ETV Bharat / state

बच्चों को अस्पताल पहुंचाने की जगह स्वास्थ्य मुख्यालय में पड़ी हैं 24 नियोनेटल एम्बुलेंस, मुख्यमंत्री ने 23 जुलाई को दिखाई थी हरी झंडी

Ambulances are standing at health headquarters. सीएम हेमंत सोरेन ने 5 जुलाई 2023 को 206 एंबुलेंस राज्य को समर्पित किया था. लेकिन इनमें से 24 एंबुलेंस अब भी नामकुम के स्वास्थ्य मुख्यालय में बेकार पड़े हैं. हालांकि इस बारे में कहा गया कि ये सभी नियोनेट एंबुलेंस हैं और जल्द ही इनकी जांच कर इन्हें संबंधित जिलों में भेज दिया जाएगा.

24 neonatal ambulances are standing at health headquarters
24 neonatal ambulances are standing at health headquarters
author img

By ETV Bharat Jharkhand Team

Published : Nov 30, 2023, 5:27 PM IST

Updated : Nov 30, 2023, 5:36 PM IST

जानकारी देते संवाददाता उपेंद्र कुमार

रांची: झारखंड में सरकार ने स्वास्थ्य सेवा को दुरुस्त करने के लिए अत्याधुनिक सुविधा से लैस 206 एम्बुलेंस को राज्य को समर्पित किया था. 05 जुलाई 2023 को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने हरी झंडी दिखा कर नए एम्बुलेंस को गंतव्य के लिए रवाना किया था. लेकिन मुख्यमंत्री ने जिस 206 नए 108 एम्बुलेंस को हरी झंडी दिखाई थी, उसमें से 24 नियोनेटल एम्बुलेंस थे. हैरत की बात यह है कि मुख्यमंत्री द्वारा नए 108 एम्बुलेंस सेवा के शुभारंभ के करीब पांच महीने बाद भी 24 नए एम्बुलेंस नामकुम स्थित स्वास्थ्य मुख्यालय परिसर में खड़ी है.

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी और 108 एम्बुलेंस सेवा के स्टेट नोडल अधिकारी डॉ डी सक्सेना ने बताया कि जो 24 एम्बुलेंस अभी तक अलग-अलग जिलों को नहीं भेजी गई हैं वह सभी नियोनेटल एम्बुलेंस हैं. उन्होंने बताया कि एम्बुलेंस सप्लाई करने वाली कंपनी के साथ हुए करार के अनुसार एम्बुलेंस है कि नहीं, इसकी जांच करने में देरी हो गयी, इसी वजह से अभी तक बीमार नवजात बच्चों को अस्पताल पहुंचाने में मददगार साबित हो सकने वाले नियोनेटल एम्बुलेंस को गंतव्य के लिए नहीं भेजी जा सकी है.

जल्द अलग-अलग जिलों में भेज दी जाएगी एम्बुलेंस- डॉ डी सक्सेना: 108 एम्बुलेंस सेवा के स्टेट नोडल अधिकारी ने बताया कि सभी नियोनेटल एम्बुलेंस मानक के अनुरूप हैं या नहीं, इसकी जांच पूरी कर ली गयी है और जल्द ही सभी NEONATAL एम्बुलेंस अपने अपने जिले में रवाना हो जाएंगे. हालांकि एम्बुलेंस सेवा के नोडल अधिकारी ने अभी नियोनेटल एम्बुलेंस की जांच पूरी कर लेने की बात फोन पर कहीं, लेकिन जब हमारी टीम ग्राउंड जीरो पर गयी तो वहां कई एम्बुलेंस में जो कमियां रह गयी थी, उसे दुरुस्त करते कर्मी दिखे.

नए एम्बुलेंस सेवा को चलाने की जिम्मेदारी EMRI ग्रीन हेल्थ को मिली: राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत राज्य में 2017-18 से 108 एम्बुलेंस सेवा चल रही है. पहले मेसर्स जिकित्सा हेल्थ केयर नाम की एजेंसी इसे चलाती थी. जिकित्सा से 108 एम्बुलेंस परिचालन का MOU अवधि समाप्त हो जाने के बाद सरकार ने नई एजेंसी "EMRI ग्रीन हेल्थ सर्विसेस" को परिचालन की जिम्मेदारी सौंपी है.

05 जुलाई 2023 जो मुख्यमंत्री द्वारा नए 108 एम्बुलेंस सेवा का शुभारंभ करने के बावजूद पहले तो सामान्य एम्बुलेंस को प्रक्रिया पूरी कर जिलों में भेजने में कई महीने लग गए, लेकिन बीमार बच्चों के लिए जीवनरक्षक साबित होने वाला एडवांस नियोनेटल एम्बुलेंस यूं ही मुख्यालय में पड़े पड़े बर्बाद हो रही है.

