रांची: कोरोना के नये वैरिएंट को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग की ओर से गाइडलाइन जारी की गयी है. केंद्र सरकार द्वारा जारी अधिसूचना के बाद झारखंड सरकार ने भी सभी स्वास्थ्य संस्थानों और जिले के सभी अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश जारी कर दिये हैं. जारी गाइडलाइन को लेकर रांची जिले में भी सारी तैयारी कर ली गयी है. रांची सिविल सर्जन डॉ. प्रभात कुमार ने बताया कि कोरोना के नये वेरिएंट को देखते हुए रांची जिले में भी सभी तैयारियां पूरी हैं.
नया वेरिएंट ज्यादा खतरनाक नहीं: सिविल सर्जन ने कहा कि कोरोना का जो नया वैरिएंट आया है वह दूसरे वैरिएंट से ज्यादा खतरनाक नहीं है. लेकिन इसके बावजूद उनकी ओर से पूरी तैयारी कर ली गई है. क्योंकि वायरस के म्यूटेशन की कोई गारंटी नहीं है, ये कभी भी किसी भी रूप में बदल सकता है. साथ ही उन्होंने कहा कि भारत सरकार से प्राप्त दिशा-निर्देशों के बाद राज्य के स्वास्थ्य अधिकारी और स्वास्थ्य मंत्रालय से जुड़े अधिकारी भी लगातार निगरानी कर रहे हैं.
डॉ. प्रभात कुमार ने बताया कि जब कोरोना की पहली और दूसरी लहर आई तो ऑक्सीजन की कमी जरूर हुई, लेकिन अब हमारे पास ऑक्सीजन के लिए पहले से ही पर्याप्त संसाधन मौजूद हैं. उन्होंने कहा कि प्रत्येक जिले में ऑक्सीजन सिलेंडर पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध हैं. ऑक्सीजन कंसंट्रेटर और पीएसए प्लांट भी पूरी तरह तैयार हैं. देश में जेएन 1 वैरिएंट के मरीजों की बढ़ती संख्या को देखते हुए रांची के विभिन्न ब्लॉकों और ग्रामीण इलाकों में पहले से ही बेड आरक्षित कर दिए गए हैं. दवा और मास्क को लेकर भी स्वास्थ्य कर्मियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिये गये हैं. उन्होंने कहा कि विभिन्न अस्पतालों में अतिरिक्त बिस्तरों की व्यवस्था भी की गई है. रांची जिले के रिम्स और सदर अस्पताल के अलावा सभी ब्लॉकों और ग्रामीण इलाकों में भी कोरोना के लिए बेड आरक्षित कर दिये गये हैं.
रांची में कोरोना का कोई केस नहीं: सिविल सर्जन डॉ. प्रभात कुमार ने बताया कि अब तक मिली जानकारी के अनुसार, जमशेदपुर में कोरोना के कुछ मामले मिले हैं, लेकिन रांची में अब तक एक भी मामला नहीं मिला है. लेकिन स्वास्थ्य विभाग की ओर से जल्द ही जांच की प्रक्रिया शुरू की जायेगी. जांच के लिए रांची एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन और बस स्टैंड पर स्वास्थ्य कर्मियों को तैनात किया जाएगा. विदेश से आने वाले लोगों की विशेष रूप से पहचान कर उनकी कोविड जांच की जाएगी और उनके सैंपल को जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए रिम्स जांच केंद्र भेजा जाएगा.
सोशल डिस्टेंस बनाए रखने की जरूरत: सिविल सर्जन ने कहा कि रांची के विभिन्न इलाकों में लगने वाले बाजारों में सोशल डिस्टेंस बनाए रखने की जरूरत है. इसलिए स्वास्थ्य विभाग ने भी लोगों से अपील की है कि वे बेवजह भीड़-भाड़ वाले इलाकों में न जाएं. सिविल सर्जन डॉ. प्रभात कुमार ने कहा कि जरूरत पड़ने पर स्वास्थ्य कर्मियों के साथ मॉक ड्रिल भी आयोजित किया जाएगा ताकि विपरीत परिस्थितियों के बाद कर्मचारी चिंतित न हों और कोरोना के दौरान काम करने का अभ्यास बना रहे.
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