रांचीः झारखंड सरकार के अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री हफीजुल हसन के द्वारा गढ़वा में दिए गए बयान को लेकर झारखंड की राजनीति गर्म हो गई है. इसको लेकर विपक्ष सरकार पर हमलावर हो गया है. वहीं प्रदेश कांग्रेस के नेता मंत्री को अपनी जुबान पर लगाम लगाने की सलाह देते नजर आ रहे हैं.
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मंत्री हफीजुल हसन के बयान ने झारखंड की सियासी गलियारों में उबाल ला दिया है. इस बयान को लेकर बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने ट्वीट कर मंत्री हफीजुल हसन के ऊपर हमला बोलते हुए मंत्री के इस्तीफे की मांग की है. उन्होंने ट्वीट में लिखा है कि 'अगर मुख्यमंत्री जी में हिम्मत है तो इस मंत्री का इस्तीफा लेकर दिखाए'. वहीं भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल नाथ शाहदेव ने कहा मंत्री को समाज में विध्वंस फैलाने और प्रदेश को सांप्रदायिक और नफरत की आग में झोंकने के लिए मुख्यमंत्री को तुरंत संज्ञान लेकर उन्हें बर्खास्त करना चाहिए उन्होंने.
दूसरी ओर कांग्रेस प्रदेश प्रवक्ता राकेश सिन्हा ने अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री द्वारा गढ़वा में दिए गए बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि मंत्री को अपनी वाणी पर नियंत्रण रखना चाहिए था. क्योंकि वो एक जिम्मेदार पद पर हैं और उनकी कही गई बातों को देश प्रदेश की जनता तुलनात्मक रूप से देखती है और समझती है, ऐसे में इस तरह की बातें नहीं होनी चाहिए. आगे उन्होंने कहा कि लेकिन मंत्री ने जिन चीजों का उल्लेख किया है वो स्वाभाविक तौर पर अगर देखें तो विगत कुछ दिनों से विदेश में जो नफरत का माहौल एक संप्रदाय विशेष के प्रति भाजपा फैला रही है, यह लोकतंत्र के लिए घातक है.