साहिबगंज: साहिबगंज मनिहारी के बीच चलने वाली मालवाहक जहाज 24 मार्च को दुर्घटनाग्रस्त होकर बीच गंगा नदी में पलट गई. इस दुर्घटना के छठे दिन यानी बुधवार को दो ट्रकों को एनडीआरएफ की टीम ने गंगा नदी से निकाला है. अब तक एनडीआरएफ की टीम ने 4 ट्रक और दो शव गंगा नदी से निकल चुकी है. हालांकि, एनडीआरएफ का रेस्क्यू ऑपरेशन अब भी जारी है.
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रेस्क्यू ऑपरेशन में शामिल एनडीआरएफ अधिकारी ने बताया कि जल्द से जल्द सभी शव गंगा से निकल लिए जाएंगे. साहिबगंज जिला प्रशासन के अनुसार गंगा में 5 ट्रक डूबे हैं, जिसमें चार ट्रक निकले जा चुके हैं. एक ट्रक को खोजा जा रहा है. बता दें कि मनिहारी घाट में परिजनों और ग्रामीणों की भीड़ लगी रहती है. रोते बिलखते परिजन अपनों की तलाश में लगे हैं. लेकिन शव के मामले में एनडीआरएफ के हाथ खाली हैं.
जहाज पर लोड स्टोन लदे ट्रक को झारखंड से बिहार ले जाया जा रहा था. इसी दौरान जहाज का बैलेंस बिगड़ गया. जिससे एक ट्रक का टायर फट गया. इसके कारण इस ट्रक के साथ 5 अन्य ट्रक भी नदी में गिर गए. इस हादसे की जानकारी जैसे ही मिली तो राहत और बचाव कार्य शुरू कर दिया है. राज्य सरकार के निर्देश पर मामले की जांच के लिए अपर समाहर्ता के नेतृत्व में 4 सदस्यीय टीम का गठन किया गया है.
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झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को बुधवार को पत्र लिखा है. इस पत्र में उन्होंने नीतीश कुमार से साहिबगंज जहाज हादसे की सीबीआई जांच कराने की मांग की है और हादसे के पीछे किसी गड़बड़ी का अंदेशा जताया है. बता दें कि दोनों राज्य सरकार मिलकर झारखंड के साहिबगंज और बिहार के मनिहारी के बीच फेरी जहाज का संचालन करती हैं. जिसके लिए रोटेशन सिस्टम से बंदोबस्ती होती है. इस बार वर्ष 2022-23 और 2023-24 के लिए मनिहारी-साहिबगंज अंतरराज्यीय फेरी घाट की बंदोबस्ती प्रक्रिया को बिहार के कटिहार जिला प्रशासन ने पूरी की है. इसके लिए इसी मार्च महीने में कन्हाई यादव ने 8.52 करोड़ रुपये की बोली लगाई थी, जो अंतिम बोली साबित हुई थी. इसीलिए झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से जांच कराने की मांग को लेकर पत्र लिखा.