ETV Bharat / state

सोन पाइप लाइन से पलामू के सूखे खेतों तक पहुंचेगा पानी, 600 करोड़ की लागत से शुरू होगी परियोजना - Jharkhand News

पलामू प्रमंडल में पानी की समस्या से निजात पाने के लिए सरकार ने सोन पाइप लाइन परियोजना पर काम शुरू कर दिया है. 600 करोड़ की लागत से इस परियोजना के काम की जल्द शुरूआत होने वाली है.

Sone Pipeline Project in Palamu Division
Sone Pipeline Project in Palamu Division
author img

By

Published : Jul 1, 2022, 6:38 PM IST

Updated : Jul 2, 2022, 10:51 AM IST

पलामू: जिले के सूखे खेतों के प्यास बुझने की अब उम्मीद जगी है. पलामू पूरे देश में ड्राई जोन माने जाने वाला इलाका है, प्रत्येक दूसरे वर्ष पलामू का इलाका सूखे का सामना करता है. अब यहां के खेतों की प्यास बुझाने के लिए राज्य सरकार ने एक योजना तैयार किया है. सोन पाइप लाइन परियोजना से सूखे खेतों तक पानी पहुंचाया जाएगा. करीब 600 करोड़ की लागत से इस परियोजना की शुरूआत होनी है. जल संसाधन विभाग ने इस परियोजना का डीपीआर तैयार कर लिया है. अगले कुछ दिनों में इसका टेंडर जारी होने वाला है. लातेहार दौरा के क्रम में सीएम हेमंत सोरेन ने इस परियोजना को लेकर घोषणा करते हुए कहा था कि इसका टेंडर जारी होगा ताकि यहां के किसानों को पानी मिल सके.



पहले चरण में छत्तरपुर और हुसैनाबाद को मिलेगा पानी: सोन पाइप लाइन परियोजना के तहत सोन नदी से पानी को निकाल कर जलाशय और नहर तक ले जाना है. पहले चरण में छतरपुर और हुसैनाबाद के इलाके जोड़े जांएगे. पहले चरण में छतरपुर और हुसैनाबाद के आधा दर्जन से अधिक जलाशयों को पानी उपलब्ध करवाने की योजना है. समुद्र तल से करीब 400 मीटर ऊपर पाइप लाइन को बिछाया जाएगा. पंपिंग स्कीम, पावर ग्रिड और अलग ट्रांसमिशन नेटवर्क से पानी को जलाशयों तक पहुंचाया जाना है. छतरपुर हुसैनाबाद के बतरे, बटाने, जिंजोई, सिरनिया, कासीसोत समेत आधा दर्जन जलाशय में पानी उपलब्ध करवाया जाएगा. पानी पहुंचाने के लिए 1500 एमएम व्यास का टनल बनाया जाना है. इस परियोजना के तहत करीब दो लाख घरों तक पानी पहुंचाया जाएगा.

48 हजार हेक्टेयर खेतों तक पहुंचेगा पानी: सोन पाइपलाइन परियोजना के तहत पहले चरण में पलामू के 48 हजार हेक्टेयर खेतों तक सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध करवाया जाएगा. यह इलाका छतरपुर और हुसैनाबाद का है. इन इलाकों के मात्र 12 प्रतिशत खेतों तक सिंचाई की सुविधा उपलब्ध है. किसानों को सिंचाई के लिए बरसात के पानी पर ही निर्भर रहना पड़ता है. जबकि वर्ष में सिर्फ एक बार ही वे फसल लगाते हैं. पाइप लाइन परियोजना पूरा हो जाने के बाद किसान अपने खेतों में कई फसल को लगा पाएंगे.


