रांची: झारखंड के टेट पास पारा शिक्षक वेतनमान की मांग को लेकर अपने पूर्व घोषित कार्यक्रम के तहत राष्ट्रीय जनता दल के प्रदेश कार्यालय का घेराव कर रहे हैं. 61 दिनों से राजभवन के समक्ष धरना प्रदर्शन कर रहे पारा शिक्षक राष्ट्रीय जनता दल के प्रदेश कार्यालय का घेराव करने से पहले मंत्री मिथिलेश ठाकुर, वित्त मंत्री रामेश्वर उरांव के आवास और कांग्रेस प्रदेश कार्यालय का घेराव कर चुके हैं.
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टेट पास पारा शिक्षकों की वेतनमान की मांग को सही और सत्ताधारी तीनों दलों के घोषणापत्र में होने की बात स्वीकारते हुए राष्ट्रीय जनता दल के प्रदेश उपाध्यक्ष अनिता यादव न सिर्फ खुद शिक्षकों के साथ धरना पर बैठ गई, बल्कि सरकार से पारा शिक्षकों के मांग पूरा करने की अपील भी की.
01 नवंबर से फिर आंदोलन का तीसरा चरण शुरू करने की तैयारी: आंदोलित टेट पास पारा शिक्षकों ने कहा कि हेमंत सोरेन की सरकार ने उनसे वेतनमान का वादा किया था, लेकिन सत्ता में आने के बाद वेतनमान पर सरकार ने चुप्पी साध ली है. आंदोलित टेट पास पारा शिक्षकों ने कहा कि पहले हम लोगों ने रघुवर दास की सरकार को सत्ता से बेदखल किया था. अब अगर मांग पूरी नहीं हुई तो 2024 में महागठबंधन की सरकार भी सत्ता से बाहर होगी. टेट पास पारा शिक्षकों का आरोप है कि सरकार उनके साथ वादाखिलाफी कर रही है.
मांगें पूरी नहीं हुई तो राज्य स्थापना दिवस पर बड़े आंदोलन की तैयारी: आंदोलित टेट पास पारा शिक्षक (सहायक अध्यापकों) ने कहा कि मांगें पूरी नहीं होने पर 01 नवंबर से 15 नवंबर तक अलग-अलग तरह के कार्यक्रम होंगे. वहीं, आत्मदाह से लेकर राज्य स्थापना दिवस 15 नवंबर को राजकीय कार्यक्रम के दौरान रांची में बड़ा प्रदर्शन करने की योजना है.
क्या है टेट पास पारा शिक्षकों की मांग: राज्य में टेट पास 14 हजार 42 पारा शिक्षकों का आरोप है कि सरकार ने पारा शिक्षकों को सहायक अध्यापक का दर्जा तो दिया पर वेतनमान नहीं दिया. जबकि टेट पास ये पारा शिक्षक, सहायक शिक्षक बनने के सभी अर्हता पूरी करते हैं.