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बोकारो के मधु कुमार को शौर्य और साहस के लिए मिलेगा सम्मान, पुलवामा अटैक के मास्टरमाइंड को किया था ढेर - भारत के राष्ट्रपति

बोकारो निवासी सीआरपीएफ 180 बटालियन के जवान कांस्टेबल मधु कुमार ने पुलवामा हमला के मास्टरमाइंड मुदासिर को ढेर करने में अहम रोल निभाया था. इसके लिए उन्हें कई सम्मान मिल चुका है. इस बार देश के राष्ट्रपति उनको सम्मानित करेंगे. इसको लेकर मधु कुमार समेत उनके परिवार में खुशी की लहर है.

Bokaro's CRPF jawan Madhu Kumar who killed mastermind of Pulwama attack will be honored
सीआरपीएफ जवान मधु कुमार
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Published : Feb 26, 2021, 2:25 PM IST

Updated : Feb 26, 2021, 2:32 PM IST

बोकारोः 14 फरवरी 2019 को पुलवामा में सीआरपीएफ के वाहनों के काफिले पर आतंकियों का आत्मघाती हमला हुआ था. इस हमले में 45 भारतीय सुरक्षा कर्मी शहीद हो गए थे. इस हमला ने देश को झकझोर दिया था. 10 मार्च 2019 को सीआरपीएफ के जवानों ने पुलवामा आतंकवादी हमला के मास्टरमाइंड को ढेर कर दिया था. बोकारो निवासी सीआरपीएफ 180 बटालियन के जवान (कांस्टेबल) मधु कुमार ने पुलवामा हमला के मास्टरमाइंड मुदासिर को ढेर करने में अहम रोल निभाया था.

देखें पूरी खबर

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त्राल सेक्टर के पिंग्लिश गांव में जैश-ए-मोहम्मद के मुदासिर और पाकिस्तानी आतंकवादी रज्जाक को एनकाउंटर में मार गिराया था. मधु को 26 जनवरी 2021 को पुलिस मेडल फॉर गेलेंट्री अवार्ड के चयनित किया गया है. 18 फरवरी को दिल्ली में सम्मानित किया गया. इस बार अप्रैल में राष्ट्रपति के हाथों मधु को सम्मानित किया जाएगा.

मधु कुमार ने पुलवामा हमले को लेकर कहा कि हम हमले के 30 मिनट के अंदर घटनास्थल पर पहुंच गए थे. घटनास्थल पर शहीद जवानों का शव देखने पर खून खौल गया था. जवानों की क्षत-विक्षत शरीर देखने का एहसास शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता. मन कर रहा था कि दोषियों के सीने में गोली दाग दें. आखिरकार वह मौका भी मिल गया, मुदासिर को मार गिराने के बाद संकल्प पूरा हुआ, इससे मन को राहत मिली.

आतंकियों के काल साबित हुए हैं मधु कुमार

पुलवामा के दुश्मनों को ढेर करने के अलावा भी मधु आतंकवादियों के लिए काल ही साबित होते रहे हैं. तीन लाइव एनकाउंटर में मधु ने 5 आतंकवादी को ढेर किया था. इसके लिए मधु को गृह मंत्रालय भारत सरकार की ओर से सम्मानित भी किया गया है. मधु ने 27 नवंबर 2018 में ऋषिपुरा के वाणी मोहल्ला में एनकाउंटर किया था, इसमें 1 उग्रवादी ढेर हुआ था. इसके लिए 25 नवंबर 2019 को मधु को सम्मानित किया गया था. इसके बाद त्राल सेक्टर के हाइना गांव में 19 जून 2018 में हुए एकाउंटर के लिए मधु को 15 जनवरी 2019 को सम्मानित किया गया था.

इसे भी पढ़ें- बोकारोः जराडीह गांव लाया गया अमृत महतो का शव, उत्तराखंड आपदा में गई थी जान

पुलवामा मास्टरमाइंड को किया था ढेर

10 मार्च 2019 को इनपुट मिला था कि त्राल सेक्टर के पिंग्लिश गांव में आतंकवादी छिपे हुए हैं. इसके बाद सीआरपीएफ 180 बटालियन और 42 आरआर की टीम का संयुक्त ऑपरेशन शुरू हुआ. 20 घर का घेराव किया गया. घर की तलाशी के लिए सर्चिंग टीम बनी, सर्चिंग टीम में मधु के साथ 02 जवान को शामिल किया गया. एक-एक कर घर की तलाशी ली गई. अंतिम घर में टीम प्रवेश ही करने वाली थी कि उधर से फायरिंग शुरू हो गई, ग्रेनेड फेंका गया. फायरिंग के बाद जवानों ने पॉजिशन लिया, दोनों ओर से फायरिंग होने लगी, इसी दौरान घर में आग लग गई, आग से बचने के लिए दोनों आतंकवादी घर से बाहर निकले. आतंकवादियों के बाहर निकलते ही मधु कुमार ने उन्हें ढेर कर दिया. बाद में आतंकवादियों की पहचान जैश-ए-मोहम्मद के मुदासिर और पाकिस्तानी आतंकवादी रज्जाक के रूप में हुई. मुदासिर पुलवामा में सीआरपीएफ के वाहनों के काफिले पर आत्मघाती हमला का मास्टरमाइंड था.

