विवाद में हैं. पूरे विवाद की शुरुआत नागपुर में पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की 5 जनवरी से हुई कथा और उसमें लगाए गए दरबार से हुई. पूर्व में जानकारी दी गई थी कि ये कथा 5 से 13 जनवरी तक होनी है. इसी बीच नागपुर की अंध श्रद्धा उन्मूलन समिति के सह अध्यक्ष श्याम मानव द्वारा इसकी पुलिस में शिकायत की गई. जिसमें उन्होंने आरोप लगाया कि बाबा लोगों में भूत प्रेत को लेकर अंधविश्वास फैला रहे हैं. बाद में बाबा की कथा 13 जनवरी के 2 दिन पहले ही खत्म हो गई. इसको लेकर दावा किया गया कि कार्रवाई के डर से वे 2 दिन पहले ही चले गए. श्याम मानव ने धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को चुनौती दी थी की वह अपना यह चमत्कार साबित करके दिखाएं. यदि उन्होंने ऐसा कर दिया तो समिति उन्हें 30 लाख रुपए का इनाम देगी.

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बाबा ने स्वीकार था चैलेंज कहा था रायपुर आ जाओ: उधर समिति के चैलेंज को बाबा ने स्वीकार कर लिया है. समिति को 20 और 21 जनवरी को रायपुर में होने वाले दरबार में पहुंचने के लिए कहा है. उधर समिति के आरोपों को लेकर बाबा ने एक के बाद एक कई बयान दिए. इसमें बाबा के बिगड़े बोल भी सामने आए. बाबा ने समिति के पदाधिकारियों को तथाकथित रावण के खानदान का बताते हुए कहा कि वे बोले 'बागेश्वर सरकार कथा पंडाल छोड़कर भाग गए जैसे हमने उनके बाप के मोड़ा छुड़ा लिया हो' उन्होंने कहा की बागेश्वर सरकार को गिराने की बहुत साजिश चल रही है. धर्मांतरण के खिलाफ आवाज उठाने के कारण भी ईसाई मिशनरियों के निशाने पर हैं.

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