रांची: एक हेल्थ कैंप की वजह से कई महिलाओं को नई जिंदगी मिली है. कैंप में कुल 250 मरीजों की जांच की गई. इनमें से 8 महिलाओं में सर्वाइकल पॉलिप मिला. जिसे हटाने के लिए उन्हें सदर हॉस्पिटल रांची में बुलाया गया है. एक महिला में सर्वाइकल कैंसर स्टेज 3 पाया गया है. उसे रेडियो थेरेपी के लिए रेफेर किया गया. 18 महिलाओं में सर्वाइकल प्री कैंसर पाया गया. जिन्हें रांची में स्वास्थ्य जांच शिविर में ही कोल्पोस्कोप गाइडेड क्रायो ट्रीटमेंट दे कर कैंसर से मुक्त किया गया.
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रांची में स्वास्थ्य जांच शिविर दी गई दवा
शिविर में आई 40% महिलाओं को जननांग संबंधी इन्फेक्शन पाया गया. ऐसी महिलाओं के बीच Kit 2 और Kit 6 की गोलियां मुफ्त में बांटी गयी. शिविर में आई सभी महिलाओं को 1 महीने की आयरन, फोलिक एसिड और कैल्शियम की गोलियां मुफ्त बांटी गयी.
आईएमए झारखंड वीमेन विंग और स्वास्थ्य विभाग झारखंड सरकार के संयुक्त तत्वधान में रांची में मेगा महिला स्वास्थ्य शिविर और सरकारी स्त्री रोग चिकित्सकों के लिए प्रशिक्षण शिविर लगाया गया था. इसका उद्घाटन झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता, आईएमए के अध्यक्ष डॉ. जेए जयालाल ने किया.
स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने कहा कि हम सबों को मां की कोख के महत्त्व को समझना चाहिए. क्योंकि हम सब इसी कोख से जन्मे हैं. मां सृजनकर्ता होती है. हमारे वैज्ञानिक रक्त की एक बूंद नहीं बना सके. पुरुषों के साथ संबंध सर्वाइकल कैंसर का बड़ा कारण होता है. पुरुषों का यह कर्तव्य है की घर की महिलाओं का सही समय पर जांच कराएं.
IMA Jharkhand Womens Wing की अध्यक्ष डॉ. भारती कश्यप ने कहा कि 2015 में सर्वाइकल कैंसर उन्मूलन अभियान शुरू हुआ था. झारखंड के 23 सदर अस्पताल में से 11 सदर अस्पतालों में सर्वाइकल कैंसर की जांच और उपचार की मशीन लग चुकी है. इसका फायदा मरीजों को मिल रहा है. उन्होंने कहा कि अगर प्रजनन क्षमता वाली महिलाओं की जनसंख्या के हाई-रिस्क केटेगरी और लक्षण वाली 6% महिलाओं की स्क्रीनिंग पूरी कर लें तो सर्वाइकल कैंसर को हम प्री-कैंसर की स्टेज में ही पकड़ लेंगे. इस तरह हम एक साल में सर्वाइकल कैंसर पर अपने राज्य में रोक लगा सकेंगे. बशर्ते कि हर महीने लगातार पूरे राज्य के सरकारी अस्पताओं में चल रही स्क्रीनिंग की समीक्षा हो.
इस मेगा महिला स्वास्थ्य शिविर में मैक्स सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल, दिल्ली की स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. कनिका गुप्ता की टीम ने शिविर में आने वाली सभी महिला मरीजों की जांच की. साथ ही झारखंड की 40 सरकारी स्त्री रोग विशेषज्ञों को सर्वाइकल प्री-कैंसर की डिजिटल वीडियो कॉलपोस्कॉप से जांच और क्रायो से उपचार का प्रशिक्षण भी दिया गया.
रांची बनेगा सर्वाइकल कैंसर मुक्त जिला
अब सदर अस्पताल में हर महीने की 9 तारीख को प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व आश्वासन योजना के तहत सहिया के द्वारा लक्षण वाली और हाई-रिस्क कैटेगरी की महिलाओं को चिन्हित कर कोलपोस्कोप से वाया स्क्रीनिंग की जाएगी और जरूरत पड़ने पर क्रायों से उपचार भी किया जाएगा. इस योजना के तहत ₹100 का मानदेय भी साहियाओं को दिया जाता है ताकि उन्हें आने जाने में को सहूलियत हो. कार्यक्रम के दौरान स्वास्थ्य मंत्री से सहिया बहनों के मासिक भत्ते में इजाफे की अपील की गई.