खूंटीः सूबे के नए राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन शनिवार को शपथ लेने के बाद भगवान बिरसा मुंडा की जन्मस्थली उलिहातू पहुंचे. भगवान बिरसा मुंडा को नमन करते हुए उनकी प्रतिमा पर माल्यार्पण किया. उन्होंने नमन करते हुए राज्य की बेहतरी के लिए आशीर्वाद मांगा. उनके साथ उनकी धर्मपत्नी और सूचना प्रसारण राज्य मंत्री डॉ. एल मुरूगण भी थे.
राज्यपाल सीपी कृष्णन उलिहातू पहुच कर बिरसा ओड़ा परिसर में वंशजों से मिले. उलिहातू में लोगों से मिले स्वागत से वो आनंदित नजर आए. राज्यपाल सीपी कृष्णन ने मीडिया से बातचीत की. उन्होंने कहा कि भगवान बिरसा मुंडा की जन्मस्थली आकर काफी खुश हूं. 123 वर्ष पूर्व भगवान बिरसा के क्रांतिकारी आंदोलन को आज भी लोग स्मरण करते हैं. केवल 25 साल की आयु में संगठित आंदोलन करना ऐतिहासिक दृष्टि से यादगार है.
1875 में जन्म लेने वाले भगवान बिरसा मुंडा ने कम आयु में ही अंग्रेजों के विरुद्ध बिगुल फूंका और एकजुटता के साथ अपने लोगों के अधिकारों के लिए अगुवाई की. आज दुनिया में भारत ने 5वीं बड़ी अर्थव्यवस्था के रूप में अपनी जगह बनाई है. यह सब हमारे वीर सपूतों के बलिदान से ही संभव हुआ. ऐसे बलिदानियों को याद कर हम अपने देश और राज्य को विकास की ओर आगे ले चलेंगे. उन्होंने कहा कि पहली बार मुझे यहां आने का मौका मिला, लोग बहुत सरल और सीधे हैं. भगवान बिरसा मुंडा से प्रार्थना करता हूं कि राज्य का भविष्य बेहतर हो.
राज्यपाल सीपी कृष्णन के आने की खबर को लेकर स्थानीय लोग उत्साहित नजर आये और उलिहातू में पर्व त्योहार की तरह नजारा बन गया था. पहली बार राज्यपाल पद की शपथ लेते ही सूबे के नवनियुक्त राज्यपाल भगवान बिरसा मुंडा की जन्मस्थली पहुंचे और गांव, घर, जंगल, पहाड़ों के प्राकृतिक सौंदर्य और बिरसा जन्मस्थली का दीदार कर आह्लादित नजर आए.