जामताड़ा: जिले में एक बार फिर ईटीवी भारत की खबर का असर हुआ है. जामताड़ा महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज में बिना किसी की अनुमति के ही स्किल इंडिया का बोर्ड लगाकर प्रशिक्षण शुरु कर दिया गया था. इस खबर को ईटीवी भारत ने प्रमुखता से प्रकाशित किया था, जिसके बाद जिला प्रशासन हरकत में आया. जिला उपायुक्त ने इस मामले में संज्ञान लेते हुए कार्रवाई करने की बात कही है.
जामताड़ा में महिलाओं को आर्थिक रूप से स्वावलंबी बनाने को लेकर करोड़ों की लागत से महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज भवन का निर्माण करवाया गया है, भवन के उद्घाटन के कुछ दिन बाद तक ही महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज चला, उसके बाद यह कॉलेज बंद पड़ा है. यहां महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज शुरु नहीं होकर भवन में स्किल इंडिया का बोर्ड लग गया और महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज का बोर्ड हट गया.
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महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज कहां गया, इसका कुछ पता नहीं चल पाया. इस खबर को ईटीवी भारत ने प्रमुखता से प्रकाशित किया, जिसके बाद महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज के प्रभारी प्राचार्य और जामताड़ा जिला प्रशासन हरकत में आया. संबंधित पॉलिटेक्निक कॉलेज के प्राचार्य ने इस संबंध में जिला के उपायुक्त से शिकायत की. जिसके बाद जिला प्रशासन ने मामले को गंभीरता से लेते हुए संज्ञान लिया. उपायुक्त ने संबंधित प्राचार्य को आवश्यक पत्राचार करने का निर्देश दिया है. उन्होंने महिला पॉलिटेक्निक भवन में महिला पॉलिटेक्निक का बोर्ड लगाने और फिर से भवन में महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज चालू कराने की बात कही है.
उपायुक्त ने इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज का प्रभार धनबाद के गवर्नमेंट पॉलिटेक्निक कॉलेज के प्राचार्य को दिया गया है. उनके अनुमति के बिना ही कॉलेज में स्किल इंडिया का प्रशिक्षण शुरू कर दिया. इसे लेकर प्राचार्य को आवश्यक पत्राचार करने का निर्देश दिया गया है.
करोड़ों रुपए की लागत से जामताड़ा के महिलाओं को स्वावलंबी बनाने के लिए महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज का निर्माण हुआ. इस उद्देश्य से कि महिलाओं को प्रशिक्षण देकर उन्हें स्वावलंबी बनाया जाएगा, लेकिन कुछ दिन के चलने के बाद महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज बंद हो गया. कॉलेज में स्किल इंडिया का बोर्ड लगाकर प्रशिक्षण शुरु कर दिया गया. महिलाओं के प्रशिक्षण के लिए पॉलिटेक्निक कॉलेज में लाखों रुपए के कंप्यूटर तकनीकी और उपकरण की भी खरीदारी की गई थी, जो अब बर्बाद हो गया है, जिसका लेखा-जोखा भी पता नहीं चल पा रहा है. फिलहाल मामला विभाग के दांव पेंच में फंस गया है. अब देखना है कि सरकार जिस उद्देश्य से महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज भवन का निर्माण हुआ.