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अमन को गिरफ्तार करने के लिए एक महीने तक मुंबई की खाक छानती रही एटीएस, एडीजी लाटकर की भूमिका रही खास - Jharkhand news

कड़ी मेहनत के बाद झारखंड एटीएस ने मुंबई से अमन श्रीवास्तव को गिरफ्तार कर लिया है. इस गिरफ्तारी में एडीजी अभियान संजय आनंद लाटकर की भी महत्वपूर्ण भूमिका रही.

ADG Campaign SA Latkar
aman srivastava and ADG Campaign SA Latkar
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Published : May 17, 2023, 9:53 AM IST

Updated : May 17, 2023, 11:32 AM IST

एडीजी अभियान संजय आनंद लाटकर

रांची: अमन श्रीवास्तव यह वह नाम है जिसकी झारखंड के हर कोयला बेल्ट में तूती बोलती थी. अमन का एक फोन किसी भी कोयला कारोबारी के लिए दहशत भरा होता था. झारखंड पुलिस पिछले 8 सालों से अमन को गिरफ्तार करने का प्रयास कर रही थी, लेकिन वह पुलिस को चकमा देता रहा, आखिरकार महाराष्ट्र एटीएस के सहयोग से उसे मुंबई से धर दबोचा गया. अमन की गिरफ्तारी में झारखंड पुलिस के एडीजी अभियान संजय आनंद लाटकर की सबसे महत्वपूर्ण भूमिका रही.

ये भी पढ़ें: Jharkhand News: अमन की गिरफ्तारी बड़ी सफलता- डीजीपी, मुंबई एटीएस की मदद से पकड़ा गया गैंगस्टर

एडीजी लाटकर की भूमिका महत्वपूर्ण: झारखंड में नक्सलियों को नाकों चने चबवाने वाले झारखंड पुलिस के एडीजी अभियान संजय आनंद लाटकर महाराष्ट्र के रहने वाले हैं, केंद्रीय प्रतिनियुक्ति के दौरान वे महाराष्ट्र में सीआरपीएफ और महाराष्ट्र एटीएस में काम कर चुके हैं. झारखंड एटीएस की टीम को जब यह सूचना मिली कि अमन श्रीवास्तव लगातार मुंबई में ही रह रहा है, तब संजय आनंद ने खुद मोर्चा संभाला और महाराष्ट्र एटीएस में अपने परिचित अफसरों से उसकी गिरफ्तारी को लेकर मदद मांगी. चुकि एडीजी संजय आनंद लंबे समय तक महाराष्ट्र में काम कर चुके थे इसलिए उन्हें अमन को गिरफ्तार करने के लिए जिन भी तरह की मदद की जरूरत थी वह मिलने लगी. रांची से गई टीम महाराष्ट्र एटीएस के साथ मिलकर अमन को खोजने के काम में लग गई. अमन इतना शातिर था कि वह पकड़ में नहीं आ रहा था. वह लगातार अपने लोकेशन और फोन नंबर दोनों ही बदल रहा था. हालांकि रेकी करने के दौरान झारखंड एटीएस की टीम को यह तो जानकारी मिल ही गई कि सबसे ज्यादा आने जाने के लिए अमन श्रीवास्तव मुंबई के वाशी रेलवे स्टेशन का इस्तेमाल कर रहा है.

वाशी स्टेशन को ही बनाया बेस: मुंबई के सभी रेलवे स्टेशन पर फेस डिटेक्शन कैमरे लगे हुए हैं. महाराष्ट्र एटीएस ने अमन की तीन तस्वीरें रेलवे स्टेशन में लगे फेस डिटेक्शन कैमरे में फीड कर दी. जो रिजल्ट आया उसे देखकर झारखंड एटीएस और महाराष्ट्र एटीएस के अफसर खुश हो गए, क्योंकि अमन वाशी रेलवे स्टेशन का ही लगातार प्रयोग कर रहा था. जिसके बाद रांची से गए एटीएस के अफसरों ने वाशी रेलवे स्टेशन को ही अपना बेस बना लिया. आखिरकार एटीएस के लिए वह दिन भी आ गया जब सूरत से चलकर मुंबई आने वाली ट्रेन में अमन श्रीवास्तव बैठा दिखाई दे गया. मुंबई एटीएस और झारखंड एटीएस के एक दर्जन अफसर वाशी स्टेशन पर मोर्चा संभाले हुए थे, जैसे ही अमन श्रीवास्तव बाहर निकला उसे धर दबोचा गया.

