सरायकेला: पुलिस के लिए चुनौती बना 10 लाख का इनामी नक्सली महाराजा प्रमाणिक का सरायकेला जिला के ईचागढ़ थाना में सरेंडर करने की सूचना है. हालांकि इसकी कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं हो पाई है.
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इस मामले में सरायकेला एसपी से बात करने पर उन्होंने इनकार करते हुए कहा कि हमें इसकी कोई जानकारी नहीं है. कुछ दिन पहले ही महाराजा प्रमाणिक कई जिला की पुलिस के अलावा खुफिया एजेंसी के संपर्क में था. कोल्हान क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले सरायकेला-खरसावां, घाटशिला और चाईबासा के क्षेत्रों में नक्सली महाराजा प्रमाणिक पुलिस के लिए एक बड़ी चुनौती बना हुआ था.
मूल रूप से महाराजा प्रमाणिक सरायकेला जिला के ईचागढ़ थाना क्षेत्र के दारूदा गांव का रहने वाला है. पुलिस महाराजा प्रमाणिक और उसके दस्ते को मार गिराने के लिए जंगलों में लगातार अभियान चला रही है. लेकिन हर बार हुए मुठभेड़ में महाराजा प्रमाणिक बचकर निकलने में सफल हो जाता था.
संगठन ने महाराज प्रमाणिक और बैलुन सरदार को किया था निष्कासित
भाकपा माओवादी ने कुछ दिन पहले कुख्यात नक्सली महाराज प्रमाणिक और बैलुन सरदार को पार्टी से निष्कासित कर दिया है. दक्षिणी जोनल कमिटी के प्रवक्ता अशोक ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर यह जानकारी दी थी.
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प्रेस विज्ञप्ति कहा गया था कि महाराज प्रमाणिक और बैलुन सरदार पुलिस के बड़े अधिकारियों से मिलकर षडयंत्र रच रहा है. दोनों संगठन करोड़पति बनने के लालच में संगठन का 40 लाख रुपया, एक एके-47, 150 गोलियां, 1.9 MM की एक पिस्टल, मोबाइल, टेबलेट और वॉकी-टॉकी लेकर भाग गया है. इसके अलावा प्रेस विज्ञप्ति में यह भी बताया गया कि संगठन को इसकी जानकारी तब हुई, जब महाराज प्रमाणिक बार-बार इलाज के बहाने कई बार बाहर गया और पुलिस से मिला.
इनामी नक्सली महाराजा प्रमाणिक ने कई बड़े घटनाओं को अंजाम दिया है. 25 मार्च 2019 को राजधानी रांची के बरियातू थाना क्षेत्र में कई जगहों पर माओवादियों के नाम से पोस्टर चिपकाए गए थे. वहीं 12 अप्रैल 2019 को पश्चिमी सिंहभूम के गोइलकेरा थाना क्षेत्र के कुइडा गांव में आईईडी विस्फोट कर वन विभाग के तीन भवनों को ध्वस्त कर दिया था. इसके अलावा भी उसने अपने साथियों के साथ मिलकर दूसरी कई घटनाओं को अंजाम दिया है.