साहिबगंज: बुधवार को साहिबगंज में बारिश किसानों पर आफत बनकर बरसी. लगातार तीसरे दिन तेज झोंकों संग हुई बारिश ने जिले के किसानों पर कहर बरपा दिया. पकने के लिए तैयार धान की फसल हवा के थपेड़ों को सह न सकी और धराशायी हो गई. इसी के साथ अच्छी पैदावार की उम्मीदें भी 'हवा' हो गईं. आफत बनकर बरसी बारिश से किसान मायूस हो गए हैं. उन्हें भारी नुकसान की आशंका है. बहरहाल, जिला प्रशासन ने किसानों के नुकसान का सर्वे कराने का वादा किया है.
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बता दें कि तीन दिन से साहिबगंज में बारिश हो रही है. बुधवार को झमाझम बारिश के साथ हवा के तेज झोंके भी चले. खेतों में पहले से ही मिट्टी गीली थी, पानी भी भरा था. इधर धान की फसल भी काफी बड़ी हो चुकी थी, जिससे इनका वजन भी बढ़ चुका था. ऐसे में फसल बारिश और आंधी से खुद को नहीं बचा सकी. साहिबगंज के तालझारी प्रखंड के धान के खेत में पकने के लिए तैयार धान की फसल गिर गई.
नुकसान के सर्वे का आदेश
इससे पहले खेतों में अच्छी फसल लहलहा रही थी. किसानों को अच्छी पैदावार की उम्मीद थी. लेकिन जब फसल गिर गई है तो उत्पादन प्रभावित होने की आशंका है. इससे स्थानीय किसान मायूस हैं. हालांकि किसानों को नुकसान की जानकारी पर उपायुक्त रामनिवास यादव ने किसानों की मदद का आश्वासन दिया है. उपायुक्त ने कहा कि लगातार तीन दिनों से हो रही बारिश से प्रखंड के कई क्षेत्रों में फसलों को काफी नुकसान हुआ है. जिला कृषि पदाधिकारी को सर्वे कराने का आदेश दिया गया है. सर्वे की रिपोर्ट आने के बाद इसे प्रदेश सरकार के पास भेजा जाएगा. कहां और कितना नुकसान हुआ है, उसका आकलन किया जा रहा है. अंतिम रिपोर्ट आने के बाद इसे आपदा विभाग रांची भेजी जाएगी ताकि किसानों को क्षतिपूर्ति दिलाई जा सके.
बंगाल की खाड़ी से आई आफत
बंगाल की खाड़ी में निम्न दबाव का क्षेत्र बनने से झारखंड के मौसम में बदलाव हुआ है. यहां सोमवार से अभी तक बारिश हो रही है. इसकी वजह से जनजीवन प्रभावित हो गया है. इस बारिश से जहां धान के किसानों को नुकसान हुआ है तो शहरों में लोगों को गर्मी से राहत मिली है. पहाड़ का पानी नीचे लोगों के घरों में आ रहा है. आमलोग और दुकानदार परेशान हैं.
अभी और रूलाएगी बारिश
इधर मौसम विभाग ने आज भी झारखंड में बारिश की संभावना जताई है. अगर आज भी बारिश हुई तो किसानों की मुश्किल और बढ़ जाएगी. फसलों के नुकसान से अच्छी पैदावार की उनकी उम्मीदों को और झटका लगेगा. इससे किसान सहमे हुए हैं.