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चाईबासा: वार्षिक साख योजना की उपलब्धि 115% रही, वित्तिय वर्ष के लिए 928 करोड़ रुपए का क्रेडिट प्लान - डीसी ने चाईबासा में बैंक अधिकारियों के साथ बैठक की

पश्चिमी सिंहभूम के चाईबासा समाहरणालय सभाकक्ष में उपायुक्त अरवा राजकमल की अध्यक्षता में जिला स्तरीय बैंकर्स कमेटी (डीएलसीसी) की बैठक आयोजित की गई. इस बैठक में जिले के कई वरीय पदाधिकारी सहित नाबार्ड के प्रतिनिधि, अग्रणी बैंक प्रबंधक, सभी बैंकों के जिला समन्वयक और जिला स्तरीय अन्य वरीय पदाधिकारी उपस्थित रहे.

DC held meeting with banking officials to expand banking services in chaibasa
डीसी ने की बैठक
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Published : Jul 3, 2020, 3:17 AM IST

चाईबासा: समाहरणालय सभाकक्ष में उपायुक्त अरवा राजकमल की अध्यक्षता में जिला स्तरीय बैंकर्स कमेटी (डीएलसीसी) की बैठक आयोजित की गई. बैठक में जिला के उप विकास आयुक्त, नाबार्ड के प्रतिनिधि, अग्रणी बैंक प्रबंधक, सभी बैंकों के जिला समन्वयक और जिला स्तरीय अन्य वरीय पदाधिकारी उपस्थित रहे.

बीते साल कुल 849 करोड़ रुपए का साख वितरित

वित्तीय वर्ष 2019-20 में एनुअल क्रेडिट टारगेट (एसीपी) 740 करोड़ रुपए का था. वित्तीय वर्ष समाप्त होने के अगले क्वॉटर में हुई समीक्षा में एसएलबीसी के डेटाबेस के अनुसार पिछले साल कुल 849 करोड़ रुपये का लोन वितरित किया गया है. जो टारगेट से 15 प्रतिशत अधिक है. इस प्रकार से वार्षिक साख योजना अंतर्गत जिला की उपलब्धि 115 प्रतिशत रही. एलडीएम समेत जिला के सभी बैंककर्मी इसके लिए धन्यवाद के पात्र हैं. जो लक्ष्य प्रायोरिटी और नॉन प्रायरिटी क्षेत्रकों के लिए चिन्हित किए गए हैं. पिछले वित्तीय वर्ष उससे बढ़-चढ़कर लोन का वितरण हुआ है.

928 करोड़ रुपए का बनाया गया प्लान

उपायुक्त अरवा राजकमल ने कहा कि एनुअल क्रेडिट प्लान एस्टीमेट रहता है जो कि पिछले वित्तीय वर्षों की उपलब्धियों को ध्यान में रखते हुए बनाया जाता है. बीते साल यदि प्रदर्शन बेहतर रहा है तो इसका अर्थ यह हुआ कि क्षेत्र में संभावनाएं अधिक है, तो और अधिक क्रेडिट गरीब रैयतों एवं एमएसएमई को दे सकते हैं. इसी को ध्यान में रखते हुए इस साल के लिए जो एनुअल क्रेडिट प्लान है वह 928 करोड़ का बनाया गया है. निश्चित रूप से यह एक एंबिशियस प्लान है.

एसीपी अंतर्गत कृषकों और प्रवासी मजदूरों को किसान क्रेडिट कार्ड

उपायुक्त ने कहा कि अधिक से अधिक किसान और प्रवासी मजदूर जो कि अन्य जगहों से आए हैं, वे भी इससे लाभान्वित हो पाएंगे. अभी तक जो वापस लौटे प्रवासी मजदूर हैं उन्हीं में से 9900 अतिरिक्त किसान क्रेडिट कार्ड का वितरण किया गया है. यह अभियान लगातार जारी रहेगा अधिक से अधिक किसान और मत्स्यकारों को क्रेडिट कार्ड के साथ जोड़ा जाएगा. टर्म लोन पर अधिक ध्यान देकर ज्यादा से ज्यादा कृषि संबंधी उपकरण जैसे टिलर, ट्रैक्टर जैसे वाहन खरीदने में हम कृषकों की मदद करेंगे.

