लोहरदगा: सम्मेद शिखर पारसनाथ विवाद (Sammed Shikhar controversy) को लेकर कोई भी ठोस नतीजा नहीं निकल पाया है. आदिवासी इस मुद्दे पर पीछे हटने को तैयार नहीं हैं. जिसके बाद विवाद गहराता ही जा रहा है. अब सबकी नजरें राज्य और केंद्र सरकार के अगले कदम को लेकर है. इसी बीच कांग्रेस के दिग्गज नेता और राज्यसभा सांसद धीरज प्रसाद साहू ने पूरे प्रकरण को लेकर महत्वपूर्ण बयान दिया है.
केंद्र सरकार की ओर उछाला गेंद: पारसनाथ विवाद के मुद्दे पर राज्यसभा सांसद धीरज प्रसाद साहू ने अब पूरे मामले को केंद्र सरकार की ओर उछाल दिया है. उन्होंने लोहरदगा में कहा है कि पारसनाथ का मुद्दा काफी पुराना मुद्दा रहा है. इस मुद्दे का हल हो जाना चाहिए था. केंद्र सरकार के फैसले से आदिवासी खुश नहीं हैं. आदिवासियों के कई बड़े नेता इस मामले में आंदोलन कर रहे हैं. अगर केंद्र सरकार प्रयास करें तो मामले में हल निकाला जा सकता है. इस समस्या का हल मिल बैठकर बातचीत के जरिए ही निकाला जा सकता है. राज्यसभा सांसद ने पूरे प्रकरण को केंद्र सरकार के हवाले करते हुए यह साफ कर दिया है कि राज्य सरकार का इस प्रकरण में कोई भी दोष नहीं है. इस मामले को केंद्र सरकार को ही हल करना चाहिए. अब राज्यसभा सांसद के इस बयान के बाद भारतीय जनता पार्टी और केंद्र सरकार की ओर से प्रतिनिधि नेताओं का बयान भी सामने आ सकता है. मामला फिर एक बार गरमाने की उम्मीद लग रही है.
पारसनाथ विवाद के मुद्दे पर कांग्रेस की ओर से महत्वपूर्ण बयान सामने आया है. कांग्रेस के राज्यसभा सांसद धीरज प्रसाद साहू ने इस मामले में केंद्र सरकार को ही जिम्मेदार ठहरा दिया है. उन्होंने अपने बयान में साफ कर दिया है कि पूरे मामले से राज्य सरकार का कोई भी लेना देना नहीं है. केंद्र सरकार के फैसले से ही यह विवाद उत्पन्न हुआ है.