रामगढ़: जिला सदर अस्पताल, ब्लड बैंक में आने वाले मरीज और उनके परिजनों के स्वास्थ्य से खिलवाड़ किया जा रहा है. कोरोना काल में जहां साफ-सफाई और सेहत को लेकर कई दिशा-निर्देश दिए गए हैं. लेकिन रामगढ़ जिले के सदर अस्पताल में मेडिकल बायोवेस्ट और अन्य कचरे को रखने और हटाने के लिए निर्धारित प्रोटोकॉल का पालन नहीं किया जा रहा है. जिससे इस पूरे इलाके में रह रहे लोगों के बीच महामारी वाली बीमारी का खतरा बढ़ गया है.
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खुले में डंप किया जा रहा बायोवेस्ट
आपको बता दें कि ठीक ब्लड बैंक से 25 मीटर दूर सामने रास्ते के बगल में ही खुले में बायोवेस्ट बिखरा रहता है. जहां बैंडेज, पट्टियां, सीरिंज, स्लाइन की खाली बोतल, टिश्यू आदि मेडिकल कचरे का ढेर लगा है. अस्पताल से निकलने वाली पट्टियां, खराब खून, सीरिंज, इंजेक्शन के अलावा अन्य सामग्री लोगों के लिए हानिकारक होती है. खुले में रखे बायोवेस्ट को समय पर डिस्पोज नहीं करने से उसमें अजीब सी दुर्गध आने लगती है. जिससे कई बीमारियां फैलने की आशंका बढ़ जाती है. बायो मेडिकल कचरा स्वास्थ्य एवं पर्यावरण के लिए अत्यंत खतरनाक है. इससे न केवल बीमारियां फैलती हैं बल्कि जल, थल एवं वायु सभी दूषित होते हैं.
अस्पताल के उपाधीक्षक नहीं हैं गंभीर
अस्पताल के उपाधीक्षक उदय श्रीवास्तव कचरा कैसे साफ हो, कैसे कचरे का निष्पादन किया जाए, इसके प्रति गंभीर नहीं हैं. जब उनसे पूछा गया तो पूरा ठीकरा अपने नीचे काम कर रहे कर्मियों पर फोड़ अपना पल्ला झाड़ने का प्रयास किया है. जबकि सारी जवाबदेही और जिम्मेदारी अस्पताल उपाधीक्षक पर ही रहती है. गंदगी का यह अंबार कोई आज नहीं लगा है, बल्कि यह बाहर में कोरोना के समय से वैसे ही पड़ा हुआ है लेकिन इस पर उनकी नजर पड़ती ही नहीं है.
नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के निर्देशानुसार, खुले में बायोवेस्ट को न तो फेंका जाना है और न ही इसे जलाया जाना है. इसके बावजूद सदर अस्पताल के उपाधीक्षक को अब तक यह नहीं पता है कि कैसे प्रॉपर तरीके से बायोमेडिकल कचरे को डिस्पोज करना है. केवल वे अभी लोगों से बात ही कर रहे हैं कि कैसे कचरे को हटाया जाए. हॉस्पिटल का कचरा उठता नहीं है. जिसके कारण जो कचरा फेंकने के लिए 4 कमरे बने हैं. सभी भर चुके हैं. बगल का साधारण कूड़ादान भी मेडिकल कचरे से भर गया है. अब खुले में ही मेडिकल कचरा पड़ा रहता है. जिससे यह पता नहीं चल पाता कि कौन सा बायोवेस्ट और कौन सा जेनरल वेस्ट है. दोनों जगह कचरा इसी तरह खुले में दूर तक फैला हुआ है. जिसे जानवर भी खाते व सूंघते दिख जाएंगे.