बोकारोः 14 फरवरी 2019 को पुलवामा में सीआरपीएफ के वाहनों के काफिले पर आतंकियों का आत्मघाती हमला हुआ था. इस हमले में 45 भारतीय सुरक्षा कर्मी शहीद हो गए थे. इस हमला ने देश को झकझोर दिया था. 10 मार्च 2019 को सीआरपीएफ के जवानों ने पुलवामा आतंकवादी हमला के मास्टरमाइंड को ढेर कर दिया था. बोकारो निवासी सीआरपीएफ 180 बटालियन के जवान (कांस्टेबल) मधु कुमार ने पुलवामा हमला के मास्टरमाइंड मुदासिर को ढेर करने में अहम रोल निभाया था.

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त्राल सेक्टर के पिंग्लिश गांव में जैश-ए-मोहम्मद के मुदासिर और पाकिस्तानी आतंकवादी रज्जाक को एनकाउंटर में मार गिराया था. मधु को 26 जनवरी 2021 को पुलिस मेडल फॉर गेलेंट्री अवार्ड के चयनित किया गया है. 18 फरवरी को दिल्ली में सम्मानित किया गया. इस बार अप्रैल में राष्ट्रपति के हाथों मधु को सम्मानित किया जाएगा.

मधु कुमार ने पुलवामा हमले को लेकर कहा कि हम हमले के 30 मिनट के अंदर घटनास्थल पर पहुंच गए थे. घटनास्थल पर शहीद जवानों का शव देखने पर खून खौल गया था. जवानों की क्षत-विक्षत शरीर देखने का एहसास शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता. मन कर रहा था कि दोषियों के सीने में गोली दाग दें. आखिरकार वह मौका भी मिल गया, मुदासिर को मार गिराने के बाद संकल्प पूरा हुआ, इससे मन को राहत मिली.

आतंकियों के काल साबित हुए हैं मधु कुमार

पुलवामा के दुश्मनों को ढेर करने के अलावा भी मधु आतंकवादियों के लिए काल ही साबित होते रहे हैं. तीन लाइव एनकाउंटर में मधु ने 5 आतंकवादी को ढेर किया था. इसके लिए मधु को गृह मंत्रालय भारत सरकार की ओर से सम्मानित भी किया गया है. मधु ने 27 नवंबर 2018 में ऋषिपुरा के वाणी मोहल्ला में एनकाउंटर किया था, इसमें 1 उग्रवादी ढेर हुआ था. इसके लिए 25 नवंबर 2019 को मधु को सम्मानित किया गया था. इसके बाद त्राल सेक्टर के हाइना गांव में 19 जून 2018 में हुए एकाउंटर के लिए मधु को 15 जनवरी 2019 को सम्मानित किया गया था.

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पुलवामा मास्टरमाइंड को किया था ढेर

10 मार्च 2019 को इनपुट मिला था कि त्राल सेक्टर के पिंग्लिश गांव में आतंकवादी छिपे हुए हैं. इसके बाद सीआरपीएफ 180 बटालियन और 42 आरआर की टीम का संयुक्त ऑपरेशन शुरू हुआ. 20 घर का घेराव किया गया. घर की तलाशी के लिए सर्चिंग टीम बनी, सर्चिंग टीम में मधु के साथ 02 जवान को शामिल किया गया. एक-एक कर घर की तलाशी ली गई. अंतिम घर में टीम प्रवेश ही करने वाली थी कि उधर से फायरिंग शुरू हो गई, ग्रेनेड फेंका गया. फायरिंग के बाद जवानों ने पॉजिशन लिया, दोनों ओर से फायरिंग होने लगी, इसी दौरान घर में आग लग गई, आग से बचने के लिए दोनों आतंकवादी घर से बाहर निकले. आतंकवादियों के बाहर निकलते ही मधु कुमार ने उन्हें ढेर कर दिया. बाद में आतंकवादियों की पहचान जैश-ए-मोहम्मद के मुदासिर और पाकिस्तानी आतंकवादी रज्जाक के रूप में हुई. मुदासिर पुलवामा में सीआरपीएफ के वाहनों के काफिले पर आत्मघाती हमला का मास्टरमाइंड था.

Last Updated : Feb 26, 2021, 2:32 PM IST
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