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धनबाद: रिटायर्ड महिला कोलकर्मी ने दी परिवार समेत आत्मदाह की चेतावनी, पेंशन लागू नहीं करने का लगाया आरोप - महिला कोलकर्मी का पेंशन नहीं हुआ पास

धनबाद में मंगलवार को BCCL से रिटायर्ड महिला कोलकर्मी ने परिवार समेत आत्मदाह करने की चेतावनी दी है. महिला का कहाना है कि अधिकारियों की धोखेबाजी की वजह से पेंशन लागू नहीं हो पा रहा है. वहीं महिला ने कहा कि 31 अगस्त तक अगर न्याय नहीं मिला, तो पूरे परिवार के साथ केओसीपी कार्यालय के समक्ष धरना देगी.

धनबाद खबर
महिला कोलकर्मी का पेंशन नहीं हुआ पास
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Published : Aug 11, 2020, 8:09 PM IST

धनबाद: बीसीसीएल की बस्ताकोला क्षेत्र के केओसीपी से जून महीने में रिटायर्ड हुई कोलकर्मी आशा देवी ने पेंशन चालू नहीं होने पर पूरे परिवार समेत आत्मदाह की चेतावनी दी है. पेंशन चालू नहीं होने के लिए उन्होंने अधिकारियों को जिम्मेदार ठहराया है. पेंशन चालू नहीं होने के कारण परिवार को आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

पेंशन का नहीं हो रहा है भुगतान
चांदकुइयां स्थित अपने आवास पर मीडिया को जानकारी देते हुए आशा देवी ने बताया कि पति की मौत के बाद अनुकंपा पर वर्ष 2006 में नियुक्ति हुई थी. उसका एडिशनल इंक्रीमेंट की कटौती पीएफ बाबू की मनमानी व लापरवाही के चलते मेरी नियुक्ति से लेकर वर्ष 2016 तक की कटौती नहीं हुआ है. जिसके चलते उन्हें पेंशन भुगतान नहीं हो पाएगा.भविष्य निधि कार्यालय की तरफ से एक पत्र प्राप्त हुआ था, जिसमें कार्यालय को आदेश दिया गया कि पेंशन के लिए ऐडिशनल इंक्रीमेंट जो विभाग की तरफ से काटकर जमा करना था वह जमा नहीं हुआ, जिसके चलते मुझे पेंशन लागू नहीं हो पाएगा.

विभाग के अधिकारियों की लापरवाही
आशा देवी ने बताया कि इससे पहले भी कई बार प्रबंधन को पत्र दिया गया था, लेकिन कोई सकारात्मक प्रयास नहीं किया गया. इसके चलते पेंशन लागू नहीं हो पाया. कहा कि वह विधवा अनपढ़ है. कार्यालय के कार्मिक विभाग की ओर से मेरे साथ धोखा एवं अत्याचार जानबूझकर प्रताड़ित करने का काम किया गया है. मेरे लिखित आवेदन देने के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं करना समझ से परे है.


इसे भी पढे़ं-धनबाद: चार अस्पताल से 42 कोरोना संक्रमित स्वस्थ होकर हुए डिस्चार्ज, होम क्वॉरेंटाइन में रहने की दी सलाह


केओसीपी कार्यालय के समक्ष धरना
वरीय बीसीसीएल प्रबंधन से न्याय की गुहार लगाते हुए आशा देवी ने कहा कि 31 अगस्त तक अगर उसे न्याय नहीं मिला तो पूरे परिवार के साथ केओसीपी कार्यालय के समक्ष धरना देगी. जरूरत पड़ने पर आत्मदाह भी करेगी, जिसकी पूरी जिम्मेदारी केओसीपी कार्मिक विभाग का होगा. आशा देवी ने बताया कि विभाग की लापरवाही से उसके पुत्र का फीमेल बीआरएस के बदले पुत्र का नियोजन का भी मामला मुख्यालय में लंबित पड़ा हुआ है. कार्मिक विभाग की तरफ से जानबूझकर किए गए अनियमितता से उन्हें मानसिक व आर्थिक परेशानी से गुजरना पड़ रहा है .

