धनबादः जिला में स्वास्थ्य व्यवस्था बदहाल है, निरसा में डॉक्टर्स की कमी है. निरसा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में मरीजों का इलाज काफी मुश्किल हो रही है. यहां आने वाले सैकड़ों लोगों की देखरेख महज दो चिकित्सक के जिम्मे है. ऐसी व्यवस्था शासन प्रशासन के दावों की पोल खोलने के लिए काफी है.
प्रदेश के लगभग सभी जिलों में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र स्थापित किए गए हैं. इन केंद्रों का संचालन निश्चित आबादी के लोगों को उपचार और अन्य स्वास्थ्य संबंधित सेवाएं प्रदान करना है. इस कम्युनिटी हेल्थ सेंटर में लोगों के स्वास्थ्य, उनकी देखभाल की सेवाएं देने के लिए सामान्य चिकित्सकों यानी जेनरल प्रैक्टिशनर्स और नर्सों का एक समूह मौजूद होता है. जिसके माध्यम से अलग अलग प्रकार की स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान की जाती हैं.
स्वास्थ्य केंद्र के चैंबर खालीः लेकिन निरसा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में महज दो डॉक्टर ही सेवा दे रहे हैं. जिसके कारण दूरदराज से आए ग्रामीणों को काफी परेशानी हो रही है. निरसा विधानसभा में 68 पंचायत में एकमात्र सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र है. यहां प्रतिदिन सैकड़ों की संख्या में लोग अपना इलाज कराने पहुंचते हैं पर डॉक्टर उपलब्ध नहीं होने के कारण उन्हें बैरंग लौटना पड़ता है. स्वास्थ्य केंद्र के बाहर मरीजों का तांता लगा हुआ है लेकिन चैंबर के अंदर कोई नहीं है तमाम कुर्सियां खाली पड़ी हैं.
इसको लेकर स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी डॉ. पुष्पा ने बताया कि हमारे स्वास्थ्य केंद्र में डॉक्टर की घोर कमी है, जिसे लेकर वरीय पदाधिकारी से लेकर स्थानीय जनप्रतिनिधि गुहार लगा चुके हैं पर अब तक डॉक्टर उपलब्ध नहीं कराया गया है. डॉक्टर नहीं रहने के कारण ग्रामीणों को जो स्वास्थ्य लाभ मिलना चाहिए था उसे नहीं मिल पा रहा है, स्वास्थ्य केंद्र में रात्रि सेवा भी उपलब्ध नहीं हो रहा है, जिसके कारण मरीजों में खासी नाराजगी है. उन्होंने बताया कि जो भी पोस्टेड हैं वो ट्रेनिंग पर चले गए हैं या फिर उच्च शिक्षा के लिए बाहर गए हैं. इस वजह से मरीजों समुचित इलाज मिल पाना मुश्किल है. यहां डॉक्टर्स बहाल होते हैं तभी बेहतर इलाज वो ग्रामीणों को दे पाएंगे.