आज लाया गया रांची: गिरफ्तार अमन श्रीवास्तव को कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच आज रांची लाया गया. रांची लाने के बाद एटीएस मुख्यालय में उससे पूछताछ की जा रही है.

एडीजी अभियान संजय आनंद लाटकर

रांची: अमन श्रीवास्तव यह वह नाम है जिसकी झारखंड के हर कोयला बेल्ट में तूती बोलती थी. अमन का एक फोन किसी भी कोयला कारोबारी के लिए दहशत भरा होता था. झारखंड पुलिस पिछले 8 सालों से अमन को गिरफ्तार करने का प्रयास कर रही थी, लेकिन वह पुलिस को चकमा देता रहा, आखिरकार महाराष्ट्र एटीएस के सहयोग से उसे मुंबई से धर दबोचा गया. अमन की गिरफ्तारी में झारखंड पुलिस के एडीजी अभियान संजय आनंद लाटकर की सबसे महत्वपूर्ण भूमिका रही.

ये भी पढ़ें: Jharkhand News: अमन की गिरफ्तारी बड़ी सफलता- डीजीपी, मुंबई एटीएस की मदद से पकड़ा गया गैंगस्टर

एडीजी लाटकर की भूमिका महत्वपूर्ण: झारखंड में नक्सलियों को नाकों चने चबवाने वाले झारखंड पुलिस के एडीजी अभियान संजय आनंद लाटकर महाराष्ट्र के रहने वाले हैं, केंद्रीय प्रतिनियुक्ति के दौरान वे महाराष्ट्र में सीआरपीएफ और महाराष्ट्र एटीएस में काम कर चुके हैं. झारखंड एटीएस की टीम को जब यह सूचना मिली कि अमन श्रीवास्तव लगातार मुंबई में ही रह रहा है, तब संजय आनंद ने खुद मोर्चा संभाला और महाराष्ट्र एटीएस में अपने परिचित अफसरों से उसकी गिरफ्तारी को लेकर मदद मांगी. चुकि एडीजी संजय आनंद लंबे समय तक महाराष्ट्र में काम कर चुके थे इसलिए उन्हें अमन को गिरफ्तार करने के लिए जिन भी तरह की मदद की जरूरत थी वह मिलने लगी. रांची से गई टीम महाराष्ट्र एटीएस के साथ मिलकर अमन को खोजने के काम में लग गई. अमन इतना शातिर था कि वह पकड़ में नहीं आ रहा था. वह लगातार अपने लोकेशन और फोन नंबर दोनों ही बदल रहा था. हालांकि रेकी करने के दौरान झारखंड एटीएस की टीम को यह तो जानकारी मिल ही गई कि सबसे ज्यादा आने जाने के लिए अमन श्रीवास्तव मुंबई के वाशी रेलवे स्टेशन का इस्तेमाल कर रहा है.

वाशी स्टेशन को ही बनाया बेस: मुंबई के सभी रेलवे स्टेशन पर फेस डिटेक्शन कैमरे लगे हुए हैं. महाराष्ट्र एटीएस ने अमन की तीन तस्वीरें रेलवे स्टेशन में लगे फेस डिटेक्शन कैमरे में फीड कर दी. जो रिजल्ट आया उसे देखकर झारखंड एटीएस और महाराष्ट्र एटीएस के अफसर खुश हो गए, क्योंकि अमन वाशी रेलवे स्टेशन का ही लगातार प्रयोग कर रहा था. जिसके बाद रांची से गए एटीएस के अफसरों ने वाशी रेलवे स्टेशन को ही अपना बेस बना लिया. आखिरकार एटीएस के लिए वह दिन भी आ गया जब सूरत से चलकर मुंबई आने वाली ट्रेन में अमन श्रीवास्तव बैठा दिखाई दे गया. मुंबई एटीएस और झारखंड एटीएस के एक दर्जन अफसर वाशी स्टेशन पर मोर्चा संभाले हुए थे, जैसे ही अमन श्रीवास्तव बाहर निकला उसे धर दबोचा गया.

आज लाया गया रांची: गिरफ्तार अमन श्रीवास्तव को कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच आज रांची लाया गया. रांची लाने के बाद एटीएस मुख्यालय में उससे पूछताछ की जा रही है.

Last Updated : May 17, 2023, 11:32 AM IST
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