जामताड़ा: लॉकडाउन में सरकार ने पंचायत स्तर पर कोई भूखा नहीं रहे, इसलिए मुख्यमंत्री दीदी किचन योजना शुरू की है. इसके जरिए ग्रामीणों को दोनों समय भरपेट भोजन कराना है. लेकिन जिले में मुख्यमंत्री दीदी किचन योजना का लाभ ग्रामीणों को सही रूप से नहीं मिल पा रहा है. यहां तक कि ग्रामीण जनता को यह भी नहीं पता कि मुख्यमंत्री दीदी किचन उनकी पंचायत में कब और कहां चलाया जाता है.
मुख्यमंत्री दीदी किचन योजना जामताड़ा में महज कागजी खानापूर्ति बनकर रह गई है. पंचायत स्तर पर लाभ ग्रामीणों को नहीं मिल पा रहा है. अधिकतर मुख्यमंत्री दीदी किचन के नाम पर किसी के घर से या थोड़ा बहुत खाना बनाकर दो चार लोगों को खिला कर दिखा दिया जा रहा है. ग्रामीण जनता को पता तक नहीं चल पाता है कि कब और कहां मुख्यमंत्री दीदी किचन चलता है.
पंचायत में मुख्यमंत्री दीदी किचन का बैनर तक नहीं है. इस योजना की हकीकत की जानकारी लेने के लिए जब ईटीवी भारत की टीम जामताड़ा के दुलाड़ीह मेजिया पंचायत पहुंची तो पंचायत भवन बंद पाया गया. ग्रामीणों से पूछने पर उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री दीदी किचन कहां और कब चलता है इसकी जानकारी नहीं है.