बेड़ो,रांचीः जिला के लापुंग प्रखंड के झिकी गांव में शहीद आर्मी जवान हवलदार फिल्मोन धान (34 वर्ष) का पार्थिव शरीर तिरंगा में लिपटा पहुंचते ही मातम छा गया. परिजनों के साथ साथ पूरे गांव की आंखों से अश्रू की धारा रोके नहीं रूक रही थी. पारंपरिक रीति-रिवाज के साथ जवान का अंतिम संस्कार (cremation of martyred army Jawan) किया गया. इस मौके लोगों ने जवान को श्रद्धांजलि दी.
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लद्दाख में डयूटी के दौरान 2 जुलाई को हवलदार फिल्मोन धान की हार्ट अटैक से मृत्यु (army Jawan died of heart attack) हो गयी था. मृत्यु के बाद कोविड जांच में पॉजिटिव पाया गया. जिसके बाद मंगलवार को आर्मी के विशेष विमान से जवान का पार्थिव शरीर बिरसा मुंडा एयरपोर्ट से रांची लाया गया. जहां से सड़क मार्ग से लापुंग प्रखंड से झिकि गांव तक अंचलाधिकारी स्कॉर्ट कर लाए. जम्मू से जवान को पीपी किट पहने कंधा देने के लिए भेजा गया था. जवान का पार्थिक शरीर देखकर पत्नी सोनी तिर्की पति के ताबुत से लिपटकर रो पड़ी. साथ ही पति का चेहरा देखने की जिद करने पर पीपी किट पहनाकर पत्नी और भाई को जवान का चेहरा दिखाया गया. कोविड प्रोटोकॉल और कड़ी सुरक्षा के बीच शहीद फिल्मोन धान से पार्थिव शरीर को दफनाया गया.
जवान की घर से जाने के चार दिन बाद मौतः फिल्मोन धान अपने गांव में छुट्टी बिताने के बाद 29 जून को ड्यूटी पर लौट गए थे. जवान की पत्नी बताया कि छुट्टी पर वो गांव आए थे, छुट्टी के बाद 29 जून को फ्लाइट से ड्यूटी पर लौटे थे. वह 30 जून को जम्मू पहुंचे और 2 जुलाई को उनकी मौत की खबर मिलने से परिजन आश्चर्यचकित थे. फिल्मोन धान अपने पीछे मां सोमरी मुंडा, पत्नी सोनी तिर्की, दो छोटे बच्चे अनमी धान 3 वर्ष, अश्विन धान को छोड़ गए.
अंतिम यात्रा में शामिल हुआ गांवः रांची एयरपोर्ट से पार्थिव शरीर को एंबुलेंस से अंचलाधिकारी अविनाश पुरणेंदु ने लापुंग लेकर आए. इस मौके पर आर्मी के जवान, प्रखंड विकास पदाधिकारी एमानुएल जयवीरस लकड़ा, मालगो मुखिया सुग्गी मुंडाइन, लापुंग थाना एसआई सुशील मरांडी सदल बल पहुंचे. शहीद जवान की अंतिम यात्रा में पूरा गांव शामिल हुआ. अंचलाधिकारी अविनाश पुरणेंदु ने कहा कि फिल्मोन धान को शहीद का दर्जा मिलेगा एवं सरकारी सभी लाभ उनके परिवार को मिलेगा.