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रांचीः नाले में बहे उमेश के परिजनों का टूट रहा सब्र का बांध, पांचवे दिन भी नहीं मिला शव

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Published : Sep 11, 2020, 10:21 PM IST

रांची में तेज बारिश के कारण उफनती नाले में बहे उमेश राणा का शव नहीं मिलने से परिजनों का सब्र का बांध अब टूट रहा है. शुक्रवार को रांची के सिटी एसपी सौरभ, एसडीओ समीरा एस, बड़गाईं सीओ सहित अन्य पदाधिकारी उमेश राणा की लाश ढूंढने के लिए हुंदरू गढ़ा के आसपास वाले इलाके में पहुंचे और अपनी मौजूदगी में शव को खोजा पर सफलता हाथ नहीं लगी.

dead body of umesh not found fifth day in ranchi ,नाले में बहे उमेश के परिजनों का टूट रहा सब्र का बांध
शव की तलाश करती एनडीआरएफ

रांचीः शहर में तेज बारिश के बाद उफनती नाले में बहे उमेश राणा का शव नहीं मिलने से परिजनों का सब्र का बांध अब टूट रहा है. परिजन परेशान हो रहे हैं और प्रशासन पर उनका आक्रोश झलक रहा है. हालांकि लाश मिलने की उम्मीद लगाए अब तक परिजन शांत बैठे हैं. इधर पांचवें दिन शुक्रवार को रांची के सिटी एसपी सौरभ, एसडीओ समीरा एस, बड़गाईं सीओ सहित अन्य पदाधिकारी उमेश राणा की लाश ढूंढने के लिए हुंदरू गढ़ा के आसपास वाले इलाके में पहुंचे और अपनी मौजूदगी में शव को खोजा पर नतीजा सिफर रहा.

दिन भर खोज जारी, नहीं मिली सफलता

पांचवें दिन यानी शुक्रवार को रांची पुलिस-प्रशासन की मौजूदगी में एनडीआरएफ की टीम ने हुंदरू गढ़ा के आसपास हर कोने में छान मारा. पानी के सतह और गहराई में भी तलाश की गई, लेकिन उमेश की लाश बरामद नहीं की जा सकी. देर शाम होने की वजह से एनडीआरएफ की टीम और प्रशासन मौके से लौट गई.

प्रशासन की लापरवाही पर गांव से पहुंचे थे 40 लोग

उमेश की लाश ढूंढने में प्रशासन की लापरवाही देख उमेश के गांव से 40 लोग बीते गुरुवार रांची पहुंच गए थे. हजारीबाग के इचाक गांव से रांची आए परिजन और मोहल्ले वासियों ने गुरुवार की सुबह नाले में घुसकर कोने-कोने को छान मारा था, लेकिन खोरहा टोली स्थित डूबने वाले स्थल से लेकर स्वर्णरेखा नदी में मिलने वाली जगह तक लाश नहीं मिली. इधर, शुक्रवार को भी गांव के लोगों ने हुंदरू गढ़ा के आसपास शो ढूंढने में जुटे रहे लेकिन कोई सफलता हासिल नहीं हुई.

हुंदरू गड़ा में लाश मिलने की सूचना पर जगी थी उम्मीद

हुंदरू गड़ा में एक लाश होने की सूचना पर पुलिस प्रशासन और उमेश के परिजनों में एक उम्मीद जगी थी. सूचना के बाद गुरुवार की शाम से ही तलाशी में सभी जुट गए थे, लेकिन कोई सफलता नहीं मिली. इधर, दूसरे दिन शुक्रवार को भी पूरे इलाके में छान मारा गया लेकिन कहीं से लाश बरामद नहीं की जा सकी. शव ढूंढने में जुटे प्रशासन और हजारीबाग से शव ढूंढने आए गांव के लोग भी परेशान होने लगे हैं.

और पढ़ें- चुनाव लड़ने के चक्कर में कर्जदार SBI ब्रांच मैनेजर ने शुरू कर दी रुपयों की हेराफेरी, चढ़ा पुलिस के हत्थे

सात सितंबर को बाइक के साथ बह गया था उमेश

बीते सात सितंबर को हुई भारी बारिश के बाद पानी के तेज बहाव में बाइक सहित उमेश बह गया था. युवक को बहता देख पास में मौजूद एक अन्य व्यक्ति उसे बचाने पहुंचा था, लेकिन पानी का बहाव इतनी तेज थी कि वह भी बहने लगा. इसी दौरान आसपास के घरों में मौजूद लोगों ने रस्सी फेंक कर बचाने पहुंचे व्यक्ति को बाहर निकाला. हालांकि बाइक सवार उमेश को नहीं बचाया जा सका और वह बाइक सहित पानी के तेज बहाव में पुल के नीचे बहता चला गया. घटना के दूसरे दिन मंगलवार को उमेश की बाइक बरामद की गई थी. घटना के बाद से लेकर अब तक निगम के लगातार लापरवाही सामने आई है. निगम ने लाश ढूंढने में तत्परता नहीं दिखाई, इसी वजह से लाश का अबतक अता-पता नहीं चल पाया है. घटना के दूसरे दिन पहुंची एनडीआरएफ की टीम ने भी नाले में तलाश करने से इंकार कर दिया था. टीम ने कहा था कि नाले में लाश ढूंढने का काम नगर निगम का है.

