रामगढ़: जिले में स्वास्थ्य विभाग में कार्यरत आउटसोर्सिंग कंपनी शिवा प्रोटेक्शन फोर्स के खिलाफ जिला आउटसोर्सिंग संघ के बैनर तले 3 दिनों से धरना जारी है. 417 महिला पुरुष रामगढ़ सिविल सर्जन कार्यालय के बाहर अपनी 5 सूत्रीय मांगों को लेकर धरने पर बैठे हैं, लेकिन उनकी सुनवाई न होने पर आज वे आक्रोशित हो गए.
उन्होंने सदर अस्पताल में फैली गंदगी को साफ कर रहे सफाईकर्मियों को पहले भगाया और फिर सदर अस्पताल के गलियारे से लेकर वार्ड में रखे डस्टबिन में से बायो मेडिकल वेस्ट को जहां-तहां बिखेर दिया जिससे सदर अस्पताल परिसर में मरीजों के संक्रमित होने का खतरा बढ़ गया है.
बताते चलें कि 3 दिनों से हड़ताल के बाद सदर अस्पताल की साफ सफाई पर काफी असर पड़ा है. चारों ओर गंदगी का अंबार लगा हुआ था जिसे साफ कराने के लिए अपने खर्च पर सदर अस्पताल उपाअधीक्षक द्वारा दो सफाईकर्मियों को बुलाया गया था, लेकिन सफाई करने के दौरान ही धरने पर बैठे आउटसोर्सिंग कंपनी के महिला और पुरुष स्वास्थ्य कर्मी अस्पताल पहुंचे पहले हंगामा किया और फिर अस्पताल में बायो मेडिकल वेस्ट कचरे को अस्पताल के गलियारों व वार्डो में बिखेर दिया और साफ सफाई में लगे मजदूर को भगा दिया.
जिससे सदर अस्पताल में आने वाले मरीजों के साथ-साथ इलाज करा रहे और भर्ती मरीजों पर संक्रमण का खतरा मंडराने लगा है. यही नहीं इस दौरान आउटसोर्सिंग कंपनियों द्वारा अस्पताल में नारे भी लगाए. सदर अस्पताल में वर्तमान में लगभग 30 मरीज भर्ती हैं.
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जैसे-तैसे अस्पताल की व्यवस्था पांच स्वास्थ्य कर्मियों के साथ चलाई जा रही है. आक्रोशित आउटसोर्सिंग स्वास्थ्य कर्मियों ने पूरी तरह से सदर अस्पताल में बायो मेडिकल वेस्ट के कचरे को फेंककर चारों ओर गंदगी फैला दी, जिससे मरीज भी काफी परेशान दिखे.
मरीजों का कहना था कि जो पहले साफ-सफाई और हमारी सेवा के लिए नियुक्त थे आज वही चारों ओर गंदगी फैला रहे हैं यह कहीं से सही नहीं है. छोटे-छोटे बच्चे हैं नवजात शिशु है इन लोगों पर संक्रमण का खतरा बढ़ जाएगा. हालांकि इस पूरे मामले में जिले की सिविल सर्जन नीलम चौधरी कुछ भी कहने से इंकार कर रही हैं.