ये भी पढ़ें:

बीमार जनता की सेवा की जगह स्वास्थ्य मुख्यालय में ही पड़ी रह गयी नई एंबुलेंस, मुख्यमंत्री ने दिखाई थी हरी झंडी

सरकारी व्यवस्था की खुली पोल! एंबुलेंस बीच रास्ते में हुई खराब, रिम्स ले जा रही गर्भवती महिला की हुई मौत

खाट पर व्यवस्था! नदी में बाढ़ तो नहीं पहुंचा एंबुलेंस, खटिया पर अस्पताल लाते-लाते वज्रपात से झुलसी महिला ने तोड़ा दम

सीतामुनि की मौत के बाद जागी सरकार, मंत्री ने की चारुबेडा गांव में सड़क बनाने की अनुशंसा

जानकारी देते संवाददाता उपेंद्र कुमार

रांची: झारखंड में सरकार ने स्वास्थ्य सेवा को दुरुस्त करने के लिए अत्याधुनिक सुविधा से लैस 206 एम्बुलेंस को राज्य को समर्पित किया था. 05 जुलाई 2023 को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने हरी झंडी दिखा कर नए एम्बुलेंस को गंतव्य के लिए रवाना किया था. लेकिन मुख्यमंत्री ने जिस 206 नए 108 एम्बुलेंस को हरी झंडी दिखाई थी, उसमें से 24 नियोनेटल एम्बुलेंस थे. हैरत की बात यह है कि मुख्यमंत्री द्वारा नए 108 एम्बुलेंस सेवा के शुभारंभ के करीब पांच महीने बाद भी 24 नए एम्बुलेंस नामकुम स्थित स्वास्थ्य मुख्यालय परिसर में खड़ी है.

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी और 108 एम्बुलेंस सेवा के स्टेट नोडल अधिकारी डॉ डी सक्सेना ने बताया कि जो 24 एम्बुलेंस अभी तक अलग-अलग जिलों को नहीं भेजी गई हैं वह सभी नियोनेटल एम्बुलेंस हैं. उन्होंने बताया कि एम्बुलेंस सप्लाई करने वाली कंपनी के साथ हुए करार के अनुसार एम्बुलेंस है कि नहीं, इसकी जांच करने में देरी हो गयी, इसी वजह से अभी तक बीमार नवजात बच्चों को अस्पताल पहुंचाने में मददगार साबित हो सकने वाले नियोनेटल एम्बुलेंस को गंतव्य के लिए नहीं भेजी जा सकी है.

जल्द अलग-अलग जिलों में भेज दी जाएगी एम्बुलेंस- डॉ डी सक्सेना: 108 एम्बुलेंस सेवा के स्टेट नोडल अधिकारी ने बताया कि सभी नियोनेटल एम्बुलेंस मानक के अनुरूप हैं या नहीं, इसकी जांच पूरी कर ली गयी है और जल्द ही सभी NEONATAL एम्बुलेंस अपने अपने जिले में रवाना हो जाएंगे. हालांकि एम्बुलेंस सेवा के नोडल अधिकारी ने अभी नियोनेटल एम्बुलेंस की जांच पूरी कर लेने की बात फोन पर कहीं, लेकिन जब हमारी टीम ग्राउंड जीरो पर गयी तो वहां कई एम्बुलेंस में जो कमियां रह गयी थी, उसे दुरुस्त करते कर्मी दिखे.

नए एम्बुलेंस सेवा को चलाने की जिम्मेदारी EMRI ग्रीन हेल्थ को मिली: राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत राज्य में 2017-18 से 108 एम्बुलेंस सेवा चल रही है. पहले मेसर्स जिकित्सा हेल्थ केयर नाम की एजेंसी इसे चलाती थी. जिकित्सा से 108 एम्बुलेंस परिचालन का MOU अवधि समाप्त हो जाने के बाद सरकार ने नई एजेंसी "EMRI ग्रीन हेल्थ सर्विसेस" को परिचालन की जिम्मेदारी सौंपी है.

05 जुलाई 2023 जो मुख्यमंत्री द्वारा नए 108 एम्बुलेंस सेवा का शुभारंभ करने के बावजूद पहले तो सामान्य एम्बुलेंस को प्रक्रिया पूरी कर जिलों में भेजने में कई महीने लग गए, लेकिन बीमार बच्चों के लिए जीवनरक्षक साबित होने वाला एडवांस नियोनेटल एम्बुलेंस यूं ही मुख्यालय में पड़े पड़े बर्बाद हो रही है.

ये भी पढ़ें:

बीमार जनता की सेवा की जगह स्वास्थ्य मुख्यालय में ही पड़ी रह गयी नई एंबुलेंस, मुख्यमंत्री ने दिखाई थी हरी झंडी

सरकारी व्यवस्था की खुली पोल! एंबुलेंस बीच रास्ते में हुई खराब, रिम्स ले जा रही गर्भवती महिला की हुई मौत

खाट पर व्यवस्था! नदी में बाढ़ तो नहीं पहुंचा एंबुलेंस, खटिया पर अस्पताल लाते-लाते वज्रपात से झुलसी महिला ने तोड़ा दम

सीतामुनि की मौत के बाद जागी सरकार, मंत्री ने की चारुबेडा गांव में सड़क बनाने की अनुशंसा

Last Updated : Nov 30, 2023, 5:36 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.