रांचीः शहर में तेज बारिश के बाद उफनती नाले में बहे उमेश राणा का शव नहीं मिलने से परिजनों का सब्र का बांध अब टूट रहा है. परिजन परेशान हो रहे हैं और प्रशासन पर उनका आक्रोश झलक रहा है. हालांकि लाश मिलने की उम्मीद लगाए अब तक परिजन शांत बैठे हैं. इधर पांचवें दिन शुक्रवार को रांची के सिटी एसपी सौरभ, एसडीओ समीरा एस, बड़गाईं सीओ सहित अन्य पदाधिकारी उमेश राणा की लाश ढूंढने के लिए हुंदरू गढ़ा के आसपास वाले इलाके में पहुंचे और अपनी मौजूदगी में शव को खोजा पर नतीजा सिफर रहा.

दिन भर खोज जारी, नहीं मिली सफलता

पांचवें दिन यानी शुक्रवार को रांची पुलिस-प्रशासन की मौजूदगी में एनडीआरएफ की टीम ने हुंदरू गढ़ा के आसपास हर कोने में छान मारा. पानी के सतह और गहराई में भी तलाश की गई, लेकिन उमेश की लाश बरामद नहीं की जा सकी. देर शाम होने की वजह से एनडीआरएफ की टीम और प्रशासन मौके से लौट गई.

प्रशासन की लापरवाही पर गांव से पहुंचे थे 40 लोग

उमेश की लाश ढूंढने में प्रशासन की लापरवाही देख उमेश के गांव से 40 लोग बीते गुरुवार रांची पहुंच गए थे. हजारीबाग के इचाक गांव से रांची आए परिजन और मोहल्ले वासियों ने गुरुवार की सुबह नाले में घुसकर कोने-कोने को छान मारा था, लेकिन खोरहा टोली स्थित डूबने वाले स्थल से लेकर स्वर्णरेखा नदी में मिलने वाली जगह तक लाश नहीं मिली. इधर, शुक्रवार को भी गांव के लोगों ने हुंदरू गढ़ा के आसपास शो ढूंढने में जुटे रहे लेकिन कोई सफलता हासिल नहीं हुई.

हुंदरू गड़ा में लाश मिलने की सूचना पर जगी थी उम्मीद

हुंदरू गड़ा में एक लाश होने की सूचना पर पुलिस प्रशासन और उमेश के परिजनों में एक उम्मीद जगी थी. सूचना के बाद गुरुवार की शाम से ही तलाशी में सभी जुट गए थे, लेकिन कोई सफलता नहीं मिली. इधर, दूसरे दिन शुक्रवार को भी पूरे इलाके में छान मारा गया लेकिन कहीं से लाश बरामद नहीं की जा सकी. शव ढूंढने में जुटे प्रशासन और हजारीबाग से शव ढूंढने आए गांव के लोग भी परेशान होने लगे हैं.

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सात सितंबर को बाइक के साथ बह गया था उमेश

बीते सात सितंबर को हुई भारी बारिश के बाद पानी के तेज बहाव में बाइक सहित उमेश बह गया था. युवक को बहता देख पास में मौजूद एक अन्य व्यक्ति उसे बचाने पहुंचा था, लेकिन पानी का बहाव इतनी तेज थी कि वह भी बहने लगा. इसी दौरान आसपास के घरों में मौजूद लोगों ने रस्सी फेंक कर बचाने पहुंचे व्यक्ति को बाहर निकाला. हालांकि बाइक सवार उमेश को नहीं बचाया जा सका और वह बाइक सहित पानी के तेज बहाव में पुल के नीचे बहता चला गया. घटना के दूसरे दिन मंगलवार को उमेश की बाइक बरामद की गई थी. घटना के बाद से लेकर अब तक निगम के लगातार लापरवाही सामने आई है. निगम ने लाश ढूंढने में तत्परता नहीं दिखाई, इसी वजह से लाश का अबतक अता-पता नहीं चल पाया है. घटना के दूसरे दिन पहुंची एनडीआरएफ की टीम ने भी नाले में तलाश करने से इंकार कर दिया था. टीम ने कहा था कि नाले में लाश ढूंढने का काम नगर निगम का है.

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