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स्वास्थ्य विभाग की उदासीनता का शिकार बना कोरोना मरीज, परिजनों ने लगाई मदद की गुहार

धनबाद के गोविंदपुर इलाके में स्वास्थ्य विभाग के लापरवाही के कारण कोरोना मरीज 3 दिनों से अपने घर पर है. मरीज के परिजन मरीज को अस्पताल में भर्ती करने की गुहार लगा रहे हैं, लेकिन इसका कोई नतीजा अब तक नहीं निकल पाया है.

Corona patient not admitted in hospital in dhanbad
Corona patient not admitted in hospital in dhanbad
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Published : Aug 5, 2020, 7:25 PM IST

धनबाद: जिले के गोड़तोपा गांव में एक मरीज बीते 3 दिनों से अपने घर पर ही है. उसके परिजन मरीज को अस्पताल में भर्ती कराने की गुहार लगाकर सभी जगह थक चुके हैं, लेकिन इसका कोई नतीजा अब तक नहीं निकल पाया है. इसी कड़ी में मरीज के परिजन कोविड-19 मरीज को लेकर गोविंदपुर के सीएचसी अस्पताल पहुंच गए और वहां पर स्वास्थ्य कर्मचारियों से मरीज को कोविड-19 अस्पताल ले जाने की बात करने लगे.

देखें पूरी खबर

पंचायत के मुखिया ने किया सील

पंचायत के मुखिया ने ईटीवी भारत से बात करते हुए कहा कि यदि मरीज पॉजिटिव है, तो इन्हें जल्द से जल्द अस्पताल में भर्ती कराना चाहिए था. जबकि उसी गांव में एक मरीज को पॉजिटिव घोषित किया गया, लेकिन 2 घंटे के बाद फिर से मरीज को नेगेटिव बता दिया गया. मुखिया ने बताया कि कोरोना पॉजिटिव आने के बाद भी कोई अधिकारी गांव नहीं पहुंचे. प्रखंड विकास पदाधिकारी ने उन्हें ही बैरी केडिंग करने की बात कही और उन्होंने खुद से ही मरीज के अगल-बगल घरों को सील किया.

ये भी पढ़ें- गुमला: प्रभु श्रीराम से जुड़ी है पंपापुर की कहानी, जहां रहते थे वानरराज सुग्रीव

गाड़ी की नहीं है व्यवस्था

इस पूरे मामले पर गोविंदपुर सीएचसी चिकित्सा पदाधिकारी डॉक्टर शीला कुमारी का कहना है कि मरीज के पॉजिटिव आने के बाद से ही लगातार मरीज को कोविड-19 अस्पताल भेजे जाने का प्रयास किया जा रहा है. दो एंबुलेंस उपलब्ध कराने के लिए गोविंदपुर सीएचसी को कहा गया था, लेकिन एक एंबुलेंस ब्रेकडाउन की बात कह रहे हैं. तो दूसरा गलत नंबर बता रहा है. चिकित्सा पदाधिकारी ने कहा कि ऐसे में जब तक गाड़ी की व्यवस्था नहीं होगी. तो मरीज को कैसे भेजा जा सकता है. अगर यही स्थिति रहती है, तो जिले में कोरोना की स्थिति और भी भयावह आगे आने वाले दिनों में दिख सकती है.

धनबाद: जिले के गोड़तोपा गांव में एक मरीज बीते 3 दिनों से अपने घर पर ही है. उसके परिजन मरीज को अस्पताल में भर्ती कराने की गुहार लगाकर सभी जगह थक चुके हैं, लेकिन इसका कोई नतीजा अब तक नहीं निकल पाया है. इसी कड़ी में मरीज के परिजन कोविड-19 मरीज को लेकर गोविंदपुर के सीएचसी अस्पताल पहुंच गए और वहां पर स्वास्थ्य कर्मचारियों से मरीज को कोविड-19 अस्पताल ले जाने की बात करने लगे.

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पंचायत के मुखिया ने किया सील

पंचायत के मुखिया ने ईटीवी भारत से बात करते हुए कहा कि यदि मरीज पॉजिटिव है, तो इन्हें जल्द से जल्द अस्पताल में भर्ती कराना चाहिए था. जबकि उसी गांव में एक मरीज को पॉजिटिव घोषित किया गया, लेकिन 2 घंटे के बाद फिर से मरीज को नेगेटिव बता दिया गया. मुखिया ने बताया कि कोरोना पॉजिटिव आने के बाद भी कोई अधिकारी गांव नहीं पहुंचे. प्रखंड विकास पदाधिकारी ने उन्हें ही बैरी केडिंग करने की बात कही और उन्होंने खुद से ही मरीज के अगल-बगल घरों को सील किया.

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गाड़ी की नहीं है व्यवस्था

इस पूरे मामले पर गोविंदपुर सीएचसी चिकित्सा पदाधिकारी डॉक्टर शीला कुमारी का कहना है कि मरीज के पॉजिटिव आने के बाद से ही लगातार मरीज को कोविड-19 अस्पताल भेजे जाने का प्रयास किया जा रहा है. दो एंबुलेंस उपलब्ध कराने के लिए गोविंदपुर सीएचसी को कहा गया था, लेकिन एक एंबुलेंस ब्रेकडाउन की बात कह रहे हैं. तो दूसरा गलत नंबर बता रहा है. चिकित्सा पदाधिकारी ने कहा कि ऐसे में जब तक गाड़ी की व्यवस्था नहीं होगी. तो मरीज को कैसे भेजा जा सकता है. अगर यही स्थिति रहती है, तो जिले में कोरोना की स्थिति और भी भयावह आगे आने वाले दिनों में दिख सकती है.

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