पाकुड़: शिक्षा में गुणात्मक सुधार में मुखिया की भूमिका को लेकर झारखंड शिक्षा परियोजना ने डायट भवन में जिला स्तरीय मुखिया सम्मेलन का आयोजन किया (District level Mukhiya conference). आयोजित सम्मेलन का उद्घाटन बतौर मुख्य अतिथि डीसी वरूण रंजन ने किया. सम्मेलन के मौके पर जिला शिक्षा पदाधिकारी ने शिक्षा में गुणात्मक सुधार और स्कूली बच्चों को बेहतर शिक्षा मुहैया कराने में मुखिया की भूमिका पर प्रकाश डाला.
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जिलास्तरीय सम्मेलन में मौजूद पंचायतों के मुखिया को बच्चों का सरकारी स्कूलों में नामांकन, ड्रॉप आउट बच्चों को विद्यालय से जोड़ने और उनकी उपस्थिति बेहतर बनाने, शिक्षकों और अभिभावकों के बीच संबंध बेहतर बनाने, आधारभूत संरचना विकसित करने में उनके दायित्वों और कर्तव्यों की जानकारी दी गयी. इसके अलावा अपने अपने पंचायतों में राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत कार्य कर शिक्षा में गुणात्मक सुधार लाने की अपील की गयी.
सम्मेलन को संबोधित करते हुए डीसी वरुण रंजन ने कहा कि ग्रामस्वराज के सपने को साकार करने के साथ अपने पंचायतों के विद्यालयों के आधारभूत संरचना को विकसित करने, बच्चों को गुणात्मक शिक्षा मुहैया कराने में शिक्षकों और अभिभावकों के साथ संबंध बेहतर बनाने में भूमिका का निवर्हन करना होगा. उन्होने कहा कि विकास के साथ साथ स्कूली बच्चों की शिक्षा की भूख मिटाने और उनके शैक्षणिक स्तर को उपर उठाने में पंचायत प्रतिनिधियों की भूमिका को नकारा नहीं जा सकता. इसलिए जिला प्रशासन सम्मेलन के जरिए मुखिया को उनके दायित्व और कर्तव्यों को बताने का काम कर रहा है, ताकि पंचायतों में विकास और कल्याणकारी योजनाओ के बेहतर क्रियान्वयन हो. इसके साथ ही शैक्षणिक माहौल बनाने में सहुलियत हो.
कार्यक्रम में डीडीसी शाहिद अख्तर, जिला पंचायती राज पदाधिकारी महेश राम, जिला शिक्षा पदाधिकारी रजनी देवी, जिला शिक्षा अधीक्षक मुकुल राज, अतिरिक्त जिला कार्यक्रम पदाधिकारी जयेंद्र मिश्रा, परियोजना के कर्मी, सीआरपी, बीआरपी और पंचायतो के मुखिया मौजूद थे.