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जानिए, संथाल समाज ने क्यों फूंका गुरुजी शिबू सोरेन, सीएम हेमंत सोरेन और बसंत सोरेन का पुतला

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Published : Jun 26, 2022, 8:15 PM IST

दुमका में संथाल समाज के लोगों ने सीएम हेमंत सोरेन, बसंत सोरेन और दिशोम गुरु शिबू सोरेन का पुतला फूंका है. उन्होंने सरकार पर वादाखिलाफी का आरोप लगाया है. उनका कहना है कि संथाल आदिवासी का पूजा स्थल दिसोम मरांग बुरु थान के पक्कीकरण की उनकी मांग काफी पुरानी है, जिसे अब तक पूरा नहीं किया गया. यही वजह है कि पिछले माह आंधी में उनका पूजा स्थल तेज हवा में ढह गया.

People of Santhal community burnt effigies of CM Hemant Soren and Shibu Soren in Dumka
दुमका

दुमकाः एक माह पूर्व हिजला गांव में संथाल समाज के पूजा स्थल गिरने के बाद कोई कार्रवाई नहीं होने से ग्रामीणों में नाराजगी है. इसको लेकर ग्रामीणों ने सीएम हेमंत सोरेन, विधायक बसंत सोरेन और दिशोम गुरु शिबू सोरेन का पुतला फूंका और वादाखिलाफी का आरोप लगाया है.

131 वर्ष पुराना राजकीय जनजातीय हिजला मेला परिसर में स्थित संथाल आदिवासी का पूजा स्थल दिसोम मरांग बुरु थान एक माह पूर्व तेज आंधी बारिश में ढह गया था. फूस से बने इस पूजा स्थल के ढह जाने से आसपास के आदिवासी समाज लोगों ने दुख जताया था और इसे बनवाने की मांग की थी. लगभग एक माह बीत जाने के बाद भी किसी तरह के कोई कार्रवाई नहीं होने से संथाल समाज काफी नाराज है. उनका कहना है कि वो इस ऐतिहासिक मेला परिसर में अपने पूजा स्थल को बनवाने की मांग वर्षों से कर रहे हैं. शिबू सोरेन से लेकर हेमंत सोरेन और बसंत सोरेन सभी जब वो यहां आए उनसे इससे पक्का बनाने की मांग रखी पर वो आज तक पूरा नहीं हुआ.

देखें वीडियो

क्या कहते हैं ग्रामीणः ग्रामीणों का कहना है कि इन तीनों जनप्रतिनिधियों ने चुनाव के समय यह आश्वाशन दिया था कि हिजला मेला परिसर में स्थित दिशोम मरांग बुरु थान का जल्द ही पक्कीकरण कर दिया जाएगा. लेकिन इस दिशा में अब तक कोई काम नहीं किया गया और प्रशासन द्वारा दो वर्ष से मरम्मती भी नहीं किया गया, जिसकी वजह से यह पूजा स्थल ढह गया. जबकि आदिवासी ग्रामीणों ने दुमका प्रशासन को भी कई महीने पहले पक्कीकरण के लिए लिखित आवेदन दे चुके हैं. इसके लिए ग्रामीणों ने अलग से भी दुमका के विधायक से भी मिल चुके हैं लेकिन कोई प्रगति नहीं हुई.

People of Santhal community burnt effigies of CM Hemant Soren and Shibu Soren in Dumka
प्रदर्शन करते ग्रामीण

दुमकाः एक माह पूर्व हिजला गांव में संथाल समाज के पूजा स्थल गिरने के बाद कोई कार्रवाई नहीं होने से ग्रामीणों में नाराजगी है. इसको लेकर ग्रामीणों ने सीएम हेमंत सोरेन, विधायक बसंत सोरेन और दिशोम गुरु शिबू सोरेन का पुतला फूंका और वादाखिलाफी का आरोप लगाया है.

131 वर्ष पुराना राजकीय जनजातीय हिजला मेला परिसर में स्थित संथाल आदिवासी का पूजा स्थल दिसोम मरांग बुरु थान एक माह पूर्व तेज आंधी बारिश में ढह गया था. फूस से बने इस पूजा स्थल के ढह जाने से आसपास के आदिवासी समाज लोगों ने दुख जताया था और इसे बनवाने की मांग की थी. लगभग एक माह बीत जाने के बाद भी किसी तरह के कोई कार्रवाई नहीं होने से संथाल समाज काफी नाराज है. उनका कहना है कि वो इस ऐतिहासिक मेला परिसर में अपने पूजा स्थल को बनवाने की मांग वर्षों से कर रहे हैं. शिबू सोरेन से लेकर हेमंत सोरेन और बसंत सोरेन सभी जब वो यहां आए उनसे इससे पक्का बनाने की मांग रखी पर वो आज तक पूरा नहीं हुआ.

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क्या कहते हैं ग्रामीणः ग्रामीणों का कहना है कि इन तीनों जनप्रतिनिधियों ने चुनाव के समय यह आश्वाशन दिया था कि हिजला मेला परिसर में स्थित दिशोम मरांग बुरु थान का जल्द ही पक्कीकरण कर दिया जाएगा. लेकिन इस दिशा में अब तक कोई काम नहीं किया गया और प्रशासन द्वारा दो वर्ष से मरम्मती भी नहीं किया गया, जिसकी वजह से यह पूजा स्थल ढह गया. जबकि आदिवासी ग्रामीणों ने दुमका प्रशासन को भी कई महीने पहले पक्कीकरण के लिए लिखित आवेदन दे चुके हैं. इसके लिए ग्रामीणों ने अलग से भी दुमका के विधायक से भी मिल चुके हैं लेकिन कोई प्रगति नहीं हुई.

People of Santhal community burnt effigies of CM Hemant Soren and Shibu Soren in Dumka
प्रदर्शन करते ग्रामीण
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