रांची: चीफ इंजीनियर वीरेंद्र राम के ईडी के शिकंजे में फंसने के बाद हर दिन उनके भ्रष्टाचार को लेकर नए नए खुलासे हो रहे हैं. ईडी को जानकारी मिली है कि वीरेंद्र राम के पास इतने रुपये कैश में आ जाते थे कि वे करोड़ों का भुगतान नगद ही किया करता था. वाहन, घर और जमीन खरीदने तक में नगद पैसे का ही इस्तेमाल किया गया था. अपने पद पर रहते हुए टेंडर मैनेज करने और कमीशनखोरी के जरिए चीफ इंजीनियर वीरेंद्र राम की कमायी अरबों में आंकी जा रही है.
वीरेंद्र राम के ईडी रिमांड का मंगलवार को आखिरी दिन था. जिसके बाद ईडी ने कोर्ट से 4 दिन एक्स्ट्रा रिमांड पर लेने का किया. ईडी के आग्रह पर कोर्ट ने चार दिन की रिमांड की स्वीकृति दी है. आरोपी वीरेंद्र राम का केस विक्रांत सिन्हा लड़ रहे हैं. उन्होंने सुनाई के दौरान अपना पक्ष रखा लेकिन कोर्ट ने 4 दिन का रिमांड बढ़ा दिया.
इधर पांच दिनों की पूछताछ में ईडी ने वीरेंद्र राम से पूछताछ में कई नई जानकारियां हासिल की है. ईडी को जानकारी मिली है कि दिल्ली के साकेत, डिफेंस कॉलोनी और छतरपुर में प्रापर्टी की खरीद के लिए वीरेंद्र राम ने तकरीबन 30 करोड़ रुपये कैश दिए. जमीन की खरीद में बड़ा हिस्सा लगभग 25 करोड़ कैश से ही दिए जाने की बात ईडी की जांच में सामने आयी है.
कहां कहां संपत्ति में कितना कैश: ईडी की जांच में यह बात सामने आयी है कि साल 2015 में वीरेंद्र राम ने अपनी पत्नी राजकुमारी के नाम पर दिल्ली के साकेत डी ब्लाक में हाउस नंबर डी 70 खरीदा था, तब खरीदार को चार करोड़ नगद ही दिए थे. इसी तरह डिफेंस कॉलोनी में 2019 में भी वीरेंद्र राम ने पत्नी राजकुमारी के नाम पर प्रापर्टी ली थी, इस प्रापर्टी की खरीद के एवज में भी छह करोड़ कैश देने की बात की पुष्टि हुई है. जनवरी 2023 में वीरेंद्र राम ने अपने पिता के नाम पर दिल्ली सतबरी छतरपुर में प्लाट खरीदा था. इस प्लाट के लिए भी छह करोड़ कैश ही प्रापर्टी डीलर को दिए गए थे. इस जमीन पर महलनुमा मकान भी बनाया गया है. ईडी के अधिकारियों के मुताबिक, सिर्फ दिल्ली में 30 करोड़ का कैश प्रापर्टी में निवेश किया गया है.
बच्चों ने भी कार से लेकर गहने तक खरीदे कैश में: ईडी को यह भी जानकारी मिली है कि वीरेंद्र राम के बच्चों ने भी जमकर नगद में खरीदारी की है. करोड़ों रुपये नगद सिर्फ दिल्ली जैसे शहरों में खरीदारी के लिए की गई है.
डेढ़ करोड़ देकर एक करीबी ने खरीदा जमीन: एक तरफ जहां ईडी के शिकंजे में वीरेंद्र राम, रामसेवक राम जैसे भृष्ट ईडी के शिकंजे में फंस रहे हैं. इसके बावजूद वीरेंद्र राम के विभाग के ही एक इंजीनियर ने रांची के हरमू इलाके में करोड़ों का नगद भुगतान कर भूखंड खरीदा है. जानकारी के अनुसार वह इंजीनियर भी ईडी के राडार पर है. साथ ही कई दूसरे लोग जो राम से सम्बंध रखते है वो भी राडार पर है. ईडी को अबतक जो सबूत हाथ लगे हैं, उसके मुताबिक वीरेंद्र राम के रिश्तेदार आलोक रंजन, पत्नी राजकुमारी, पिता गेंदा राम को भी ईडी आने वाले दिनों में मनी लाउंड्रिंग का आरोपी बना सकती है. ईडी ने वीरेंद्र राम के कुछ अधीनस्थ इंजीनियरों की भूमिका की भी जांच शुरू कर दी है विभाग के आधा दर्जन इंजीनियर वीरेंद्र राम प्रकरण में ईडी की रडार पर हैं.