पूरे जिला में सभी बैंकर्स का सीडी रेशियो 43.45 प्रतिशत

पिछले वित्तीय वर्ष में पूरे जिला में सभी बैंकर्स का क्रेडिट टू डिपॉजिट रेशियो (सीडी रेशियो) 43.45 प्रतिशत रहा है. सामान्यतः 40 प्रतिशत प्लस के क्रेडिट टू डिपॉजिट रेशियो को जिला के लिए उचित माना जाता है. जिले का क्रेडिट टू डिपॉजिट रेशियो भी काफी अच्छा है, हमारा लक्ष्य 45 प्रतिशत का था.

ये भी पढ़ें- शहीद सिदो-कान्हू की प्रतिमा को विक्षिप्त महिला ने किया क्षतिग्रस्त, हूल दिवस पर हुआ था अनावरण

सुदूरवर्ती क्षेत्रों में बैंकिंग सेवाओं के विस्तार को गति

उपायुक्त ने कहा कि इस वित्तीय वर्ष में हम उम्मीद करेंगे कि उपस्थित 132 बैंक शाखाओं के माध्यम से बैंकिंग सेवाओं का और अधिक विस्तार किया जाए. विशेषकर सुदूरवर्ती ग्रामीण क्षेत्रों में जैसे कि लोढ़ाई, गुदड़ी जैसे क्षेत्रों में जहाँ 2जी मोबाइल कनेक्टिविटी प्रशासन के द्वारा पहुंचाई गई है, वहां भी बहुत जल्दी बैंकिंग की व्यवस्था को पहुंचाया जाये. सुदूर क्षेत्रों में बैंक खोलने के लिए पूरी तैयारी की गई है. पुलिस अधीक्षक के साथ क्षेत्र में सुरक्षा संबंधी मानकों को भी ध्यान में रखते हुए एक स्ट्रेटजी बनाई गई है. इस संबंध में अग्रसर कार्रवाई शीघ्र की जाएगी. इसके लिए बैंकर्स को मौका भी दिया गया है कि जो भी बैंक सर्वप्रथम जाकर गुदड़ी में बैंक खोलते हैं तो उनको जाकर बैंक खोलते हैं तो ज्यादा से ज्यादा सरकारी खाते खोलते हुए अन्य योजनाओं की राशि भी ट्रांसफर की जाएगी ताकि वह बैंक सहूलियत के साथ गुदड़ी क्षेत्र के लोगों को सेवा दे पाए.

चाईबासा: समाहरणालय सभाकक्ष में उपायुक्त अरवा राजकमल की अध्यक्षता में जिला स्तरीय बैंकर्स कमेटी (डीएलसीसी) की बैठक आयोजित की गई. बैठक में जिला के उप विकास आयुक्त, नाबार्ड के प्रतिनिधि, अग्रणी बैंक प्रबंधक, सभी बैंकों के जिला समन्वयक और जिला स्तरीय अन्य वरीय पदाधिकारी उपस्थित रहे.

बीते साल कुल 849 करोड़ रुपए का साख वितरित

वित्तीय वर्ष 2019-20 में एनुअल क्रेडिट टारगेट (एसीपी) 740 करोड़ रुपए का था. वित्तीय वर्ष समाप्त होने के अगले क्वॉटर में हुई समीक्षा में एसएलबीसी के डेटाबेस के अनुसार पिछले साल कुल 849 करोड़ रुपये का लोन वितरित किया गया है. जो टारगेट से 15 प्रतिशत अधिक है. इस प्रकार से वार्षिक साख योजना अंतर्गत जिला की उपलब्धि 115 प्रतिशत रही. एलडीएम समेत जिला के सभी बैंककर्मी इसके लिए धन्यवाद के पात्र हैं. जो लक्ष्य प्रायोरिटी और नॉन प्रायरिटी क्षेत्रकों के लिए चिन्हित किए गए हैं. पिछले वित्तीय वर्ष उससे बढ़-चढ़कर लोन का वितरण हुआ है.

