रांची: झारखंड की राजधानी रांची का बिरसा मुंडा एयरपोर्ट ही एक ऐसा एयरपोर्ट है जहां से यात्रियों को दिल्ली, मुंबई, पुणे, हैदराबाद, बेंगलुरु जैसे बड़े शहरों के लिए विमान सेवा आसानी से मिल पाती है. ऐसे में राजधानी के बिरसा मुंडा एयरपोर्ट पर यात्रियों की अधिक भीड़ रहती है, लेकिन रांची एयरपोर्ट के आसपास कई अवैध ऊंचे मकान निर्माण से विमानों को उड़ान भरने और लैंड करने में परेशानी होती है. ऐसे में विमानों का टेकऑफ और लैंडिंग खतरनाक साबित हो सकता है.
एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने सर्वे कर नगर निगम को सौंपी को सूचीः वहीं लगातार रांची एयरपोर्ट के आसपास ऊंची ईमारतें खड़ी करने के मामले में एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने सर्वे किया है. जिसमें 50 से अधिक ऐसे मकान चिन्हित किए गए जो एयरपोर्ट एरिया में मकान बनाने की नियमावली का उल्लंघन करता है. एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया की तरफ से नोटिस मिलने के बाद नगर निगम ने ऐसे मकानों का निरीक्षण किया. जिसमें करीब 50 मकान ऐसे चिन्हित किए गए हैं, जो एयरपोर्ट एरिया में कंस्ट्रक्शन नियमावली का उल्लंघन है.
50 से अधिक मकान मालिकों को निगम ने भेजा नोटिसः वहीं एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एएआई) की तरफ से नोटिस मिलने के बाद रांची नगर निगम के उप प्रशासक कुंवर सिंह पाहन ने कहा कि एयरपोर्ट अथॉरिटी से सूची प्राप्त होने के बाद जितने भी बड़े-बड़े होर्डिंग और टावर लगाए गए थे, उन सभी टावरों और होर्डिंगों को हटा दिया गया है. वहीं दी गई सूची में करीब 50 मकान के बारे में भी बताया गया है, जिसको निगम के लीगल सेल से नोटिस भेजी गई है. नोटिस में मकान मालिकों से यह पूछा गया है कि आपने जो मकान बनाया है उसका प्लान अप्रूव्ड हुआ है या बिना अप्रूवल के ही लोग अपने मन से मकान बना लिए हैं. लोगों का जवाब आने के बाद निगम की तरफ से कार्रवाई की जाएगी. क्योंकि सुरक्षा की दृष्टि से एयरपोर्ट एरिया के आसपास वैसे मकानों की ऊंचाई को कम किया जाएगा, जो आने वाले दिनों में विमान के उड़ान के लिए समस्या बन सकती है.
निर्माण के समय किसी ने नहीं उठाया सवालः वहीं नोटिस जारी होने के बाद एयरपोर्ट एरिया के आसपास मकान बनाने वाले कई मकान मालिकों ने कहा कि कई महीनों तक नगर निगम कार्यालय से नक्शा पास नहीं हो रहा था. इसलिए कई लोगों ने रहने के लिए अपने मकान का निर्माण करवाया है, लेकिन जब निर्माण करवाया जा रहा था उस समय ना तो एयरपोर्ट अथॉरिटी के तरफ से मकान बनाने पर रोक लगाई गई और ना ही निगम की तरफ से. ऐसे में कार्रवाई करने से पहले निगम और एयरपोर्ट अथॉरिटी दोनों को विचार करने की आवश्यकता है.
समय-समय पर एयरपोर्ट अथॉरिटी करता है सर्वेः बता दें कि एयरपोर्ट अथॉरिटी के द्वारा समय-समय पर एयरपोर्ट के आसपास के क्षेत्र में निरीक्षण किया जाता है. इस दौरान जो भी खामियां देखी जाती हैं, वह जिला प्रशासन और नगर निगम के अधिकारियों को बताया जाता है. इस बार एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एएआई) द्वारा निरीक्षण में कई मकानों को चिन्हित किया गया है. अब देखने वाली बात होगी कि चिन्हित किए गए मकान के मालिकों के खिलाफ क्या कुछ कार्रवाई नगर निगम और जिला प्रशासन द्वारा किया जाता है.
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