उठाना पड़ रहा आर्थिक नुकसान
वहीं आशा देवी के देवर सेवानिवृत्त शोवेल ऑपरेटर अशोक पांडे ने कहां की प्रबंधन की लापरवाही के कारण उन्हें 6 साल पहले ही जबरन सेवानिवृत्त कर दिया गया. उनका जन्मतिथि का सुधार अभी तक कार्मिक प्रबंधन की ओर से नहीं किया गया, जिसके कारण भारी आर्थिक नुकसान उठाना पड़ रहा है.

धनबाद: बीसीसीएल की बस्ताकोला क्षेत्र के केओसीपी से जून महीने में रिटायर्ड हुई कोलकर्मी आशा देवी ने पेंशन चालू नहीं होने पर पूरे परिवार समेत आत्मदाह की चेतावनी दी है. पेंशन चालू नहीं होने के लिए उन्होंने अधिकारियों को जिम्मेदार ठहराया है. पेंशन चालू नहीं होने के कारण परिवार को आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

पेंशन का नहीं हो रहा है भुगतान
चांदकुइयां स्थित अपने आवास पर मीडिया को जानकारी देते हुए आशा देवी ने बताया कि पति की मौत के बाद अनुकंपा पर वर्ष 2006 में नियुक्ति हुई थी. उसका एडिशनल इंक्रीमेंट की कटौती पीएफ बाबू की मनमानी व लापरवाही के चलते मेरी नियुक्ति से लेकर वर्ष 2016 तक की कटौती नहीं हुआ है. जिसके चलते उन्हें पेंशन भुगतान नहीं हो पाएगा.भविष्य निधि कार्यालय की तरफ से एक पत्र प्राप्त हुआ था, जिसमें कार्यालय को आदेश दिया गया कि पेंशन के लिए ऐडिशनल इंक्रीमेंट जो विभाग की तरफ से काटकर जमा करना था वह जमा नहीं हुआ, जिसके चलते मुझे पेंशन लागू नहीं हो पाएगा.

विभाग के अधिकारियों की लापरवाही
आशा देवी ने बताया कि इससे पहले भी कई बार प्रबंधन को पत्र दिया गया था, लेकिन कोई सकारात्मक प्रयास नहीं किया गया. इसके चलते पेंशन लागू नहीं हो पाया. कहा कि वह विधवा अनपढ़ है. कार्यालय के कार्मिक विभाग की ओर से मेरे साथ धोखा एवं अत्याचार जानबूझकर प्रताड़ित करने का काम किया गया है. मेरे लिखित आवेदन देने के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं करना समझ से परे है.


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केओसीपी कार्यालय के समक्ष धरना
वरीय बीसीसीएल प्रबंधन से न्याय की गुहार लगाते हुए आशा देवी ने कहा कि 31 अगस्त तक अगर उसे न्याय नहीं मिला तो पूरे परिवार के साथ केओसीपी कार्यालय के समक्ष धरना देगी. जरूरत पड़ने पर आत्मदाह भी करेगी, जिसकी पूरी जिम्मेदारी केओसीपी कार्मिक विभाग का होगा. आशा देवी ने बताया कि विभाग की लापरवाही से उसके पुत्र का फीमेल बीआरएस के बदले पुत्र का नियोजन का भी मामला मुख्यालय में लंबित पड़ा हुआ है. कार्मिक विभाग की तरफ से जानबूझकर किए गए अनियमितता से उन्हें मानसिक व आर्थिक परेशानी से गुजरना पड़ रहा है .

उठाना पड़ रहा आर्थिक नुकसान
वहीं आशा देवी के देवर सेवानिवृत्त शोवेल ऑपरेटर अशोक पांडे ने कहां की प्रबंधन की लापरवाही के कारण उन्हें 6 साल पहले ही जबरन सेवानिवृत्त कर दिया गया. उनका जन्मतिथि का सुधार अभी तक कार्मिक प्रबंधन की ओर से नहीं किया गया, जिसके कारण भारी आर्थिक नुकसान उठाना पड़ रहा है.

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