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साहिबगंज में बाढ़ से बचाव पर मंथन, डीसी ने पदाधिकारियों को अलर्ट रहने के दिए निर्देश - Coordination committee meeting in Sahibganj

साहिबगंज में गंगा का जलस्तर बढ़ा हुआ है. इस जल्द ही खतरे के निशान के पार होने की आशंका है. इससे साहिबगंज समाहरणालय सभागार में समन्वय समिति की बैठक हुई

Coordination committee meeting in Sahibganj regarding flood in diyara area
साहिबगंज में बाढ़ से बचाव पर मंथन
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Published : Aug 12, 2021, 10:00 AM IST

Updated : Aug 12, 2021, 10:16 AM IST

साहिबगंजः जिले में गंगा का जलस्तर बढ़ा हुआ है. गंगा नदी का जलस्तर खतरे के निशान के करीब है. इसको लेकर साहिबगंज समाहरणालय सभागार में समन्वय समिति की बैठक हुई. इस बैठक में उपायुक्त ने सभी बीडीओ, अंचलाधिकारी और अन्य पदाधिकारियों की मौजूदगी में बाढ़ से बचाव पर मंथन किया. बैठक में डीसी ने सभी पदाधिकारियों को अलर्ट रहने के भी निर्देश दिए.

ये भी पढ़ें-साहिबगंज के दियारा क्षेत्र में बाढ़ जैसे हालातः घरों में घुसा पानी, मचान पर मवेशी सहित रहने को मजबूर

साहिबगंज सदर, राजमहल में हर साल आ रही बाढ़

समन्वय समिति की बैठक में डीसी ने बताया कि जिले के चार प्रखंड बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में आते हैं. साहिबगंज सदर, राजमहल, तालझारी और उधवा प्रखंड के दर्जनों गांवों में हर साल बाढ़ आती है, जिसमें हजारों लोग प्रभावित होते हैं. इससे जानमाल की काफी क्षति होती है. इस प्राकृतिक आपदा से निपटने के लिए जिला प्रशासन शत प्रतिशत प्रयास भी करते है. इस कड़ी में इस साल भी अलर्ट रहें और लोगों को किसी भी तरह के नुकसान से बचाने के लिए हर संभव प्रयास करें.

देखें पूरी खबर

गंगा के खतरे के निशान से आगे पहुंचने की आशंका

उपायुक्त ने सभी पदाधिकारी को हर समय अलर्ट मोड में रहने का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि 12 अगस्त को केंद्रीय जल आयोग के पूर्वानुमान के अनुसार गंगा का जलस्तर 28.25 मीटर तक पहुंचने का अनुमान है यानी पानी खतरे के निशान से सीधा एक मीटर से अधिक बढ़ जाएगा. इसको लेकर अलर्ट रहें, ताकि किसी भी सूरत में बाढ़ पीड़ितों को परेशानी न हो. सरकारी स्तर पर अभी 4 नाव का इंतजाम है. इससे दियारा क्षेत्र में लोगों को लाने और राहत सामग्री पहुंचाने का काम होगा. यदि जरूरत पड़ी तो अतिरिक्त नाव सीज की जाएगी.

आपदा से निपटने की तैयारी पूरी

वहीं बैठक में अपर समाहर्ता ने बताया कि इस आपदा से निपटने के लिए सभी तैयारी पूरी कर ली गई है. खाने पीने की चीजों, मवेशी के चारा आदि के लिए टेंडर की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है. सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी और अंचल अधिकारी को निर्देश दिया गया है कि किसी भी सूरत में बाढ़ पीड़ितों को परेशान न हो. किसी की भी जान जिला प्रशासन की कमी की वजह से नहीं जानी चाहिए. जिला प्रशासन पूरी तरह आपदा से निबटने के लिए तैयार है. आपदा विभाग से 3 करोड़ की राशि की मांग की गई है.

साहिबगंजः जिले में गंगा का जलस्तर बढ़ा हुआ है. गंगा नदी का जलस्तर खतरे के निशान के करीब है. इसको लेकर साहिबगंज समाहरणालय सभागार में समन्वय समिति की बैठक हुई. इस बैठक में उपायुक्त ने सभी बीडीओ, अंचलाधिकारी और अन्य पदाधिकारियों की मौजूदगी में बाढ़ से बचाव पर मंथन किया. बैठक में डीसी ने सभी पदाधिकारियों को अलर्ट रहने के भी निर्देश दिए.

ये भी पढ़ें-साहिबगंज के दियारा क्षेत्र में बाढ़ जैसे हालातः घरों में घुसा पानी, मचान पर मवेशी सहित रहने को मजबूर

साहिबगंज सदर, राजमहल में हर साल आ रही बाढ़

समन्वय समिति की बैठक में डीसी ने बताया कि जिले के चार प्रखंड बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में आते हैं. साहिबगंज सदर, राजमहल, तालझारी और उधवा प्रखंड के दर्जनों गांवों में हर साल बाढ़ आती है, जिसमें हजारों लोग प्रभावित होते हैं. इससे जानमाल की काफी क्षति होती है. इस प्राकृतिक आपदा से निपटने के लिए जिला प्रशासन शत प्रतिशत प्रयास भी करते है. इस कड़ी में इस साल भी अलर्ट रहें और लोगों को किसी भी तरह के नुकसान से बचाने के लिए हर संभव प्रयास करें.

देखें पूरी खबर

गंगा के खतरे के निशान से आगे पहुंचने की आशंका

उपायुक्त ने सभी पदाधिकारी को हर समय अलर्ट मोड में रहने का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि 12 अगस्त को केंद्रीय जल आयोग के पूर्वानुमान के अनुसार गंगा का जलस्तर 28.25 मीटर तक पहुंचने का अनुमान है यानी पानी खतरे के निशान से सीधा एक मीटर से अधिक बढ़ जाएगा. इसको लेकर अलर्ट रहें, ताकि किसी भी सूरत में बाढ़ पीड़ितों को परेशानी न हो. सरकारी स्तर पर अभी 4 नाव का इंतजाम है. इससे दियारा क्षेत्र में लोगों को लाने और राहत सामग्री पहुंचाने का काम होगा. यदि जरूरत पड़ी तो अतिरिक्त नाव सीज की जाएगी.

आपदा से निपटने की तैयारी पूरी

वहीं बैठक में अपर समाहर्ता ने बताया कि इस आपदा से निपटने के लिए सभी तैयारी पूरी कर ली गई है. खाने पीने की चीजों, मवेशी के चारा आदि के लिए टेंडर की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है. सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी और अंचल अधिकारी को निर्देश दिया गया है कि किसी भी सूरत में बाढ़ पीड़ितों को परेशान न हो. किसी की भी जान जिला प्रशासन की कमी की वजह से नहीं जानी चाहिए. जिला प्रशासन पूरी तरह आपदा से निबटने के लिए तैयार है. आपदा विभाग से 3 करोड़ की राशि की मांग की गई है.

Last Updated : Aug 12, 2021, 10:16 AM IST
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