दूसरे चरण में पाटन, बिश्रामपुर, मेदिनीनगर में बिछाई जाएगी पाइप लाइन: पहले चरण की परियोजना के पूरे होने के बाद दूसरे चरण में पाइप लाइन से पलामू के पाटन बिश्रामपुर और मेदिनीनगर का इलाका जोड़ा जाएगा. मेदिनीनगर का इलाका पलामू प्रमंडल का मुख्यालय है. यह इलाका गंभीर पेयजल संकट से जूझता है. परियोजना के पूरा हो जाने से इलाके में पेयजल संकट का दूर हो जाएगा.

पलामू: जिले के सूखे खेतों के प्यास बुझने की अब उम्मीद जगी है. पलामू पूरे देश में ड्राई जोन माने जाने वाला इलाका है, प्रत्येक दूसरे वर्ष पलामू का इलाका सूखे का सामना करता है. अब यहां के खेतों की प्यास बुझाने के लिए राज्य सरकार ने एक योजना तैयार किया है. सोन पाइप लाइन परियोजना से सूखे खेतों तक पानी पहुंचाया जाएगा. करीब 600 करोड़ की लागत से इस परियोजना की शुरूआत होनी है. जल संसाधन विभाग ने इस परियोजना का डीपीआर तैयार कर लिया है. अगले कुछ दिनों में इसका टेंडर जारी होने वाला है. लातेहार दौरा के क्रम में सीएम हेमंत सोरेन ने इस परियोजना को लेकर घोषणा करते हुए कहा था कि इसका टेंडर जारी होगा ताकि यहां के किसानों को पानी मिल सके.



पहले चरण में छत्तरपुर और हुसैनाबाद को मिलेगा पानी: सोन पाइप लाइन परियोजना के तहत सोन नदी से पानी को निकाल कर जलाशय और नहर तक ले जाना है. पहले चरण में छतरपुर और हुसैनाबाद के इलाके जोड़े जांएगे. पहले चरण में छतरपुर और हुसैनाबाद के आधा दर्जन से अधिक जलाशयों को पानी उपलब्ध करवाने की योजना है. समुद्र तल से करीब 400 मीटर ऊपर पाइप लाइन को बिछाया जाएगा. पंपिंग स्कीम, पावर ग्रिड और अलग ट्रांसमिशन नेटवर्क से पानी को जलाशयों तक पहुंचाया जाना है. छतरपुर हुसैनाबाद के बतरे, बटाने, जिंजोई, सिरनिया, कासीसोत समेत आधा दर्जन जलाशय में पानी उपलब्ध करवाया जाएगा. पानी पहुंचाने के लिए 1500 एमएम व्यास का टनल बनाया जाना है. इस परियोजना के तहत करीब दो लाख घरों तक पानी पहुंचाया जाएगा.

48 हजार हेक्टेयर खेतों तक पहुंचेगा पानी: सोन पाइपलाइन परियोजना के तहत पहले चरण में पलामू के 48 हजार हेक्टेयर खेतों तक सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध करवाया जाएगा. यह इलाका छतरपुर और हुसैनाबाद का है. इन इलाकों के मात्र 12 प्रतिशत खेतों तक सिंचाई की सुविधा उपलब्ध है. किसानों को सिंचाई के लिए बरसात के पानी पर ही निर्भर रहना पड़ता है. जबकि वर्ष में सिर्फ एक बार ही वे फसल लगाते हैं. पाइप लाइन परियोजना पूरा हो जाने के बाद किसान अपने खेतों में कई फसल को लगा पाएंगे.


दूसरे चरण में पाटन, बिश्रामपुर, मेदिनीनगर में बिछाई जाएगी पाइप लाइन: पहले चरण की परियोजना के पूरे होने के बाद दूसरे चरण में पाइप लाइन से पलामू के पाटन बिश्रामपुर और मेदिनीनगर का इलाका जोड़ा जाएगा. मेदिनीनगर का इलाका पलामू प्रमंडल का मुख्यालय है. यह इलाका गंभीर पेयजल संकट से जूझता है. परियोजना के पूरा हो जाने से इलाके में पेयजल संकट का दूर हो जाएगा.

Last Updated : Jul 2, 2022, 10:51 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.