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कोरोना इफेक्टः हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश ने अदालती कार्रवाई का लिया जायजा, वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से ली मामलों की जानकारी

कोरोना को लेकर पूरे राज्य में शासन व्यवस्था पूरी तरह से सुचारु रूप से नहीं चल रही है. शासन के सभी विभाग वैकल्पिक रूप से चल रहे हैं. इसमें अदालती कार्रवाई भी शामिल है. अदालतों में सिर्फ महत्वपूर्ण मामलों की सुनवाई हो रही है.

मुख्य न्यायाधीश ने अदालती कार्रवाई का लिया जायजा
मुख्य न्यायाधीश ने अदालती कार्रवाई का लिया जायजा
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Published : Apr 1, 2020, 3:20 PM IST

रांची: कोरोना को लेकर प्रदेश में शासन व्यवस्था बदली हुई है. आम जनता को किसी भी प्रकार की परेशानी न हो इसके लिए सभी इंतजाम किए गए हैं. इसी क्रम में झारखंड हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डॉ रवि रंजन ने राज्य के सभी सिविल कोर्ट के जिला प्रधान जज के साथ बैठक कर हालचाल लिया. वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से मुख्य न्यायाधीश ने सभी जिला जजों से अद्यतन स्थिति का ब्यौरा मांगा. उन्होंने सभी जिला जज को एक रिपोर्ट पेश करने को भी कहा.

मुख्य न्यायाधीश ने अदालती कार्रवाई का लिया जायजा.

उन्होंने पूछा कि सभी जिला से कितनी बेल मिली . बेलर न होने के कारण कितने आरोपी जेल से नहीं निकल पाए हैं. इसकी सूची भेजने को कहा है. कोरोना वायरस के वैश्विक महामारी पर झारखंड हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डॉ रवि रंजन ने राज्य के सभी सिविल कोर्ट के जिला प्रधान से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक की.

बैठक में उन्होंने सभी जिला के प्रधान जिला जज से बारी-बारी से सिविल कोर्ट के बारे में जानकारी मांगी. सभी ने बारी-बारी से उन्हें अपने सिविल कोर्ट के बारे में विस्तृत जानकारी दी. उन्होंने सभी सिविल कोर्ट के प्रधान जज को कोरोना वायरस से बचाव को लेकर उठाए जाने वाले कदम में जो भी कठिनाइयां उत्पन्न हो रही हैं, उसके बारे में जानकारी ली.

साथ ही सभी को कोरोना वायरस की इस विकट परिस्थिति में इससे बचाव के सभी एहतियात बरतने का निर्देश दिया. उन्होंने सभी जिलो से यह भी जानकारी मांगी.

सभी जिलों में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जो जमानत दी गई है. उसमें जिसे जमानत दी गई है, वह जेल से निकल पाया है या नहीं, बेलर नहीं मिल पाने के कारण कितने ऐसे मामले हैं, जिसमें जमानत मिलने के बादजूद भी आरोपी जेल से बाहर नहीं हो पाए हैं, इसकी सूची पेश करने को कहा है.

यह भी पढ़ेंः कोरोना खतरा: झारखंड में निजी लोगों के बॉडीगार्ड वापस लिए गए

बता दें कि कोराना वायरस की इस वैश्विक महामारी को देखते हुए झारखंड हाई कोर्ट ने राज्य के सभी सिविल कोर्ट के प्रधान जिला जज को इससे बचाव के सभी एहतियात बरतने को कहा था.

मुख्य न्यायाधीश ने सभी सिविल कोर्ट में सिर्फ अति महत्वपूर्ण मामले की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से ही सुनवाई करने का आदेश दिया है. मुख्य न्यायाधीश के आदेश के आलोक में सभी सिविल कोर्ट में अति महत्वपूर्ण मामले की सुनवाई की जा रही है.

रांची: कोरोना को लेकर प्रदेश में शासन व्यवस्था बदली हुई है. आम जनता को किसी भी प्रकार की परेशानी न हो इसके लिए सभी इंतजाम किए गए हैं. इसी क्रम में झारखंड हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डॉ रवि रंजन ने राज्य के सभी सिविल कोर्ट के जिला प्रधान जज के साथ बैठक कर हालचाल लिया. वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से मुख्य न्यायाधीश ने सभी जिला जजों से अद्यतन स्थिति का ब्यौरा मांगा. उन्होंने सभी जिला जज को एक रिपोर्ट पेश करने को भी कहा.

मुख्य न्यायाधीश ने अदालती कार्रवाई का लिया जायजा.

उन्होंने पूछा कि सभी जिला से कितनी बेल मिली . बेलर न होने के कारण कितने आरोपी जेल से नहीं निकल पाए हैं. इसकी सूची भेजने को कहा है. कोरोना वायरस के वैश्विक महामारी पर झारखंड हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डॉ रवि रंजन ने राज्य के सभी सिविल कोर्ट के जिला प्रधान से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक की.

बैठक में उन्होंने सभी जिला के प्रधान जिला जज से बारी-बारी से सिविल कोर्ट के बारे में जानकारी मांगी. सभी ने बारी-बारी से उन्हें अपने सिविल कोर्ट के बारे में विस्तृत जानकारी दी. उन्होंने सभी सिविल कोर्ट के प्रधान जज को कोरोना वायरस से बचाव को लेकर उठाए जाने वाले कदम में जो भी कठिनाइयां उत्पन्न हो रही हैं, उसके बारे में जानकारी ली.

साथ ही सभी को कोरोना वायरस की इस विकट परिस्थिति में इससे बचाव के सभी एहतियात बरतने का निर्देश दिया. उन्होंने सभी जिलो से यह भी जानकारी मांगी.

सभी जिलों में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जो जमानत दी गई है. उसमें जिसे जमानत दी गई है, वह जेल से निकल पाया है या नहीं, बेलर नहीं मिल पाने के कारण कितने ऐसे मामले हैं, जिसमें जमानत मिलने के बादजूद भी आरोपी जेल से बाहर नहीं हो पाए हैं, इसकी सूची पेश करने को कहा है.

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बता दें कि कोराना वायरस की इस वैश्विक महामारी को देखते हुए झारखंड हाई कोर्ट ने राज्य के सभी सिविल कोर्ट के प्रधान जिला जज को इससे बचाव के सभी एहतियात बरतने को कहा था.

मुख्य न्यायाधीश ने सभी सिविल कोर्ट में सिर्फ अति महत्वपूर्ण मामले की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से ही सुनवाई करने का आदेश दिया है. मुख्य न्यायाधीश के आदेश के आलोक में सभी सिविल कोर्ट में अति महत्वपूर्ण मामले की सुनवाई की जा रही है.

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