928 करोड़ रुपए का बनाया गया प्लान

उपायुक्त अरवा राजकमल ने कहा कि एनुअल क्रेडिट प्लान एस्टीमेट रहता है जो कि पिछले वित्तीय वर्षों की उपलब्धियों को ध्यान में रखते हुए बनाया जाता है. बीते साल यदि प्रदर्शन बेहतर रहा है तो इसका अर्थ यह हुआ कि क्षेत्र में संभावनाएं अधिक है, तो और अधिक क्रेडिट गरीब रैयतों एवं एमएसएमई को दे सकते हैं. इसी को ध्यान में रखते हुए इस साल के लिए जो एनुअल क्रेडिट प्लान है वह 928 करोड़ का बनाया गया है. निश्चित रूप से यह एक एंबिशियस प्लान है.

एसीपी अंतर्गत कृषकों और प्रवासी मजदूरों को किसान क्रेडिट कार्ड

उपायुक्त ने कहा कि अधिक से अधिक किसान और प्रवासी मजदूर जो कि अन्य जगहों से आए हैं, वे भी इससे लाभान्वित हो पाएंगे. अभी तक जो वापस लौटे प्रवासी मजदूर हैं उन्हीं में से 9900 अतिरिक्त किसान क्रेडिट कार्ड का वितरण किया गया है. यह अभियान लगातार जारी रहेगा अधिक से अधिक किसान और मत्स्यकारों को क्रेडिट कार्ड के साथ जोड़ा जाएगा. टर्म लोन पर अधिक ध्यान देकर ज्यादा से ज्यादा कृषि संबंधी उपकरण जैसे टिलर, ट्रैक्टर जैसे वाहन खरीदने में हम कृषकों की मदद करेंगे.

पूरे जिला में सभी बैंकर्स का सीडी रेशियो 43.45 प्रतिशत

पिछले वित्तीय वर्ष में पूरे जिला में सभी बैंकर्स का क्रेडिट टू डिपॉजिट रेशियो (सीडी रेशियो) 43.45 प्रतिशत रहा है. सामान्यतः 40 प्रतिशत प्लस के क्रेडिट टू डिपॉजिट रेशियो को जिला के लिए उचित माना जाता है. जिले का क्रेडिट टू डिपॉजिट रेशियो भी काफी अच्छा है, हमारा लक्ष्य 45 प्रतिशत का था.

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सुदूरवर्ती क्षेत्रों में बैंकिंग सेवाओं के विस्तार को गति

उपायुक्त ने कहा कि इस वित्तीय वर्ष में हम उम्मीद करेंगे कि उपस्थित 132 बैंक शाखाओं के माध्यम से बैंकिंग सेवाओं का और अधिक विस्तार किया जाए. विशेषकर सुदूरवर्ती ग्रामीण क्षेत्रों में जैसे कि लोढ़ाई, गुदड़ी जैसे क्षेत्रों में जहाँ 2जी मोबाइल कनेक्टिविटी प्रशासन के द्वारा पहुंचाई गई है, वहां भी बहुत जल्दी बैंकिंग की व्यवस्था को पहुंचाया जाये. सुदूर क्षेत्रों में बैंक खोलने के लिए पूरी तैयारी की गई है. पुलिस अधीक्षक के साथ क्षेत्र में सुरक्षा संबंधी मानकों को भी ध्यान में रखते हुए एक स्ट्रेटजी बनाई गई है. इस संबंध में अग्रसर कार्रवाई शीघ्र की जाएगी. इसके लिए बैंकर्स को मौका भी दिया गया है कि जो भी बैंक सर्वप्रथम जाकर गुदड़ी में बैंक खोलते हैं तो उनको जाकर बैंक खोलते हैं तो ज्यादा से ज्यादा सरकारी खाते खोलते हुए अन्य योजनाओं की राशि भी ट्रांसफर की जाएगी ताकि वह बैंक सहूलियत के साथ गुदड़ी क्षेत्र के लोगों को सेवा दे पाए.

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